मैगजीन में नौकरी के दौरान केजरीवाल से बढ़ी नजदीकियां, जानें कौन हैं बिभव कुमार जिस पर मालीवाल को पीटने का आरोप - Swati Maliwal assault case - SWATI MALIWAL ASSAULT CASE
MALIWAL ASSAULT CASE: CM अरविंद केजरीवाल के निजी सचिव बिभव कुमार का नाम इन दिनों सुर्खियों में है. बिभव केजरीवाल के खास माने जाते हैं. वह पहली बार 'इंडिया अगेंस्ट करप्शन' आंदोलन के दौरान वह उनके संपर्क में आए थे.
बिभव कुमार, CM केजरीवाल और स्वाति मालीवाल की फाइल फोटो. (Etv Bharat gfx)
नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के निजी सचिव बिभव कुमार पर आम आदमी पार्टी की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ सीएम हाउस में कथित मारपीट और बदसलूकी करने के आरोप लगे हैं. दिल्ली पुलिस ने गुरुवार को स्वाति मालीवाल से उनके आवास पर कई घंटे की पूछताछ के बाद आईपीसी की अलग-अलग धाराओं में मुकदमा भी दर्ज कर लिया है.
शुक्रवार को तीस हजारी कोर्ट में स्वाति का मजिस्ट्रेट के सामने 164 के तहत बयान भी दर्ज कराया गया है. इस मामले के हाईप्रोफाइल होने के चलते दिल्ली पुलिस भी हर मामले में फूंक-फूंक कर कदम उठा रही है. अब सवाल उठता है कि आखिर बिभव कुमार का रूतबा इतना कैसे बढ़ा और सीएम केजरीवाल के इतने करीबी कैसे बन गए. आइए जानते हैं...
बिभव कुमार के सीएम केजरीवाल के बेहद करीबी होने का पता करने के लिए आज से 12-13 साल पीछे जाना होगा. यह वह वक्त था जब केजरीवाल सड़क पर आंदोलन कर रहे थे. तब देश में इंडिया अगेंस्ट करप्शन को लेकर मुहिम चल रही थी. इस आंदोलन से जन्मी आम आदमी पार्टी के वक्त बिभव कुमार की अहम भूमिका रही. मूल रूप से बिहार के सासाराम के रहने वाले बिभव ने बनारस हिंदू यूनिवर्सिटी से पढ़ाई की है.
आंदोलन के समय से पहले निकाली जा रही इंडिया अगेंस्ट करप्शन मैग्जीन में बिभव कुमार वीडियो एडिटर के तौर पर काम करते थे. इस मैग्जीन से जुड़े रहने के वक्त उनकी नजदीकियां सीएम केजरीवाल के साथ ज्यादा बढ़ीं. इस दौरान साल 2011 में भ्रष्टाचार के खिलाफ बड़ा आंदोलन किया गया. दोनों की जान पहचान इतनी प्रगाढ़ हो गई कि वो दोस्ती में तब्दील हो गई.
दूसरी बार सीएम बनने के बाद बनाया था पीएस:आंदोलन के बाद अरविंद केजरीवाल ने राजनीतिक दल के तौर पर आम आदमी पार्टी का गठन किया. यह राजनीतिक दल 2013 में पहली बार दिल्ली की सत्ता में 28 सीट जीतकर आया और कांग्रेस के साथ मिलकर 49 दिन की सरकार बना ली. इसके बाद एक साल तक दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लागू रहा और 2015 में आम आदमी पार्टी सत्ता में दूसरी बार प्रचंड बहुमत के साथ आई.
इस दौरान बिभव कुमार को सीएम केजरीवाल ने अपना प्राइवेट सेक्रेटरी नियुक्त किया. दिल्ली के दूसरी बार सीएम बने केजरीवाल ने बिभव को 17 फरवरी, 2015 को निजी सचिव बनाया. यह सब बिभव के बेहद करीबी होने के चलते हुआ. इसके बाद दिल्ली की सत्ता और पार्टी में बिभव का कदम लगातार बढ़ता गया.
जेल में सीएम से मिलने वालों की लिस्ट में बिभव भी:बिभव कुमार के केजरीवाल का इतना खास और बड़ा राजदार होने का अंदाजा इस बात से भी लगाया जा सकता है कि जब आबकारी नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय ने सीएम केजरीवाल को अरेस्ट कर जेल भेज दिया था. उस समय उनसे मुलाकात करने वाले 6 लोगों के नामों में उनका नाम भी शामिल था. इसके अलावा सीएम केजरीवाल के राजदार होने के चलते ईडी ने उनसे 8 अप्रैल को भी करीब 6 से 7 घंटे की लंबी पूछताछ की थी. इससे पहले भी ईडी आबकारी नीति में कथित मनी लॉन्ड्रिंग मामले में बिभव से पूछताछ कर चुकी है.
बिभव का विवादों से पुराना नाता: अब बात बिभव के विवादों से जुड़े होने की करें तो यह कोई नया मामला नहीं है. बिभव को पिछले दिनों दिल्ली सरकार के विजिलेंस डिपार्टमेंट ने साल 2007 के एक केस में कार्रवाई करते हुए बर्खास्त कर दिया गया था. उनके खिलाफ लंबित यह मामला नोएडा डेवल्पमेंट ऑथोरिटी में कार्यरत महेश पाल नाम के व्यक्ति के साथ गाली गलौच करने और धमकी देने का था. विभाग ने कहा था कि उनके खिलाफ क्रिमिनल केस की जांच नहीं की गई और नियुक्ति कर दी गई. इसको अवैध करार देते हुए विजिलेंस विभाग ने उनकी सेवाएं समाप्त कर दी थी.
सीएम करीबी होने के चलते टाइप-6 बंगला भी था अलॉट:सीएम के बेहद करीबी होने के चलते बिभव को सिविल लाइंस जैसे पॉश एरिया में पीडब्ल्यूडी की ओर से 2021 में टाइप-6 कैटेगरी का बंगला भी अलॉट किया गया था. अब सर्विस टर्मिनेशन ऑर्डर के बाद पीडब्ल्यूडी ने भी बिभव को बंगला खाली करने का नोटिस पिछले माह दे दिया था जोकि एक माह के भीतर खाली करना था. हालांकि, अभी इसको खाली नहीं किया गया है. विजिलेंस विभाग ने बंगला अलॉटमेंट में नियमों का उल्लंघन बताया था. इसके बाद ही लोक निर्माण विभाग ने इस बाबत नोटिस जारी किया था.
बिभव कुमार इस मामले के बाद सुर्खियों में आए:बिभव कुमार एक बार फिर विवादों में इसलिए आए कि उन पर डीसीडब्लू की पूर्व चेयरपर्सन और राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल से मुख्यमंत्री आवास में कथित मारपीट व दुर्व्यवहार करने के आरोप लगे हैं. स्वाति मालीवाल ने इस मामले में लिखित शिकायत दी है. पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है. पुलिस बिभव की तलाश कर रही है लेकिन अभी उसका पता नहीं लग पाया है. यह घटना उस वक्त हुई जब स्वाति मालीवाल 13 मई (सोमवार) को सीएम आवास में हुई थी.
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