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श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन ने जारी किए नए नियम, रथों पर मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति नहीं - Sri Jagannath Temple Administration - SRI JAGANNATH TEMPLE ADMINISTRATION

पुरी जगन्नाथ रथयात्रा में के दौरान हुई अव्यवस्था के बाद श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासनके मुख्य प्रशासक के रूप में अरविंद पाढ़ी ने कार्यभार संभाला है. उन्होंने पदभार संभालने के साथ ही कुछ बड़े फैसले लिए हैं. उन्होंने कहा कि अब रथों पर मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति नहीं होगी.

New rules of Shree Jagannath Temple Administration
श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन के नए नियम (फोटो - ETV Bharat Odisha Desk)

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Jul 12, 2024, 5:20 PM IST

पुरी: पुरी जगन्नाथ की रथयात्रा के दौरान हुई अव्यवस्था के बाद अब रथों पर मोबाइल फोन ले जाने की अनुमति नहीं होगी. रथों पर मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा और न ही तस्वीरें ली जा सकेंगी. श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन (एसजेटीए) के मुख्य प्रशासक के रूप में कार्यभार संभालने के तुरंत बाद, अरविंद पाढ़ी ने शुक्रवार को ऐसे ही कई और निर्णय लिए.

अरविंद पाढ़ी ने कहा कि 'कुछ अनधिकृत व्यक्तियों को रथों पर मोबाइल फोन ले जाते देखा गया था. इस तरह के अव्यवस्थित व्यवहार के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. कोई भी व्यक्ति रथ पर तब तक नहीं चढ़ सकता जब तक कि वह सेवा में न लगा हो. हम इसके लिए सेवादारों का सहयोग चाहते हैं. हमें उम्मीद है कि वे हमारा सहयोग करेंगे, ताकि हमारी संस्कृति को बढ़ावा देने के बजाय इसकी निंदा न हो.'

श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन के मुख्य प्रशासक ने कहा कि 'हम भगवान बलभद्र के पहांडी अनुष्ठान के दौरान फिसलने के लिए खेद व्यक्त करते हैं. इसके लिए एक समिति बनाई गई है. हम समिति की रिपोर्ट का इंतजार करेंगे. मंदिर प्रशासन निश्चित रूप से इस पर ध्यान केंद्रित करेगा ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों.'

गुरुवार देर रात ओडिशा सरकार ने वरिष्ठ आईएएस अधिकारी वीवी यादव की जगह अरबिंद कुमार पाधी को श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन (एसजेटीए) का नया मुख्य प्रशासक नियुक्त किया है. यादव को एसजेटीए के मुख्य प्रशासक के पद से हटाने का फैसला उस घटना के दौरान उनकी अनुपस्थिति को लेकर आलोचना के बाद लिया गया है, जिसमें रथ यात्रा उत्सव के दौरान भगवान बलभद्र की मूर्ति गिर गई थी और 12 सेवक घायल हो गए थे.

रत्न भंडार एसओपी पर कानून मंत्री: रत्न भंडार खोलने के लिए न्यायमूर्ति विश्वनाथ रथ की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति द्वारा अनुशंसित मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) एक या दो दिन में सार्वजनिक कर दी जाएगी. कानून मंत्री पृथ्वीराज हरिचंदन ने कहा कि रत्न भंडार खोलने के लिए एसओपी की जांच की जा रही है और शनिवार तक सरकार द्वारा इसे मंजूरी दे दी जाएगी.

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