श्रीनगर: कोरोना वायरस के कहर से श्रीनगर व्यापार सभा, होटल एसोसिएशन, टैक्सी एसोसिएशन सहित तमाम व्यापारों पर बुरा प्रभाव पड़ा है. लॉकडाउन के कारण व्यापारियों को करोड़ों का घाटा हो चुका है. व्यापारियों ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है.
श्रीनगर गढ़वाल क्षेत्र का सबसे बड़ा बाजार और चारधाम यात्रा का केंद्र बिंदु है. श्रीनगर की अर्थव्यवस्था चारधाम यात्रा में आने वाले यात्रियों द्वारा चलती है. लेकिन, कोरोना वायरस के कारण यात्रा पर रोक लगी हुई है. इससे व्यापारियों का घाटा दिन-प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है. श्रीनगर में संचालित होने वाले होटल और ढाबे ठप पड़े हुए हैं.
श्रीनगर होटल एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष और व्यापार सभा श्रीकोट के अध्यक्ष नरेश नौटियाल ने बताया कि लॉकडाउन के कारण चारधाम यात्रा की बुकिंग अक्टूबर तक कैंसिल हो गई है. इस कारण होटल व्यवसाय की कमर टूट गई है. होटल संचालक ना तो किस्त दे सकेंगे और न ही लोगों को रोजगार.
श्रीनगर में होटल व्यवसाय ही नहीं अपितु सर्राफा बाजार, फर्नीचर, बर्तन, कपड़ा व्यापारियों को भी घाटा हो रहा है. श्रीनगर में 750 पंजीकृत व्यापारी हैं. इनमें परचून व्यापारियों को छोड़ दिया जाए तो 550 दुकानें लॉकडाउन के चलते बंद हैं. व्यापार मण्डल के महामंत्री सुजीत अग्रवाल का कहना है कि व्यापारियों को 50 करोड़ से अधिक का घाटा हुआ है. इससे व्यापारियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.
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वहीं टैक्सी एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष महावीर बहुगुणा ने कहा कि लॉकडाउन के कारण प्रतिदिन 50 हज़ार का नुकसान हो रहा है. जिससे बैंकों की किस्त देना भी मुश्किल हो गया है.