उत्तरकाशी (उत्तराखंड): उत्तराखंड के उत्तरकाशी सिलक्यारा सुरंग में पानी निकालने (डी वाटरिंग) का काम रोक दिया गया है. कुछ दिन पूर्व यहां डी वाटरिंग के लिए एसडीआरएफ के जवान, इंजीनियर व श्रमिकों ने ऑगर मशीन से डाले गए पाइपों से अंदर जाकर निरीक्षण किया था. जिसके बाद सुरंग के अंदर भी सुरक्षात्मक कार्य प्रस्तावित किए गए थे. लेकिन फिलहाल यह कार्य रोक दिया गया है. बताया जा रहा है कि कंसलटेंट और विशेषज्ञों की सलाह के बाद ही अब यह काम दोबारा शुरू किया जाएगा.
यमुनोत्री हाईवे पर निर्माणाधीन सिलक्यारा-पोलगांव सुरंग में भूस्खलन हादसे बाद से ही निर्माण कार्य ठप है. 23 जनवरी को केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने कार्यदायी संस्था एनएचआईडीसीएल निर्माण शुरू करने की अनुमति दी थी. जिसके बाद यहां निर्माण शुरू करने के लिए सुरंग के अंदर रिसाव से जमा पानी को बाहर निकालने के लिए सावधानी के साथ कदम बढ़ाए जा रहे थे. जिसके तहत सिलक्यारा मुहाने के पास 150 से 200 मीटर तक क्षैतिज सुदृढ़ीकरण और 80 से 203 मीटर तक 800 एमएम के ह्यूम पाइप बिछाए गए थे.
बीते 16 फरवरी को पहली बार एसडीआरएफ के पांच जवान और इंजीनियर हादसे बाद पहली बार ऑगर मशीन से डाले गए पाइपों से सुरंग में दाखिल हुए थे. जिन्होंने करीब 5 घंटे तक अंदर निरीक्षण किया था. दो से तीन दिन तक यह कवायद जारी रही. इसके बाद अंदर भी सुरक्षात्मक कार्य प्रस्तावित किए गए थे. डी-वाटरिंग की कवायद से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि फिलहाल यह काम रोका गया है. बताया कि अभी कंसलटेंट कंपनी के विशेषज्ञ डी वाटरिंग के लिए अब तक की गई कवायद का निरीक्षण कर अपनी सलाह देंगे.