जयपुर.राजस्थान पुलिस मुख्यालय की ओर से प्रदेश मे साइबर ठगों के खिलाफ दो दिवसीय अभियान चलाया गया. पुलिस ने दो दिन मे 28 एफआईआर दर्ज कर 240 आरोपियों को गिरफ्तार किया है. आरोपियों के कब्जे से 152 मोबाईल, 104 एटीएम कार्ड, 89 सिम कार्ड, 10 चेकबुक, 40 बैंक पासबुक, 1 मोटरसाईकिल, 6 लैपटॉप, 1 कार और 4.85 लाख रुपए की नकदी जब्त की गई है.
डीजी साइबर क्राइम डॉ. रविप्रकाश मेहरडा के मुताबिक पिछले दिनों साइबर क्राइम के गढ़ जामताड़ा के साथ-साथ मेवात क्षेत्र में होने और साइबर अपराधियों की दिनों-दिन बढ़ती हुई गतिविधियों को मद्देनजर डीजीपी यूआर साहू के निर्देशानुसार साइबर अपराध शाखा और महानिरीक्षक पुलिस रेंज और जिला पुलिस की ओर से आपस में समन्वय स्थापित कर प्रदेश स्तर पर दबिश की कार्रवाई की गई.
डॉ. रविप्रकाश मेहरडा ने बताया की पुलिस अधीक्षक, साइबर क्राइम सुधीर चौधरी के निर्देशन में नई दिल्ली से प्राप्त डेटा का विश्लेषण कर दो माह तक सार्थक प्रयास कर विशेष कार्य योजना बनाकर कार्य किया गया. गत दिनो आयोजित डीजी-आईजी क्रॉन्फ्रेंस और साइबर हेकाथॉन में विचारित किये गए बिन्दुओं के अनुपालना में कार्रवाई की गई. इस कार्रवाई के दौरान सभी जिला पुलिस अधीक्षकों की ओर से आपस में समन्वय बनाकर दबिश दी गई, जिसमें करीब 475 संदिग्ध साइबर अपराधियों को दस्तयाब किया गया. साइबर अपराधियों के विरुद्ध राज्य में कुल 28 एफआईआर दर्ज कर 240 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया, जिनमें 105 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया. 134 आरोपियों को निवारक कार्रवाई करते हुए गिरफ्तार किया गया.
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फर्जी एस्कॉर्ट सर्विस मामले में गिरफ्तारी :उदयपुर मे फर्जी एस्कॉर्ट के अवैध धंधे में संलिप्त व्यक्तियों के पास से 17 फोन, 19 एटीएम जब्त किए गए हैं. उत्तरप्रदेश, पश्चिम बंगाल से संबंधित सिम की बिक्री और खातों की जांच की जा रही है. डूंगरपुर मे फर्जी एस्कॉर्ट सर्विस मामले में गिरफ्तारी की गई है, जिन्हें बेंगलुरू पुलिस को सुपुर्द किया जाएगा, जिनके विरुद्ध गुजरात में भी कई प्रकरण दर्ज हैं. अजमेर और जोधपुर में फर्जी कॉल सेंटर में शामिल लोगों का भंडाफोड़ किया गया. जिला अलवर में छापेमारी कर दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु से संबंध रखने वाले साईबर ठगों के विरुद्ध 5 प्रकरण दर्ज किए गए. डीग में छापेमारी कर उत्तर प्रदेश से साईबर ठगों से संबंध रखने वाले 29 लोगों को गिरफ्तार कर 9 एफआईआर पंजीबद्ध कर 49 मोबाइल फोन, 35 सिम कार्ड, 31 एटीएम कार्ड, 7 चेकबुक, 10 बैंक पासबुक, 1 कार और 4.85 लाख रुपए नकद जब्त किए गए. जिला दौसा में छापेमारी कर 3 एफआईआर पंजीबद्ध कर 24 साईबर ठगों को गिरफ्तार किया गया.
ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश :जयपुर दक्षिण में करोड़ों रुपए की ऑनलाईन ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश कर 13 युवतियां और 07 युवक गिरफ्तार किए गए. उनके पास से 48 कंप्यूटर, मोबाइल फोन, सिम कार्ड, वीजा कार्ड, बैंक पासबुक, एटीएम कार्ड, लैपटॉप बरामद किए गए. जोधपुर पश्चिम में फर्जी कॉल सेन्टर में शामिल लोगों का भंडाफोड कर 1 पुरुष और 8 महिलाओं को गिरफ्तार किया गया, जिनके कब्जे से 26 सिम कार्ड, 60 कम्पनी के फर्जी कार्ड भारी मात्रा में वाहनों का रिकॉर्ड जब्त किया गया.
इंस्टाग्राम पर फर्जी ज्योतिषियों के मामलों की भी जांच की जा रही है. देश भर से प्राप्त 9 शिकायतों में फैशन उत्पाद की एवज में भुगतान लेने और उत्पाद वितरित नहीं करने वाले घोटालेबाजों को गिरफ्तार किया गया. ई- मित्र संचालकों के AePS घोटालों में संलिप्त होने के संबंध में खुलासा किया गया, जिसमें कई शिकायतों में ई- मित्र संचालकों की भूमिका संदिग्ध पाई गई.
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प्राइवेट फोटो के लिए लड़की को ब्लैकमेल करने का मामला प्रमाणित पाए गए, जिन पर कार्रवाई जारी है. राजस्थान पुलिस की ओर से साइबर अपराधों में लिप्त पाए जाने पर अब तक कुल मोबाइल सिम 2,04,760 और आईएमईआई 2,16,627 ब्लॉक करवाए गये हैं. साइबर अपराधियों के बैंक खाते फ्रीज करवाकर कुल 63,21,40,640 रकम होल्ड करवाई गई, जिसमें से 26,01,488 राशि वापस पीड़ितों के बैंक खातों में जमा करवाई गई.
डॉ. रवि प्रकाश मेहरडा ने बताया की संदिग्धों की जांच में अन्य राज्यों की साइबर शाखा से समन्वय स्थापित कर, यहां पकड़े गए अपराधी, वांछित होने पर उन राज्यों को प्रोडक्शन वारन्ट पर सुपुर्द किए जाएंगे तथा अन्य राज्यों में पकड़े गए साइबर अपराधी राजस्थान में वांछित होने पर प्रोडक्शन वारन्ट पर लिए जाएंगे.
एडीजी क्राइम दिनेश एमएन ने बताया कि साइबर ठगों के विरुद्ध जिलों में अविलंब एफआईआर दर्ज की. क्राईम ब्रांच की ओर से इन प्रकरणों का सुपरविजिन किया जाएगा. साइबर अपराधियों के डोजियर खोलकर सख्त निगरानी की जाएगी. जांच के दौरान संगठित गिरोह की ओर से अपराध का खुलासा होने पर सूचना एसओजी को दी जाएगी. राज्य में संचालित सिम बिक्री करने वाले (POS) की ओर से फर्जी तरीके से सिम विक्रय करने पर उनके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी. साइबर अपराध में बैंक कर्मियों की संलिप्तता पाए जाने पर ऐसे बैंक कर्मियों के विरुद्ध भी सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी.