काशीपुर: सरकारी या निजी वाहन पर विभाग या पद का नाम लिखने पर प्रतिबंध के बाद भी लोग नेम प्लेट लगाने से बाज नहीं आ रहे हैं. स्टेटस सिंबल सिर्फ अफसरों में ही नहीं, राजनीतिक दलों के नेता भी बड़े-बड़े नेम प्लेट लगाकर रौब गांठते देखे जा सकते हैं. काशीपुर की सड़क पर ऐसी गाड़ियां आसानी से देखी जा सकती हैं. ताज्जुब की बात ये है कि इन गाड़ियों के नेम प्लेट देख पुलिस भी सीधे कार्रवाई करने से कदम पीछे खींच लेती है.
अक्सर अपने शहर में कई दोपहिया वाहनों एवं चार पहिया वाहनों पर विधायक, प्रेस, पुलिस, अध्यक्ष, सरपंच आदि की नेम प्लेट या मोनोग्राम लगा देखा होगा. बड़ी बड़ी नेम प्लेट वाहन मालिक सिर्फ इसलिए अपने वाहन पर लगाते हैं ताकि वे अपने आप को विशिष्ट दर्जा का व्यक्ति बता सकें. काशीपुर की सड़कों पर भी इस तरह के वाहन दौड़ते नजर आ जाएंगे. पुलिस मुख्यालय तक पहुंची ऐसी शिकायतों पर अपर पुलिस महानिदेशक अपराध एवं कानून व्यवस्था अशोक कुमार ने गंभीरता दिखाते हुए गढ़वाल और कुमाऊं रेंज के डीआइजी को ऐसे वाहन मालिकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने को कहा था. लेकिन पुलिस ने भी कुछ दिन तक इस मामले में कार्रवाई की फिर शांत हो गई.
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अपर पुलिस अधीक्षक काशीपुर ने इस मामले में एमवी एक्ट में कार्रवाई किए जाने की बात कही है. नेम प्लेट लगे वाहनों में सबसे अधिक वाहन जनप्रतिनिधियों और सत्तारूढ़ दल से जुड़े लोगों के दिखाई पड़ते हैं. इनके रसूख के चलते परिवहन और पुलिस ऐसे वाहनों को देखकर चेक करना तो दूर की बात रोकने का साहस भी नहीं जुटाती है.