नई दिल्ली: दिल्ली में चुनाव को लेकर राजनीति हाई है. तीनों पार्टी आप ,बीजेपी और कांग्रेस अपनी पूरी जोर आजमाइश में जुटी है. हालांकि मुकाबला इस चुनाव के पहले आप और बीजेपी का है.वहीं कांग्रेस के इस चुनावी मैदान में कूदने से दिल्ली का मुकाबला अब रोमांचक हो चला है. इसी कड़ी में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने शनिवार को आरोप लगाया कि यहां अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के बाहर मरीज और उनके परिजन “नरक” जैसी स्थिति का सामना कर रहे हैं और इस स्थिति के लिए केंद्र तथा दिल्ली सरकार दोनों जिम्मेदार हैं.
दिल्ली एम्स के बाहर गंदगी देख भड़के राहुल गांधी
राहुल गांधी ने सोशल मीडिया पर लिखा कि दिल्ली सरकार और केंद्र सरकार मरीजों के प्रति असंवेदनशील है. उन्होंने कहा कि एम्स के बाहर नरक है. मरीज और उनके परिवार एम्स के बाहर ठंड, गंदगी और भूख के बीच सोने को मजबूर हैं. उनके पास न छत है, न खाना , न शौचालय और न पीने का पानी है. 21वीं सदी में मरीज फर्श पर लेटे हुए हैं. यह पूरी तरह से अपमाणजनक है कि लोग यहां तड़प रहे हैं.
इससे पहले राहुल गांधी ने एम्स के बाहर मौजूद मरीजों के परिजन से मुलाकात की थी और उनकी मुश्किलों के बारे जाना था. उन्होंने इस मुलाकात की जानकारी ट्वीट के जरिए दी ...कहा एम्स पहुंचकर वहां कैंपस के बाहर सो रहे मरीजों से उनका हाल-चाल जाना. साथ ही उनकी समस्याओं और शिकायतों के बारे में जानकारी ली. इस दौरान कई लोगों को राहुल गांधी ने इलाज और आर्थिक सहयोग का भी आश्वासन दिया.
बीमारी का बोझ, ठिठुराने वाली सर्दी: राहुल गांधी ने ‘इंस्टाग्राम’ पर लिखा, “बीमारी का बोझ, ठिठुराने वाली सर्दी और सरकारी असंवेदनशीलता. “इलाज की राह में वे सड़कों, फुटपाथों और सबवे पर सोने को मजबूर हैं-ठंडी जमीन, भूख, और असुविधाओं के बीच भी बस उम्मीद की एक लौ जलाए बैठे हैं. लेकिन केंद्र और दिल्ली सरकार दोनों, जनता के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाने में पूरी तरह से नाकाम रहे हैं. राहुल गांधी ने केंद्र तथा दिल्ली सरकार पर उनके प्रति "असंवेदनशीलता" दिखाने का आरोप लगाया.अब देखना होगा कि राहुल गांधी के जनहित में उठाए सवाल दिल्ली चुनाव में कांग्रेस को कितना जन समर्थन दिला पाते हैं.