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जन अधिकार मंच की मुहिम लाई रंग, घर लौटे प्रवासियों ने जताया आभार

उत्तराखंड में जन अधिकार मंच की प्रवासियों को सुरक्षित घर लाने की मुहिम रंग ला रही है. इस मुहिम से बड़ी संख्या में प्रवासी पहाड़ लौट रहे हैं. अपने घर लौटे प्रवासियों ने जन अधिकार मंच की मुहिम की सराहना करने के साथ ही आभार जताया.

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जन अधिकार मंच की मुहिम लाई रंग
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Published : May 14, 2020, 11:32 AM IST

रुद्रप्रयाग: जन अधिकार मंच की प्रवासियों को सुरक्षित घर लाने की मुहिम रंग ला रही है. बड़ी संख्या में प्रवासी घर पहुंचने लगे हैं. वहीं, घर लौटे प्रवासियों ने जन अधिकार मंच का आभार जताया है. प्रवासियों ने कहा कि जन अधिकार मंच की ओर से बनाये गए दबाव के बाद सरकार हरकत में आई और प्रवासियों की घर वापसी के लिए अभियान चलाया गया.

जन अधिकार मंच ने देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे प्रवासियों की घर वापसी के लिए 'थाली-बजाओ-उत्तराखंड सरकार जगाओ' अभियान के साथ ही धरना दिया था. इसके साथ ही जन अधिकार मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी ने प्रवासियों की वापसी न होने पर भूख हड़ताल का ऐलान किया था. सरकार पर मंच की ओर से बनाये गए दबाव के फलस्वरूप प्रवासियों की घर वापसी का रास्ता तैयार हुआ. इस बीच सरकार ने निर्णय लिया कि सभी प्रवासियों को घर लाया जाएगा. लगातार देश के अलग-अलग हिस्सों से प्रवासी घर पहुंच रहे हैं. घर पहुंचने पर प्रवासियों ने जन अधिकार मंच की टीम और अध्यक्ष मोहित डिमरी का आभार जताया है.

वहीं, पोंटा साहिब में कई दिनों तक फंसे रहे नवीन सिंह का कहना है कि मंच के अध्यक्ष की ओर से हमारे लिए खाने की भी व्यवस्था कराई गई. अब हम घर लौट गए हैं. इसका श्रेय जन अधिकार मंच और विशेष रूप से मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी को जाता है. वह लगातार प्रवासियों को लेकर चिंतित थे और उन्हें लाने का प्रयास कर रहे थे.

ये भी पढ़े: हाय रे मजबूरी... घर पहुंचने की चाह में साइकिल से ही नाप दी 800 किमी दूरी

हैदराबाद से घर पहुंचे मनीष कप्रवान का कहना है कि जन अधिकार मंच हमेशा आम लोगों के हक की लड़ाई लड़ता है. जब हम उम्मीद हार चुके थे, तब जन अधिकार मंच आगे आया और हमें मदद मिली. उन्होंने कहा कि हमारे लिए जन अधिकार मंच उम्मीद की किरण है. उन्होंने उत्तराखंड सरकार का भी आभार जताया.

वहीं, जन अधिकार मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी ने कहा कि उन्होंने प्रवासियों की घर वापसी के लिए 13 मई से भूख हड़ताल का अल्टीमेटम दिया था. अल्टीमेटम देने के बाद सरकार हरकत में आई और प्रवासियों की वापसी संभव हो पाई. फिलहाल भूख हड़ताल का कार्यक्रम स्थगित किया गया है. प्रवासियों की घर वापसी के लिए प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री से लगातार पत्राचार किया गया था. उन्होंने कहा कि जब तक एक-एक प्रवासी भाई वापस नहीं लौट जाते, तबतक उनकी मुहिम जारी रहेगी. उन्होंने बाहर फंसे प्रवासियों से कहा कि सरकार सभी लोगों को वापस लाएगी. कोई भी व्यक्ति बाहर फंसा नहीं रहेगा.

रुद्रप्रयाग: जन अधिकार मंच की प्रवासियों को सुरक्षित घर लाने की मुहिम रंग ला रही है. बड़ी संख्या में प्रवासी घर पहुंचने लगे हैं. वहीं, घर लौटे प्रवासियों ने जन अधिकार मंच का आभार जताया है. प्रवासियों ने कहा कि जन अधिकार मंच की ओर से बनाये गए दबाव के बाद सरकार हरकत में आई और प्रवासियों की घर वापसी के लिए अभियान चलाया गया.

जन अधिकार मंच ने देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे प्रवासियों की घर वापसी के लिए 'थाली-बजाओ-उत्तराखंड सरकार जगाओ' अभियान के साथ ही धरना दिया था. इसके साथ ही जन अधिकार मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी ने प्रवासियों की वापसी न होने पर भूख हड़ताल का ऐलान किया था. सरकार पर मंच की ओर से बनाये गए दबाव के फलस्वरूप प्रवासियों की घर वापसी का रास्ता तैयार हुआ. इस बीच सरकार ने निर्णय लिया कि सभी प्रवासियों को घर लाया जाएगा. लगातार देश के अलग-अलग हिस्सों से प्रवासी घर पहुंच रहे हैं. घर पहुंचने पर प्रवासियों ने जन अधिकार मंच की टीम और अध्यक्ष मोहित डिमरी का आभार जताया है.

वहीं, पोंटा साहिब में कई दिनों तक फंसे रहे नवीन सिंह का कहना है कि मंच के अध्यक्ष की ओर से हमारे लिए खाने की भी व्यवस्था कराई गई. अब हम घर लौट गए हैं. इसका श्रेय जन अधिकार मंच और विशेष रूप से मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी को जाता है. वह लगातार प्रवासियों को लेकर चिंतित थे और उन्हें लाने का प्रयास कर रहे थे.

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हैदराबाद से घर पहुंचे मनीष कप्रवान का कहना है कि जन अधिकार मंच हमेशा आम लोगों के हक की लड़ाई लड़ता है. जब हम उम्मीद हार चुके थे, तब जन अधिकार मंच आगे आया और हमें मदद मिली. उन्होंने कहा कि हमारे लिए जन अधिकार मंच उम्मीद की किरण है. उन्होंने उत्तराखंड सरकार का भी आभार जताया.

वहीं, जन अधिकार मंच के अध्यक्ष मोहित डिमरी ने कहा कि उन्होंने प्रवासियों की घर वापसी के लिए 13 मई से भूख हड़ताल का अल्टीमेटम दिया था. अल्टीमेटम देने के बाद सरकार हरकत में आई और प्रवासियों की वापसी संभव हो पाई. फिलहाल भूख हड़ताल का कार्यक्रम स्थगित किया गया है. प्रवासियों की घर वापसी के लिए प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री से लगातार पत्राचार किया गया था. उन्होंने कहा कि जब तक एक-एक प्रवासी भाई वापस नहीं लौट जाते, तबतक उनकी मुहिम जारी रहेगी. उन्होंने बाहर फंसे प्रवासियों से कहा कि सरकार सभी लोगों को वापस लाएगी. कोई भी व्यक्ति बाहर फंसा नहीं रहेगा.

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