लखनऊ: यूपी में लगातार प्रदूषण (Pollution level in UP) स्तर बढ़ रहा है. प्रदेश के कुछ जिले ऐसे हैं, जहां प्रदूषण स्तर हमेशा अधिक ही रहता है. जिसमें मेरठ, गाजियाबाद, नोएडा, ग्रेटर नोएडा और लखनऊ शहर शामिल हैं. इन दिनों सरकारी अस्पतालों में सांस लेने में दिक्कत की शिकायत लेकर मरीज काफी पहुंच गए हैं. ज्यादातर मरीजों की एक ही शिकायत है कि सांस लेने में कठिनाइयां होती हैं. बीते दिनों प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ गया था लगातार सुबह शाम फॉग होने और आतिशबाजी के कारण भी प्रदूषण स्तर बढ़ गया.
यूपी के प्रदूषण हुआ खतरनाक, कई जिलों में एयर क्वालिटी इंडेक्स 300 के पार पहुंचा - pollution level in UP
यूपी में कई जिलों में प्रदूषण का स्तर (एयर क्वालिटी इंडेक्स) बुधवार को 300 के पार (Air Quality Index above 300 mark in UP) पहुंच गया.
By ETV Bharat Uttar Pradesh Team
Published : Jan 24, 2024, 7:52 PM IST
|Updated : Jan 24, 2024, 9:55 PM IST
सेंट्रल कंट्रोल पॉल्यूशन बोर्ड यानी सीपीसीबी की बुधवार की दोपहर 3 बजे की रिपोर्ट के मुताबिक नोएडा का एक्यूआई 315, मेरठ का एक्यूआई 284, गाजियाबाद का एक्यूआई 309, ग्रेटर नोएडा का एक्यूआई 324, गोरखपुर का एक्यूआई 143, प्रयागराज का एक्यूआई 126, लखनऊ का एक्यूआई 239, मुरादाबाद का एक्यूआई 170, वृंदावन का एक्यूआई 98, कानपुर का एक्यूआई 185, बरेली का एक्यूआई 97, झांसी का एक्यूआई 171, प्रतापगढ़ का एक्यूआई 136 और वाराणसी का एक्यूआई 78 हैं.
300 अंक पर हुआ इंडस्ट्रियल क्षेत्र का प्रदूषण स्तर:सीपीसीबी रिपोर्ट के मुताबिक ताल कटोरा इंडस्ट्रियल एरिया का एयर क्वालिटी इंडेक्स 332, केन्द्रीय विद्यालय लखनऊ का एक्यूआई 264, लालबाग का एक्यूआई 301, गोमतीनगर का एक्यूआई 127, अंबेडकर नगर विवि का एक्यूआई 165 और कुकरैल पिकनिक स्पॉट का एक्यूआई 198 हैं. यह प्रदूषण स्तर बुधवार दोपहर 3 बजे की रिपोर्ट के मुताबिक है. बीते दिनों सुबह, शाम और रात के समय इंडस्ट्रियल क्षेत्र का एक्यूआई 350 अंक के पार पहुंच गया था.
सुबह, शाम और रात न निकले बाहर: उप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी डॉ. उमेश चंद्र शुक्ला ने बताया कि इस समय प्रदूषण बहुत अधिक बढ़ रहा है. ऐसे मौसम में लोगों को सावधानी बरतने की आवश्यकता है. वर्तमान में जो प्रदूषण स्तर बढ़ रहे हैं, वह सर्दी बढ़ने के कारण हो रहा है. इंडस्ट्रियल एरिया का हाल बहुत खराब रहता है. सुबह, शाम और रात के समय प्रदूषण स्तर 350 के पार पहुंच जाता है. जोकि खतरनाक स्टेज में आता है. इसके अलावा दोपहर के समय में प्रदूषण स्तर 100 से लेकर 200 के बीच में निम्नवत बना रहता है. इसलिए जिस समय प्रदूषण स्तर बढ़ा हुआ है यानी सुबह, शाम और रात के समय अधिक बाहर न निकलें. सर्दी से बच के रहें.
आखों के मरीजों की संख्या बढ़ी: सिविल अस्पताल के नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ. अतहर के मुताबिक बुधवार को अस्पताल की ओपीडी में आंखों की दिक्कत से पीड़ित मरीजों की संख्या बढ़ गई है. उन्होंने कहा कि नॉर्मल दिनों में जो ओपीडी 100 से 150 मरीज की होती थी. वह बढ़कर करीब 250 से 300 तक पहुंच गयी है. इसके अलावा बलरामपुर अस्पताल के नेत्ररोग विभाग के डॉ. प्रेम दुबे ने बताया कि इस समय प्रदूषण के चलते आंखों में जलन के मामले अधिक आ रहे हैं मरीजों की शिकायत होती है कि उनकी आंखों में बहुत जलन हो रही है. इसके अलावा आंखें लाल हो जा रही है. यह सब लक्षण जब लोग बाहर निकलते हैं और प्रदूषण के कण आंखों में जाते हैं, तब यह समस्याएं शुरू होती है. इन दोनों 30 फीसदी अस्पताल की ओपीडी में मरीजों की संख्या बढ़ी है.
एक्यूआई गुणवत्ता
0-50 अच्छी
51-100 संतोषजनक
101-200 मध्यम
201-300 खराब
301-400 बेहद खराब
401-500 खतरनाक