हैदराबाद: जो लोग नए ड्राइविंग लाइसेंस के लिए आवेदन करना चाहते हैं उनके लिए अच्छी खबर है. सरकार ने ड्राइविंग लाइसेंस और ट्रेनिंग से जुड़े नियमों में अहम बदलाव किए हैं. नए नियम 1 जून 2024 से लागू हो गया है. अब आपको आरटीओ ऑफिस जाकर टेस्ट ड्राइव लेने की जरूरत नहीं है. इसका नोटिफिकेशन जारी कर दिया गया है. नए नियमों के तहत क्या बदलाव हुए है जानिए...
आरटीओ ऑफिस जाने की जरूरत नहीं!
नए नियमों के मुताबिक, अब आपको ड्राइविंग टेस्ट के लिए आरटीओ ऑफिस जाने की जरूरत नहीं है. आरटीओ कार्यालय के बजाय निजी प्रशिक्षण केंद्रों पर ड्राइविंग टेस्ट दिया जा सकता है. वे आपका ड्राइविंग टेस्ट लेंगे और आपको एक प्रमाणपत्र देंगे. इसके जरिए आप आरटीओ कार्यालय से ड्राइविंग लाइसेंस प्राप्त कर सकते हैं. ये नए नियम आज से लागू हो गया है. इन नए नियमों का मुख्य उद्देश्य आवेदकों को ड्राइविंग लाइसेंस के लिए सीधे आरटीओ कार्यालयों में जाने की आवश्यकता को खत्म करना है. ड्राइविंग लाइसेंस जारी करना पूरी तरह से ऑनलाइन हो गया है.
निजी ड्राइविंग स्कूलों के लिए नए नियम
इवेट ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर के लिए नए नियम: प्राइवेट ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर स्थापित करने के लिए भी कई नियमों का पालन करना होता है. हल्के मोटर वाहन चालन प्रशिक्षण हेतु एक एकड़ भूमि उपलब्ध होनी चाहिए. चार पहिया वाहन चालन प्रशिक्षण के लिए 2 एकड़ भूमि और जोड़ी जानी चाहिए. सरकार उन निजी ड्राइविंग प्रशिक्षण केंद्रों को लाइसेंस जारी करती है जिनमें सभी प्रकार की सुविधाएं होती हैं. इन निजी प्रशिक्षण केंद्रों के प्रशिक्षकों के पास कम से कम डिप्लोमा होना चाहिए. साथ ही कम से कम 5 साल का ड्राइविंग अनुभव होना चाहिए. बायोमेट्रिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी प्रणालियों का न्यूनतम ज्ञान होना चाहिए.
हल्के मोटर वाहन का प्रशिक्षण चार सप्ताह या कम से कम 29 घंटे में पूरा किया जाना चाहिए. यह प्रशिक्षण सैद्धान्तिक एवं व्यावहारिक पद्धति से होना चाहिए. थ्योरी के लिए न्यूनतम 8 घंटे और प्रैक्टिकल के लिए न्यूनतम 21 घंटे. भारी मोटर वाहनों के मामले में 6 सप्ताह या न्यूनतम 38 घंटे का प्रशिक्षण. थ्योरी की पढ़ाई 8 घंटे और प्रैक्टिकल की पढ़ाई 31 घंटे होनी चाहिए.
खतरनाक माल वाहनों के लिए प्राधिकरण का समर्थन या रिन्यूअल
ड्राइविंग लाइसेंस का नवीनीकरण: 200.00 रुपये
ड्राइविंग लाइसेंस का नवीनीकरण (अनुग्रह अवधि के बाद) 300.00 + अतिरिक्त शुल्क 1,000 रुपये प्रति वर्ष या उसका हिस्सा (अनुग्रह अवधि की समाप्ति से)