बेंगलुरु: कर्नाटक में रामनगर जिले का नाम बदलने की बात सामने आई है. उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने सीएम सिद्धारमैया को एक पत्र सौंपा है, जिसमें रामनगर जिले का नाम बदलकर बेंगलुरु दक्षिण जिला करने और रामनगर को जिला मुख्यालय घोषित करने की मांग की गई है. सीएम ने इस पर जवाब देने का वादा किया है.
बता दें, डीके शिवकुमार के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल जिसमें रामनगर जिले के प्रभारी मंत्री रामलिंगा रेड्डी, पूर्व सांसद डीके सुरेश, पूर्व विधायक सीएम लिंगप्पा, रामनगर विधायक इकबाल हुसैन शामिल थे, उन्होंने मंगलवार को विधानसभा में सीएम सिद्धारमैया से मुलाकात कर एक पत्र सौंपा.
अनुरोध पत्र में कहा गया कि यह कोई पहला मामला नहीं है, इससे पहले डोड्डाबल्लापुर, नेलमंगला, यलहंका, देवनहल्ली, अनेकल, बेंगलुरु दक्षिण, बेंगलुरु पूर्व, होसाकोटे, रामनगर, मगदी, कनकपुरा और चन्नपट्टना तालुके बेंगलुरु जिले का हिस्सा थे. वर्ष 1986 में डोड्डाबल्लापुर, नेलमंगला, देवनहल्ली, होसाकोटे, चन्नपट्टना, रामनगर, मगदी और कनकपुरा तालुकों को जोड़कर बेंगलुरू ग्रामीण जिला घोषित किया गया. वर्ष 2007 में डोड्डाबल्लापुर को बेंगलुरू ग्रामीण जिले का हिस्सा घोषित किया गया, जिसमें होसाकोटे, नेलमंगला, देवनहल्ली, डोड्डाबल्लापुर शामिल थे और बेंगलुरू ग्रामीण जिला नाम बरकरार रखा गया.
इसी तरह, 2007 में मगदी, कनकपुरा, चन्नपट्टना और रामनगर तालुकों को जोड़कर रामनगर जिला घोषित किया गया और रामनगर को जिला मुख्यालय घोषित किया गया. जिसका उल्लेख अनुरोध पत्र में किया गया है. अब बेंगलुरू शहर की अंतरराष्ट्रीय ख्याति, संप्रभुता और गरिमा रामनगर, मगदी, कनकपुरा, चन्नपट्टना और हरोहल्ली तालुकों को मिलनी चाहिए, यह लोगों की इच्छा है और हमारी सोच भी. इसलिए हम रामनगर, चन्नपटना, मगदी, कनकपुरा और हारोहल्ली तालुकों वाले रामनगर जिले का नाम बदलकर बेंगलुरु दक्षिण जिला करने और रामनगर को इसका जिला मुख्यालय घोषित करने का अनुरोध करते हैं.
कैबिनेट में चर्चा के बाद फैसला
मीडिया से बातचीत में, डीसीएम डीके शिवकुमार ने कहा कि हमने अपने नेतृत्व में सीएम से मुलाकात की. हम सभी बेंगलुरु से हैं. पहले रामनगर बेंगलुरु जिले का हिस्सा था. बाद में इसे एक अलग जिला बना दिया गया. अब रामनगर की जगह इसका नाम बदलकर बेंगलुरु साउथ जिला करने का अनुरोध किया गया है. सीएम ने भी इस पर सहमति जताई है. मंत्री ने कहा कि कैबिनेट की बैठक में इस बारे में चर्चा होगी. फिर नाम बदला जाएगा. मौजूदा मुख्यालय मगदी, चन्नपटना होगा और हारोहल्ली को दक्षिण (दक्षिण) रेंज में शामिल किया जाएगा.