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उत्तराखंड में भारत-कजाकिस्तान का संयुक्त सैन्य अभ्यास संपन्न, द्विपक्षीय संबंधों को मिली मजबूती - KAZIND MILITARY EXERCISE 2024

औली में चल रहा भारत-कजाकिस्तान का संयुक्त सैन्य अभ्यास काजिंद 2024 का आज समापन हो गया है. अभ्यास से द्विपक्षीय संबंधों को मजबूती मिली है.

KAZIND MILITARY EXERCISE 2024
संयुक्त सैन्य अभ्यास काजिंद 2024 का आज समापन (Photos- सूचना विभाग चमोली)

By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Oct 13, 2024, 7:00 PM IST

Updated : Oct 13, 2024, 7:48 PM IST

चमोली: भारत-कजाकिस्तान संयुक्त सैन्य अभ्यास 2024 का 8वां संस्करण आज आधुनिक विदेशी प्रशिक्षण नोड औली में संपन्न हो गया. समापन समारोह में कजाकिस्तान सेना के उप प्रमुख कर्नल डी खमितोव, कजाकिस्तान सेना के दक्षिणी कमान के क्षेत्रीय बल कमांडर कर्नल नुरलान करिबयेव और ब्रिगेडियर उपिंदर पाल सिंह, कमांडर 116 इन्फैंट्री ब्रिगेड ने भाग लिया.

औली में 30 सितंबर से शुरू हुआ था संयुक्त सैन्य अभ्यास:इससे पहले यह संयुक्त सैन्य अभ्यास जुलाई 2023 में कजाकिस्तान में आयोजित किया गया था. काजिंद अभ्यास भारत और कजाकिस्तान में वैकल्पिक रूप से आयोजित एक वार्षिक प्रशिक्षण कार्यक्रम है. इस साल औली में संयुक्त सैन्य अभ्यास की शुरूआत 30 सितंबर से की गई.

भारत-कजाकिस्तान का संयुक्त सैन्य अभ्यास संपन्न (VIDEO- ETV Bharat)

कजाकिस्तान टुकड़ी का सैन्य बल ने किया प्रतिनिधित्व : 120 कर्मियों वाली भारतीय टुकड़ी का प्रतिनिधित्व मुख्य रूप से कुमाऊं रेजिमेंट की एक बटालियन और भारतीय वायु सेना के अलावा अन्य सेवाओं के कर्मियों द्वारा किया गया था. वहीं, 60 कर्मियों वाली कजाकिस्तान टुकड़ी का प्रतिनिधित्व मुख्य रूप से सैन्य बल, वायु रक्षा बल और एयरबोर्न असॉल्ट सैन्य कर्मियों द्वारा किया गया था.

भारत-कजाकिस्तान का संयुक्त सैन्य अभ्यास काजिंद 2024 खत्म (Photo- सूचना विभाग चमोली)

दोनों पक्षों की संयुक्त सैन्य क्षमता को बढ़ाना Kazind का उद्देश्य:भारत-कजाकिस्तान संयुक्त सैन्य अभ्यास 2024 का उद्देश्य उप पारंपरिक परिदृश्य में आतंकवाद विरोधी अभियान चलाने के लिए दोनों पक्षों की संयुक्त सैन्य क्षमता को बढ़ाना था. संयुक्त अभ्यास अर्ध-शहरी और पहाड़ी इलाकों में संचालन पर केंद्रित था. संयुक्त प्रशिक्षण से जो उद्देश्य प्राप्त हुए, उनमें उच्च स्तर की शारीरिक योग्यता, सामरिक स्तर पर संचालन के लिए अभ्यास और परिष्कृत अभ्यास समेत सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करना है.

सेना के जवानों ने ड्रोन विरोधी प्रणाली का किया उपयोग:संयुक्त सैन्य अभ्यास में एक परिभाषित क्षेत्र पर कब्जा करने की कार्रवाई, आतंकवादी कार्रवाई का जवाब देना, एक संयुक्त आदेश चौकी की स्थापना, एक खुफिया और निगरानी केंद्र की स्थापना, एक हेलीपैड / लैंडिंग साइट की सुरक्षा, फ्री फॉल और विशेष हेलिबोर्न ऑपरेशन शामिल थे. अभ्यास में घेराबंदी और तलाशी अभियान के अलावा ड्रोन का इस्तेमाल और ड्रोन विरोधी प्रणाली का उपयोग भी शामिल रहा.

भारत-कजाकिस्तान का संयुक्त सैन्य अभ्यास काजिंद 2024 (Photo- सूचना विभाग चमोली)

दोनों राष्ट्रों के बीच द्विपक्षीय संबंधों को मिली मजबूती:Kazind अभ्यास 2024 ने दोनों पक्षों को संयुक्त अभियान चलाने की रणनीति, तकनीक और प्रक्रियाओं में अपनी सर्वोत्तम प्रथाओं को साझा करने में सक्षम बनाया है. संयुक्त अभ्यास ने दोनों देशों के सशस्त्र बलों के कर्मियों के बीच अंतर-संचालन और सौहार्द विकसित करने में मदद की. इससे रक्षा सहयोग का स्तर भी बढ़ा और दोनों राष्ट्रों के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूती मिली है.

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Last Updated : Oct 13, 2024, 7:48 PM IST

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