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मोस्टमानू मेले में उमड़ा आस्था का सैलाब, जानें क्या है खासियत - Mostmanu Fair in Pithoragarh Sorghati

पिथौरागढ़ की सोरघाटी में मोस्टमानू मेले की धूम है. मोस्टा देवता का ये मेला इस क्षेत्र में धार्मिक आस्था का पर्याय है. इस मेले को बारिश से जोड़कर देखा जाता है.

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मोस्टमानू मेले में उमड़ा आस्था का सैलाब
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Published : Sep 11, 2021, 7:51 PM IST

Updated : Sep 11, 2021, 10:30 PM IST

पिथौरागढ़: पहाड़ों में मेले धार्मिक आस्था, संस्कृति और मनोरंजन का पर्याय हैं. आज के उपभोक्तावादी दौर में भी पहाड़वासियों के लिए इन मेलों का महत्व कम नहीं हुआ है. पिथौरागढ़ की सोरघाटी में मनाया जाने वाला ऐतिहासिक मोस्टमानू मेला भी इन्हीं में से एक है. ये मेला पहाड़ के कृषि जीवन के साथ ही यहां के सांस्कृतिक इतिहास को भी बयां करता है.

प्राचीन काल से ही देवभूमि उत्तराखंड में मेलों का खासा महत्व रहा है. तेजी से बदलते इस दौर में जहां लोग आधुनिकता की अंधी दौड में भाग रहे हैं, वहीं पिथौरागढ़ के मोस्टमानू मेले में लोगों का उमड़ा जनसैलाब इस मेले के महत्व को बयां कर रहा है. सदियों से पिथौरागढ़ जिले में मनाया जा रहा मोस्टा देवता का ये मेला धार्मिक आस्था का पर्याय है.

मोस्टमानू मेले में उमड़ा आस्था का सैलाब

पढ़ें-जौनसार में शुरू हुआ जागड़ा पर्व, महासू देवता में उमड़ी भक्तों की भीड़

मोस्टा देवता को यहां के लोग बारिश के देवता यानी वरूण देव के रूप में पूजते आए हैं. मान्यता है कि प्राचीन काल में बारिश न होने की वजह से इस इलाके में भयंकर अकाल पड़ा. तभी लोगों ने इस मंदिर में मोस्टा देवता का यज्ञ कर उन्हें प्रसन्न किया. जिसके बाद झमाझम बारिश होने लगी. तभी से ये मेला हर साल यहां मनाया जाता है.

पढ़ें- स्लॉग ओवरों में CM धामी की धुआंधार सियासी बैटिंग, विपक्षी हैं हैरान

मोस्टमानू मेले का मुख्य आकर्षण मोस्टा देवता का डोला होता है. जिसे कंधा देने के लिए श्रद्धालुओं में होड़ लगी रहती है. मान्यता है कि जो भी इस डोले को कंधा देता है उस पर मोस्टा देवता की कृपा सदैव बनी रहती है. हर साल भादों माह की पंचमी के दिन मोस्टा देवता का ये डोला आता है. कृषि जीवन से जुड़ी सोरघाटी पिथौरागढ़ के लोगों को अपना आशीर्वाद देकर चला जाता है. इस मेले को देखने लोग दूर-दूर से आते हैं.

पढ़ें- पहली अग्नि परीक्षा में CM धामी पास, पुरोहितों का आंदोलन स्थगित, हाई लेवल कमेटी गठित

मंदिर प्रांगण में रखा पत्थर आस्था का केंद्र: मोस्टमानू मंदिर के प्रांगण में रखा एक भारी पत्थर भी मेले में आने वाले श्रद्धालुओं की आस्था का प्रमुख केन्द्र है. प्राचीन मान्यता है कि जो कोई भी सच्चे मन से इस पत्थर को उठाता है, उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. इसीलिए युवाओं में इस पत्थर को उठाने का जुनून सवार रहता है.

पिथौरागढ़: पहाड़ों में मेले धार्मिक आस्था, संस्कृति और मनोरंजन का पर्याय हैं. आज के उपभोक्तावादी दौर में भी पहाड़वासियों के लिए इन मेलों का महत्व कम नहीं हुआ है. पिथौरागढ़ की सोरघाटी में मनाया जाने वाला ऐतिहासिक मोस्टमानू मेला भी इन्हीं में से एक है. ये मेला पहाड़ के कृषि जीवन के साथ ही यहां के सांस्कृतिक इतिहास को भी बयां करता है.

प्राचीन काल से ही देवभूमि उत्तराखंड में मेलों का खासा महत्व रहा है. तेजी से बदलते इस दौर में जहां लोग आधुनिकता की अंधी दौड में भाग रहे हैं, वहीं पिथौरागढ़ के मोस्टमानू मेले में लोगों का उमड़ा जनसैलाब इस मेले के महत्व को बयां कर रहा है. सदियों से पिथौरागढ़ जिले में मनाया जा रहा मोस्टा देवता का ये मेला धार्मिक आस्था का पर्याय है.

मोस्टमानू मेले में उमड़ा आस्था का सैलाब

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मोस्टा देवता को यहां के लोग बारिश के देवता यानी वरूण देव के रूप में पूजते आए हैं. मान्यता है कि प्राचीन काल में बारिश न होने की वजह से इस इलाके में भयंकर अकाल पड़ा. तभी लोगों ने इस मंदिर में मोस्टा देवता का यज्ञ कर उन्हें प्रसन्न किया. जिसके बाद झमाझम बारिश होने लगी. तभी से ये मेला हर साल यहां मनाया जाता है.

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मोस्टमानू मेले का मुख्य आकर्षण मोस्टा देवता का डोला होता है. जिसे कंधा देने के लिए श्रद्धालुओं में होड़ लगी रहती है. मान्यता है कि जो भी इस डोले को कंधा देता है उस पर मोस्टा देवता की कृपा सदैव बनी रहती है. हर साल भादों माह की पंचमी के दिन मोस्टा देवता का ये डोला आता है. कृषि जीवन से जुड़ी सोरघाटी पिथौरागढ़ के लोगों को अपना आशीर्वाद देकर चला जाता है. इस मेले को देखने लोग दूर-दूर से आते हैं.

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मंदिर प्रांगण में रखा पत्थर आस्था का केंद्र: मोस्टमानू मंदिर के प्रांगण में रखा एक भारी पत्थर भी मेले में आने वाले श्रद्धालुओं की आस्था का प्रमुख केन्द्र है. प्राचीन मान्यता है कि जो कोई भी सच्चे मन से इस पत्थर को उठाता है, उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. इसीलिए युवाओं में इस पत्थर को उठाने का जुनून सवार रहता है.

Last Updated : Sep 11, 2021, 10:30 PM IST
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