पौड़ीः पहाड़ में स्वरोजगार करने के कई रास्ते हैं. बस जरूरत है, जब्जा और हौसला दिखाने की. ऐसा ही कुछ कर दिखाया है, डांग गांव के रहने वाले अनुज बिष्ट ने. अनुज बिष्ट ने सॉफ्टवेयर इंजीनियर की नौकरी छोड़कर आज मुर्गी पालन शुरू किया है. इतना ही नहीं अनुज मुर्गी पालन के क्षेत्र में अच्छी आमदनी भी कमा रहे हैं. जो पहाड़ के युवाओं के लिए मिशाल बने हुए हैं. इतना ही नहीं खुद मुख्यमंत्री भी अनुज के इस कार्य की सराहना कर चुके हैं. अनुज की मानें तो उनकी प्रतिमाह 70 हजार रुपए की आमदनी होती है.
ईटीवी भारत संवाददाता से बात करते हुए अनुज बिष्ट ने बताया कि वह पेशे से सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं और बीते 3 साल पहले नौकरी छोड़कर अपने गांव वापस आ गए थे. मुर्गी पालन के शुरुआत करने के बाद उनकी 60 से 70 हजार प्रतिमाह की आमदनी हो जाती है. विभिन्न स्थानों से लोग उनके पास मुर्गी पालन की जानकारी लेने पहुंच रहे हैं. इतना ही नहीं अनुज लॉकडाउन होने के बाद अपने गांव लौटे युवाओं को कृषि और मुर्गी पालन के क्षेत्र में कार्य करने की सलाह दे रहे हैं. जिससे अपने घर के पास रहकर वो अच्छी आमदनी कर सके और पलायन पर रोक लगाई जा सके.
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वहीं, जिला पंचायत सदस्य गौरव रावत ने बताया कि उनके क्षेत्र में पहले से ही कृषि में कार्य हो रहा है. अब अनुज ने जिस तरह से मुर्गी पालन का कार्य किया है, वो एक नजीर साबित हो रहा है. साथ ही कहा कि अनुज की मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने भी सराहना की है. जो उनके क्षेत्र के लिए गौरव की बात है. ऐसे में उम्मीद है कि क्षेत्र के युवा इस कार्य से प्रेरित होकर स्वरोजगार करेंगे.