श्रीनगर : महबूबा मुफ्ती ने बुधवार को कहा कि उनकी पार्टी लोकसभा चुनाव में घाटी की सभी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी. इसके बाद नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के उपाध्यक्ष उमर अब्दुल्ला ने सीट बंटवारे पर दरवाजे बंद करने के लिए महबूबा मुफ्ती को जिम्मेदार ठहराया.
एक मीडिया कॉन्फ्रेंस में महबूबा मुफ्ती ने कहा, 'उनकी पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) घाटी में तीन लोकसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी. एनसी ने पीडीपी के साथ बिना किसी परामर्श के घाटी में तीन लोकसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारने का फैसला किया है.' महबूबा मुफ्ती के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए उमर अब्दुल्ला ने कहा, 'हमने दरवाजा खुला रखा, अगर उन्होंने इसे बंद किया है तो यह हमारी गलती नहीं है.'
उन्होंने कहा कि एनसी ने सुलह और एकता के लिए दरवाजा खुला रखा था. लेकिन उन्होंने इसे बंद कर दिया है तो यह एनसी की गलती नहीं है. उमर अब्दुल्ला ने कहा, 'यदि पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने सभी 5 सीटों पर उम्मीदवार उतारने का ऐलान किया है तो यह उनकी पसंद है. हमने उनके फॉर्मूले के आधार पर कश्मीर में 3 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं. अगर वह अपने उम्मीदवार उतार रही हैं तो शायद वह विधानसभा चुनाव में भी किसी तरह का गठबंधन नहीं चाहती.'
महबूबा मुफ्ती का फैसला दर्शाता है कि पीडीपी विधानसभा चुनाव में भी गठबंधन करना नहीं चाहती है. हमने पीडीपी के फॉर्मूले का इस्तेमाल किया. हमने उन निर्वाचन क्षेत्रों से उम्मीदवार उतारे जहां एनसी ने पिछले लोकसभा चुनाव जीते थे. एनसी और पीडीपी के बीच बुधवार को आरोप-प्रत्यारोप के बाद यह साफ हो गया कि अब दोनों तरफ से चुनावी तलवारें खिंच गई हैं. भाजपा को एकजुट होकर टक्कर देने का दावा करने वाली एनसी और पीडीपी लोकसभा चुनाव में सीधे तौर पर एक-दूसरे से लड़ेंगी.