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पैसों के अभाव में 8 महीने से बिस्तर में पड़ी 'लक्ष्मी', मां ने जिंदगी बचाने की लगाई गुहार

टिहरी में एक गरीब परिवार अपने बिटिया की इलाज के लिए दर-दर भटक रहा है. उनकी होनहार बेटी लक्ष्मी बीते 8 महीने से बिस्तर पर पड़ी हुई है, लेकिन रुपए के अभाव में वो इलाज नहीं करवा पा रहे हैं. उन्हें आर्थिक मदद की दरकार है.

lakshmi
लक्ष्मी
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Published : Aug 14, 2021, 7:50 PM IST

Updated : Aug 14, 2021, 10:51 PM IST

टिहरीः 'मां मुझे जहर देकर मार दो' ये कहना है बीते 8 महीने से बिस्तर पर बीमार पड़ी बिटिया लक्ष्मी की. लक्ष्मी का बीमारी के कारण आहार नाल डैमेज हो गया है, लेकिन आर्थिक तंगी और इलाज के अभाव में लक्ष्मी बिस्तर में पड़ी है. उसके परिजनों ने पीएम मोदी, सीएम धामी और तमाम समाजसेवियों से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है. जिससे बिटियां की जिंदगी बचाई जा सके.

दरअसल, नेपाली मूल का एक परिवार 30 सालों से टिहरी शहर में टूटे-फूटे टीनशेड में रहता है. जिनकी 18 साल की एक होनहार बेटी लक्ष्मी है. जो कक्षा 12वीं की छात्रा थी, लेकिन बीमार होने के चलते वो पेपर नहीं दे पाई. लक्ष्मी बीते 8 महीने से बिस्तर में पड़ी हुई है. उसकी आहार नाल किसी बीमारी से खराब हो गई थी, जिसका ऑपरेशन परिजनों ने जौलीग्रांट अस्पताल में करवाया. इस छोटे से ऑपरेशन में उनकी जिंदगी भर की कमाई लग गई. अब परिवार के इलाज के लिए पैसे नहीं है. उन्हें बेटी को बचाने के लिए मदद की दरकार है.

टिहरी की बिटिया लक्ष्मी को मदद की दरकार.

ये भी पढ़ेंः 8 साल से लकवा पीड़ित है गरीब युवक, समाजसेवी ने उठाया इलाज का जिम्मा

लक्ष्मी के परिजनों का कहना है कि जौलीग्रांट अस्पताल में 2 लाख रुपये से एक छोटा सा ऑपरेशन करवाया, जिसमें खाने की नली को पेट के रास्ते बाहर निकाली. जिस नली से लक्ष्मी को लिक्विड के जरिए खाना दिया जा रहा है. डॉक्टरों ने अब उसके इलाज एवं ऑपरेशन में 10 लाख से अधिक खर्चा आने की बात कही है. वहीं, रुपए न होने के कारण परिजन लक्ष्मी को अस्पताल से अपने घर ले आए हैं.

लक्ष्मी की मां सुमित्रा देवी का कहना है कि 10 लाख रुपए न होने से वो अपनी बिटिया का इलाज नहीं करवा पा रहे हैं. उन्होंने अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, राज्यपाल बेबी रानी मौर्य समेत सभी लोगों से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है. जिससे उनकी बेटी का ऑपरेशन हो सके और लक्ष्मी की जिंदगी बचाई जा सके.

ये भी पढ़ेंः IMPACT: श्याम सिंह के घर पहुंची स्वास्थ्य विभाग की टीम, सुविधा भी मिली

सुमित्रा देवी और स्थानीय लोग बताते हैं कि लक्ष्मी अपनी कक्षा में सबसे तेज तर्रार थी. लक्ष्मी की मां सुमित्रा का कहना है कि उनकी लक्ष्मी से काफी उम्मीदें थी कि वो पढ़-लिखकर उनकी गरीबी दूर करेगी, लेकिन भाग्य ने साथ नहीं दिया. आज वो अपनी बेटी के इलाज के लिए दर-दर ठोकर खाकर लोगों से मदद मांग रही है.

अभी तक किसी भी विधायक से लेकर मंत्रियों ने उनकी सुध नहीं ली है. हालांकि, कुछ समाजसेवियों ने मदद करने का बीड़ा उठाया है, जो नाकाफी है. आप भी बिटिया को बचाने में मदद कर सकते हैं. इसके लिए सुमित्रा देवी के नंबर 8445381978 पर संपर्क कर सकते हैं.

टिहरीः 'मां मुझे जहर देकर मार दो' ये कहना है बीते 8 महीने से बिस्तर पर बीमार पड़ी बिटिया लक्ष्मी की. लक्ष्मी का बीमारी के कारण आहार नाल डैमेज हो गया है, लेकिन आर्थिक तंगी और इलाज के अभाव में लक्ष्मी बिस्तर में पड़ी है. उसके परिजनों ने पीएम मोदी, सीएम धामी और तमाम समाजसेवियों से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है. जिससे बिटियां की जिंदगी बचाई जा सके.

दरअसल, नेपाली मूल का एक परिवार 30 सालों से टिहरी शहर में टूटे-फूटे टीनशेड में रहता है. जिनकी 18 साल की एक होनहार बेटी लक्ष्मी है. जो कक्षा 12वीं की छात्रा थी, लेकिन बीमार होने के चलते वो पेपर नहीं दे पाई. लक्ष्मी बीते 8 महीने से बिस्तर में पड़ी हुई है. उसकी आहार नाल किसी बीमारी से खराब हो गई थी, जिसका ऑपरेशन परिजनों ने जौलीग्रांट अस्पताल में करवाया. इस छोटे से ऑपरेशन में उनकी जिंदगी भर की कमाई लग गई. अब परिवार के इलाज के लिए पैसे नहीं है. उन्हें बेटी को बचाने के लिए मदद की दरकार है.

टिहरी की बिटिया लक्ष्मी को मदद की दरकार.

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लक्ष्मी के परिजनों का कहना है कि जौलीग्रांट अस्पताल में 2 लाख रुपये से एक छोटा सा ऑपरेशन करवाया, जिसमें खाने की नली को पेट के रास्ते बाहर निकाली. जिस नली से लक्ष्मी को लिक्विड के जरिए खाना दिया जा रहा है. डॉक्टरों ने अब उसके इलाज एवं ऑपरेशन में 10 लाख से अधिक खर्चा आने की बात कही है. वहीं, रुपए न होने के कारण परिजन लक्ष्मी को अस्पताल से अपने घर ले आए हैं.

लक्ष्मी की मां सुमित्रा देवी का कहना है कि 10 लाख रुपए न होने से वो अपनी बिटिया का इलाज नहीं करवा पा रहे हैं. उन्होंने अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री पुष्कर धामी, राज्यपाल बेबी रानी मौर्य समेत सभी लोगों से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है. जिससे उनकी बेटी का ऑपरेशन हो सके और लक्ष्मी की जिंदगी बचाई जा सके.

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सुमित्रा देवी और स्थानीय लोग बताते हैं कि लक्ष्मी अपनी कक्षा में सबसे तेज तर्रार थी. लक्ष्मी की मां सुमित्रा का कहना है कि उनकी लक्ष्मी से काफी उम्मीदें थी कि वो पढ़-लिखकर उनकी गरीबी दूर करेगी, लेकिन भाग्य ने साथ नहीं दिया. आज वो अपनी बेटी के इलाज के लिए दर-दर ठोकर खाकर लोगों से मदद मांग रही है.

अभी तक किसी भी विधायक से लेकर मंत्रियों ने उनकी सुध नहीं ली है. हालांकि, कुछ समाजसेवियों ने मदद करने का बीड़ा उठाया है, जो नाकाफी है. आप भी बिटिया को बचाने में मदद कर सकते हैं. इसके लिए सुमित्रा देवी के नंबर 8445381978 पर संपर्क कर सकते हैं.

Last Updated : Aug 14, 2021, 10:51 PM IST
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