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जल संरक्षण के क्षेत्र में लुठियाग गांव को मिला द्वितीय जल पुरस्कार - लुठियाग गांव को मिला द्वितीय जल पुरस्कार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी लुठियाग गांव की महिलाओं की ओर से जल संरक्षण के क्षेत्र में किये गये कार्यों की सराहना कर चुके हैं.

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लुठियाग गांव को मिला द्वितीय जल पुरस्कार
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Published : Nov 12, 2020, 5:53 PM IST

रुद्रप्रयाग: विकासखण्ड जखोली की ग्राम पंचायत लुठियाग को भारत सरकार की ओर से द्वितीय राष्ट्रीय जल पुरस्कार से नवाजा गया. ग्राम पंचायत को यह पुरस्कार जल संरक्षण के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य के लिए दिया गया है. गांव को यह पुरस्कार 12 नवंबर यानी आज विज्ञान भवन नई दिल्ली में दिया गया है.

जिले की ग्राम पंचायत लुठियाग को यह पुरस्कार मिलने पर ग्रामीणों के साथ ही जनपद में भी खुशी की लहर है. दरअसल, ग्राम पंचायत लुठियाग की महिलाओं ने प्राकृतिक जल स्त्रोतों को रीचार्ज कर न केवल क्षेत्र की 4500 से अधिक आबादी को पेयजल संकट से निजात दिलाई, बल्कि साग-सब्जी का उत्पादन कर स्थानीय लोगों को भी रोजगार दिलाया.

ग्राम पंचायत लुठियाग की राज राजेश्वरी ग्राम कृषक समिति के सदस्यों ने पानी की समस्या से निजात दिलाने के लिये जल संरक्षण की पहल करके मिसाल कायम की है. समिति ने रिलायंस फाउंडेशन के साथ मिलकर खाल-खाल बनाई. खाल का निर्माण होने से क्षेत्र के कई गांवों का पेयजल संकट दूर हुआ.

लुठियाग गांव में समिति की ओर से 11 लाख लीटर पानी एकत्रित करने वाली झील का निर्माण किया गया है. कभी ग्रामीणों को पानी के लिये भटकना पड़ता था, लेकिन झील बनने के बाद ग्रामीणों की पेयजल को लेकर समस्या दूर हो गई. 5 जून 2014 को विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर ग्रामीणों ने पेयजल स्त्रोत से डेढ़ किमी दूर जंगल में एक खाल बनाने का कार्य शुरू किया.

एक माह की कड़ी मेहनत के बाद 40 मीटर लंबी और 18 मीटर चौड़ी झील बनकर तैयार हुई. धीरे-धीरे झील में बारिश का पानी जमा होने लगा और वर्ष 2015 में इसमें करीब पांच लाख लीटर पानी जमा होने से गांव में पेयजल स्त्रोत रिचार्ज होने शुरू हो गये. यही नहीं स्त्रोत से सटे नम स्थलों पर भी स्त्रोत फूटने लगे.

ये भी पढ़ें: हाईटेंशन की चपेट में आया डंपर, चंद मिनटों में जलकर हुआ राख

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी लुठियाग गांव की महिलाओं की ओर से जल संरक्षण के क्षेत्र में किये गये कार्यों की सराहना कर चुके हैं. जल संरक्षण के क्षेत्र में महिलाओं द्वारा किये गये कार्य का नतीजा ही है कि राष्ट्रीय स्तर पर गांव को द्वितीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया. जल पुरस्कार उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, जल शक्ति मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत, जल शक्ति राज्य मंत्री रतन लाल कटारिया की उपस्थिति में दिया गया.

रिलायंस फाउंडेशन के प्रतिनिधि प्रकाश सिंह ने कहा कि ग्रामीणों के सामूहिक प्रयास से गांव की महिलाओं को पुरस्कार मिला है. उन्होंने कहा कि जिले के अन्य गांवों में भी इस प्रकार के कार्य किये जा रहे हैं.

रुद्रप्रयाग: विकासखण्ड जखोली की ग्राम पंचायत लुठियाग को भारत सरकार की ओर से द्वितीय राष्ट्रीय जल पुरस्कार से नवाजा गया. ग्राम पंचायत को यह पुरस्कार जल संरक्षण के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य के लिए दिया गया है. गांव को यह पुरस्कार 12 नवंबर यानी आज विज्ञान भवन नई दिल्ली में दिया गया है.

जिले की ग्राम पंचायत लुठियाग को यह पुरस्कार मिलने पर ग्रामीणों के साथ ही जनपद में भी खुशी की लहर है. दरअसल, ग्राम पंचायत लुठियाग की महिलाओं ने प्राकृतिक जल स्त्रोतों को रीचार्ज कर न केवल क्षेत्र की 4500 से अधिक आबादी को पेयजल संकट से निजात दिलाई, बल्कि साग-सब्जी का उत्पादन कर स्थानीय लोगों को भी रोजगार दिलाया.

ग्राम पंचायत लुठियाग की राज राजेश्वरी ग्राम कृषक समिति के सदस्यों ने पानी की समस्या से निजात दिलाने के लिये जल संरक्षण की पहल करके मिसाल कायम की है. समिति ने रिलायंस फाउंडेशन के साथ मिलकर खाल-खाल बनाई. खाल का निर्माण होने से क्षेत्र के कई गांवों का पेयजल संकट दूर हुआ.

लुठियाग गांव में समिति की ओर से 11 लाख लीटर पानी एकत्रित करने वाली झील का निर्माण किया गया है. कभी ग्रामीणों को पानी के लिये भटकना पड़ता था, लेकिन झील बनने के बाद ग्रामीणों की पेयजल को लेकर समस्या दूर हो गई. 5 जून 2014 को विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर ग्रामीणों ने पेयजल स्त्रोत से डेढ़ किमी दूर जंगल में एक खाल बनाने का कार्य शुरू किया.

एक माह की कड़ी मेहनत के बाद 40 मीटर लंबी और 18 मीटर चौड़ी झील बनकर तैयार हुई. धीरे-धीरे झील में बारिश का पानी जमा होने लगा और वर्ष 2015 में इसमें करीब पांच लाख लीटर पानी जमा होने से गांव में पेयजल स्त्रोत रिचार्ज होने शुरू हो गये. यही नहीं स्त्रोत से सटे नम स्थलों पर भी स्त्रोत फूटने लगे.

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी लुठियाग गांव की महिलाओं की ओर से जल संरक्षण के क्षेत्र में किये गये कार्यों की सराहना कर चुके हैं. जल संरक्षण के क्षेत्र में महिलाओं द्वारा किये गये कार्य का नतीजा ही है कि राष्ट्रीय स्तर पर गांव को द्वितीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया. जल पुरस्कार उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, जल शक्ति मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत, जल शक्ति राज्य मंत्री रतन लाल कटारिया की उपस्थिति में दिया गया.

रिलायंस फाउंडेशन के प्रतिनिधि प्रकाश सिंह ने कहा कि ग्रामीणों के सामूहिक प्रयास से गांव की महिलाओं को पुरस्कार मिला है. उन्होंने कहा कि जिले के अन्य गांवों में भी इस प्रकार के कार्य किये जा रहे हैं.

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