रांची: आगामी विधानसभा चुनाव 2024 की तैयारी की समीक्षा करने चुनाव आयोग की टीम झारखंड दौरे पर है. जहां चुनाव आयोग की टीम दूसरे और अंतिम दिन राज्य के सभी जिलों के निर्वाचन पदाधिकारी, पुलिस अधीक्षक, प्रमंडल आयुक्त, डीआईजी, आईजी के साथ बैठक कर रही है. राजधानी रांची के रेडिसन ब्लू होटल में यह बैठक सुबह 9 बजे से शुरू हुई.
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार की मौजूदगी में चल रही इस बैठक में राज्य के सभी 81 विधानसभा क्षेत्र में होने वाले चुनाव की तैयारी से संबंधित जिलावार समीक्षा की जा रही है. मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के रवि कुमार के अनुसार दो दिनों की इस समीक्षा बैठक पूरी होने के बाद चुनाव आयोग के द्वारा बैठक से संबंधित जानकारी आज शाम तक जारी किया जाएगा.
बैठक में मौजूद पुलिस अधिकारी (ETV BHARAT) इस बैठक में मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार, चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार, चुनाव आयुक्त सुखवीर सिंह संधु, वरीय उपचुनाव आयुक्त धर्मेंद्र शर्मा, उप चुनाव आयुक्त संजय कुमार, डिप्टी डायरेक्टर जनरल अशोक कुमार, निदेशक पंकज श्रीवास्तव, संयुक्त निदेशक अनुज चांडक के अलावे झारखंड के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के रवि कुमार उपस्थित हैं.
भारत निर्वाचन आयोग की बैठक में दिए गए निर्देश
- रांची, खूंटी, चतरा और लातेहार में अफीम की खेती रोकने के लिए चलाएं विशेष अभियान
- रांची डीसी को निर्वाचन कार्य के प्रति गंभीर होने का निर्देश
- झारखंड की कला संस्कृति को ध्यान में रखकर कलाकारों को मतदाता जागरूकता अभियान में शामिल करें
- विश्व वृद्धजन दिवस पर बुजुर्ग मतदाताओं के लिए 1 अक्टूबर को चलाएं विशेष अभियान
- झारखंड से सटे अन्य राज्यों के सीमावर्ती जिलों में चौकसी बरतने का पुलिस पदाधिकारी को निर्देश
- सभी जिले अपने यहां की स्थानीय परिस्थितियों के अनुरूप सर्वश्रेष्ठ प्रयास करते हुए स्वतंत्र एवं निष्पक्ष विधानसभा चुनाव कराने हेतु लग जाएं
- इस बार मतदान प्रतिशत में अपेक्षा से अधिक वृद्धि हो, इसके लिए सभी जिलों को अपने मतदाताओं के साथ स्थानीय जुड़ाव के साथ सकारात्मक रणनीति बनाकर काम करना होगा
- रांची जिले को विशेष रूप से निर्वाचन कार्यो में ज्यादा गंभीरता से कार्य करने का निर्देश दिया गया. बोकारो व धनबाद के शहरी इलाकों में मतदान प्रतिशत को लेकर अभी भी बहुत प्रयास करने की जरूरत है.
- झारखंड की स्थानीय कला, संस्कृति, खेल, परंपरा आदि की मदद से दूरदराज के लोगों तक जुड़ें तथा उन्हें लोकतंत्र में सहभागिता हेतु प्रेरित करें.
- अधिक से अधिक लोकल इन्फ्लूएंसर को चुनाव एम्बेस्डर के रूप में जोड़ते हुए उनका बेहतर सहयोग प्राप्त किया जा सकता है.
- संथाल, हो, नागपुरी, मुंडारी आदि जनजातीय इलाकों में स्थानीय कला संस्कृति (जैसे सोहराय पेंटिंग, पायका नृत्य आदि) की मदद से ग्रामीण मतदाताओं के बीच निर्वाचन जागरूकता को प्रभावी बनाया जा सकता है.
- नेतरहाट विद्यालय जैसे स्थानीय प्रसिद्ध शैक्षणिक संस्थानों के पूर्व-छात्रों का भी मतदान जागरूकता में उपयोग किया जा सकता है.
- झारखंड की आदिम जनजाति (PVTG) समुदाय के हर एक घर तक निर्वाचन तंत्र की पहुंच बनानी होगी. इन क्षेत्रों में समावेशी निर्वाचन (inclusive election) की दिशा में local connect के साथ काम करना होगा.
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