نئی دہلی: کانگریس کے سابق صدر راہل گاندھی نے وزیر اعظم نریندر مودی کو خط لکھتے ہوئے کہا ہے کہ کشمیری پنڈتوں کے ایک وفد نے انہیں بتایا ہے کہ حکام انہیں تحفظ فراہم کیے بغیر وادی میں واپس جانے کے لیے کہہ رہے ہیں، جس سے انہیں اپنی زندگی کے خطرے کا اندیشہ پیدا ہو گیا ہے۔ راہل گاندھی نے اپنے خط میں کہا کہ انہوں نے وفد کو یقین دلایا ہے کہ وہ ان کا نقطہ نظر وزیر اعطم مودی تک پہنچائیں گے اور انہیں درپیش عملی مشکلات کو دور کرنے پر زور دیں گے۔
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प्रधानमंत्री जी, भारत जोड़ो यात्रा के दौरान कश्मीरी पंडितों के प्रतिनिधिमंडल ने मुझसे मिलकर अपने दुखद हालात बताए।
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आतंकियों की टारगेटेड किलिंग के शिकार कश्मीरी पंडितों को बिना सुरक्षा गारंटी घाटी में जाने के लिए विवश करना निर्दयी कदम है।
आशा है, आप इस विषय में उचित कदम उठाएंगे। pic.twitter.com/1LnxDkT8i9
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— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) February 3, 2023
आतंकियों की टारगेटेड किलिंग के शिकार कश्मीरी पंडितों को बिना सुरक्षा गारंटी घाटी में जाने के लिए विवश करना निर्दयी कदम है।
आशा है, आप इस विषय में उचित कदम उठाएंगे। pic.twitter.com/1LnxDkT8i9प्रधानमंत्री जी, भारत जोड़ो यात्रा के दौरान कश्मीरी पंडितों के प्रतिनिधिमंडल ने मुझसे मिलकर अपने दुखद हालात बताए।
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) February 3, 2023
आतंकियों की टारगेटेड किलिंग के शिकार कश्मीरी पंडितों को बिना सुरक्षा गारंटी घाटी में जाने के लिए विवश करना निर्दयी कदम है।
आशा है, आप इस विषय में उचित कदम उठाएंगे। pic.twitter.com/1LnxDkT8i9
انہوں نے خط کے اقتباسات بھی ٹویٹ کیے اور کہاکہ 'وزیراعظم کشمیری پنڈتوں کے ایک وفد نے بھارت جوڑو یاترا کے دوران مجھ سے ملاقات کی اور مجھے اپنی دکھ بھری حالت بتائی۔' دہشت گردوں کی ٹارگٹ کلنگ کا نشانہ بننے والے کشمیری پنڈتوں کو وادی جانے پر مجبور کیا گیا۔ حفاظتی ضمانتوں کے بغیر یہ ایک ظالمانہ اقدام ہے۔ امید ہے کہ آپ اس معاملے میں مناسب قدم اٹھائیں گے۔
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یو این آئی