ETV Bharat / state

पिता की हार का बदला लेकर कोटद्वार पहुंची ऋतु खंडूड़ी का भव्य स्वागत, पढ़िए किसे किया पहला फोन - Ritu Khanduri Bhushan

कोटद्वार विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी की जीत की घोषणा के बाद से कार्यकर्ताओं में उत्साह देखा गया. जब ऋतु खंडूड़ी पौड़ी से अपनी जीत का प्रमाण पत्र लेकर कोटद्वार पहुंची तो जनता और कार्यकर्ताओं ने उनका जमकर स्वागत किया. इस दौरान ऋतु खंडूड़ी ने सभी का आभार जताया. वहीं चौबट्टाखाल सीट से सतपाल महाराज ने भी जीत दर्ज की है.

Ritu Khanduri Bhushan
रितु भूषण खंडूरी की जीत
author img

By

Published : Mar 11, 2022, 9:34 AM IST

Updated : Mar 11, 2022, 10:41 AM IST

कोटद्वार/श्रीनगर: पौड़ी जिले की कोटद्वार विधानसभा सीट पर बीजेपी प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. जब ऋतु खंडूड़ी पौड़ी से अपनी जीत का प्रमाण पत्र लेकर कोटद्वार पहुंची तो जनता और कार्यकर्ताओं ने उनका जोरदार स्वागत किया. इस दौरान ऋतु खंडूड़ी ने सभी का आभार जताया. उन्होंने कहा कि सभी ने कमल के फूल व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्य की सराहना की. जिससे उत्तराखंड में बहुमत की सरकार बनी. बता दें कि, ऋतु खंडूड़ी ने कांग्रेस उम्मीदवार सुरेंद्र सिंह नेगी को 3,687 वोटों से हराया है.

सबसे पहले ऋतु ने पिता को किया फोन: भाजपा विजयी प्रत्याक्षी रितु भूषण खंडूड़ी ने बताया कि उन्होंने अपनी जीत की खबर सबसे पहले पिता को फोन कर बतायी. बता दें कि, ऋतु खंडूरी उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बीसी खंडूरी की बेटी हैं. इस दौरान बीसी खंडूरी ने कहा कि उत्तराखंड में उनके द्वारा अधूरे छोड़े गए कार्यों को उनकी बेटी पूरा करेगी. बता दें कि, ऋतु खंडूड़ी दूसरी बार विधायक बनी हैं. 2017 के विधानसभा चुनाव में ऋतु खंडूड़ी पौड़ी जिले की यमकेश्वर विधानसभा सीट से चुनाव जीती थीं.

ऋतु खंडूड़ी का भव्य स्वागत.

ऋतु ने लिया पिता की हार का बदला: बता दें कि, 2012 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के जिस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह नेगी ने तत्कालीन मुख्यमंत्री भुवन चंद्र खंडूड़ी को कोटद्वार विधानसभा सीट से हराया था, उस हार का बदला बेटी बीजेपी प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी ने 2022 के चुनाव में ले लिया है. भुवन चंद्र खंडूड़ी की बेटी ऋतु खंडूड़ी ने कोटद्वार विधानसभा सीट पर कांग्रेस के सुरेंद्र सिंह नेगी को हराकर अपनी जीत दर्ज की है.

पढ़ें: ऋतु खंडूड़ी ने लिया 10 साल पुराना बदला, पिता बीसी खंडूड़ी को हराने वाले सुरेंद्र सिंह को परास्त किया

चौबट्टाखाल सीट से BJP नेता सतपाल महाराज की जीत: चौबट्टाखाल सीट से सतपाल महाराज ने जनपद की 6 विधानसभा सीटों में सबसे बड़ी जीत दर्ज की है. सतपाल महाराज ने अपने प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के केसर सिंह नेगी को 11,430 वोटों से हराया है. सतपाल महाराज को कुल 24,927 वोट प्राप्त हुए. सतपाल महाराज ने कहा कि ये विकास की जीत है. जनता ने शराब माफिया को चुनाव में जीतने नहीं दिया. उन्होंने जनता का आभार जताया है.

सतपाल महाराज की जीत.

महाराज ने धामी को सराहा: उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मेहनत के साथ चुनाव लड़ा था. उन्होंने कम समय में विकास के कार्यों को आगे बढ़ाया. उन्होंने कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री बनने में कोई दिलचस्पी नहीं है. यह फैसला आला कमान का है. वह जिसे भी मुख्यमंत्री बनाए यह उनकी मर्जी है. सतपाल महाराज का जन्म 21 सितंबर 1951 को कनखल हरिद्वार में हुआ. वे मूल रूप से पौड़ी जनपद के रहने वाले हैं. वे प्रसिद्ध आध्यात्मिक गुरु योगीराज परमंत हंस और राजेश्वरी देवी के बेटे हैं.

सतपाल महाराज का राजनीतिक सफर: चौबट्टाखाल सीट से कद्दावर नेता सतपाल महाराज 2017 में चौबट्टाखाल निर्वाचन क्षेत्र से विधानसभा चुनाव में विधायक के रूप में चुने गए थे. उन्होंने 7,354 वोटों से कांग्रेस के राजपाल सिंह बिष्ट को पराजित किया था. बता दें कि, 2014 में सतपाल महाराज ने कांग्रेस छोड़ कर बीजेपी का हाथ थाम लिया था.

इसके अलावा उन्होंने 5 अप्रैल 2014 को 15वीं लोकसभा से इस्तीफा दे दिया था. 5 मई 2010 में उन्हें लोक लेखा समिति के सदस्य और 19 अक्टूबर 2010 को सामान्य प्रयोजन समिति के सदस्य के रूप में नियुक्त किया गया था. साथ ही वह 20 सदस्यीय संसदीय स्थायी समिति के प्रमुख भी थे. 2009 में उन्हें गढ़वाल निर्वाचन क्षेत्र से 15वीं लोकसभा में फिर से निर्वाचित किया गया था. उन्होंने लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) तेजपाल सिंह रावत को हराया था.

कोटद्वार/श्रीनगर: पौड़ी जिले की कोटद्वार विधानसभा सीट पर बीजेपी प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. जब ऋतु खंडूड़ी पौड़ी से अपनी जीत का प्रमाण पत्र लेकर कोटद्वार पहुंची तो जनता और कार्यकर्ताओं ने उनका जोरदार स्वागत किया. इस दौरान ऋतु खंडूड़ी ने सभी का आभार जताया. उन्होंने कहा कि सभी ने कमल के फूल व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्य की सराहना की. जिससे उत्तराखंड में बहुमत की सरकार बनी. बता दें कि, ऋतु खंडूड़ी ने कांग्रेस उम्मीदवार सुरेंद्र सिंह नेगी को 3,687 वोटों से हराया है.

सबसे पहले ऋतु ने पिता को किया फोन: भाजपा विजयी प्रत्याक्षी रितु भूषण खंडूड़ी ने बताया कि उन्होंने अपनी जीत की खबर सबसे पहले पिता को फोन कर बतायी. बता दें कि, ऋतु खंडूरी उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बीसी खंडूरी की बेटी हैं. इस दौरान बीसी खंडूरी ने कहा कि उत्तराखंड में उनके द्वारा अधूरे छोड़े गए कार्यों को उनकी बेटी पूरा करेगी. बता दें कि, ऋतु खंडूड़ी दूसरी बार विधायक बनी हैं. 2017 के विधानसभा चुनाव में ऋतु खंडूड़ी पौड़ी जिले की यमकेश्वर विधानसभा सीट से चुनाव जीती थीं.

ऋतु खंडूड़ी का भव्य स्वागत.

ऋतु ने लिया पिता की हार का बदला: बता दें कि, 2012 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के जिस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह नेगी ने तत्कालीन मुख्यमंत्री भुवन चंद्र खंडूड़ी को कोटद्वार विधानसभा सीट से हराया था, उस हार का बदला बेटी बीजेपी प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी ने 2022 के चुनाव में ले लिया है. भुवन चंद्र खंडूड़ी की बेटी ऋतु खंडूड़ी ने कोटद्वार विधानसभा सीट पर कांग्रेस के सुरेंद्र सिंह नेगी को हराकर अपनी जीत दर्ज की है.

पढ़ें: ऋतु खंडूड़ी ने लिया 10 साल पुराना बदला, पिता बीसी खंडूड़ी को हराने वाले सुरेंद्र सिंह को परास्त किया

चौबट्टाखाल सीट से BJP नेता सतपाल महाराज की जीत: चौबट्टाखाल सीट से सतपाल महाराज ने जनपद की 6 विधानसभा सीटों में सबसे बड़ी जीत दर्ज की है. सतपाल महाराज ने अपने प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के केसर सिंह नेगी को 11,430 वोटों से हराया है. सतपाल महाराज को कुल 24,927 वोट प्राप्त हुए. सतपाल महाराज ने कहा कि ये विकास की जीत है. जनता ने शराब माफिया को चुनाव में जीतने नहीं दिया. उन्होंने जनता का आभार जताया है.

सतपाल महाराज की जीत.

महाराज ने धामी को सराहा: उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मेहनत के साथ चुनाव लड़ा था. उन्होंने कम समय में विकास के कार्यों को आगे बढ़ाया. उन्होंने कहा कि उन्हें मुख्यमंत्री बनने में कोई दिलचस्पी नहीं है. यह फैसला आला कमान का है. वह जिसे भी मुख्यमंत्री बनाए यह उनकी मर्जी है. सतपाल महाराज का जन्म 21 सितंबर 1951 को कनखल हरिद्वार में हुआ. वे मूल रूप से पौड़ी जनपद के रहने वाले हैं. वे प्रसिद्ध आध्यात्मिक गुरु योगीराज परमंत हंस और राजेश्वरी देवी के बेटे हैं.

सतपाल महाराज का राजनीतिक सफर: चौबट्टाखाल सीट से कद्दावर नेता सतपाल महाराज 2017 में चौबट्टाखाल निर्वाचन क्षेत्र से विधानसभा चुनाव में विधायक के रूप में चुने गए थे. उन्होंने 7,354 वोटों से कांग्रेस के राजपाल सिंह बिष्ट को पराजित किया था. बता दें कि, 2014 में सतपाल महाराज ने कांग्रेस छोड़ कर बीजेपी का हाथ थाम लिया था.

इसके अलावा उन्होंने 5 अप्रैल 2014 को 15वीं लोकसभा से इस्तीफा दे दिया था. 5 मई 2010 में उन्हें लोक लेखा समिति के सदस्य और 19 अक्टूबर 2010 को सामान्य प्रयोजन समिति के सदस्य के रूप में नियुक्त किया गया था. साथ ही वह 20 सदस्यीय संसदीय स्थायी समिति के प्रमुख भी थे. 2009 में उन्हें गढ़वाल निर्वाचन क्षेत्र से 15वीं लोकसभा में फिर से निर्वाचित किया गया था. उन्होंने लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) तेजपाल सिंह रावत को हराया था.

Last Updated : Mar 11, 2022, 10:41 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.