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आर्यभट्ट प्रेक्षण संस्थान में स्थापित हुआ एसटी रडार, मौसम की मिलेगी सटीक जानकारी

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Published : Sep 21, 2020, 1:23 PM IST

Updated : Sep 21, 2020, 5:43 PM IST

नैनीताल आर्यभट्ट प्रेक्षण शोध संस्थान में मौसम के पूर्वानुमान करने वाले एसटी रडार स्थापित कर दिए हैं. अब उच्च हिमालई क्षेत्रों में बादल फटने की घटनाओं व मौसम का सटीक जानकारी मिल सकेगी.

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एरीज में लगा एसटी रडार.

नैनीताल: अब उत्तराखंड समेत पहाड़ी राज्यों में पल-पल बदलते मौसम की सटीक जानकारी मिल सकेगी. आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान के वैज्ञानिकों ने नैनीताल एरीज में एसटी रडार सफल रूप से स्थापित कर दिए हैं. यह एसटी रडार उत्तराखंड में बदलते मौसम की सटीक जानकारी दे सकेंगे.

आर्यभट्ट प्रेक्षण संस्थान के वरिष्ठ वैज्ञानिकों ने 9 साल की कड़ी मेहनत के बाद यह एसटी रडार स्थापित किया है. इन रडारों के स्थापित होने के बाद पहाड़ी क्षेत्र में रहने वाले लोगों को मौसम का पूर्वानुमान की जानकारी मिल पाएगी. रडारों के माध्यम से बादल फटने जैसी घटना का पूर्व में पता लग पाएगा.

एरीज में लगा एसटी रडार.

यह भी पढ़ें-CORONA: उत्तराखंड में मिले 878 नए मरीज, संक्रमितों का आंकड़ा 40,963

आर्यभट्ट प्रेक्षण संस्थान के वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक डॉ. मनीष नाजा अब इस रडार के स्थापित होने से उच्च हिमालई क्षेत्रों में आने वाले विक्षोभ की जानकारी आसानी से प्राप्त हो रही है, जो पहले पता नहीं चल पाती थी.

इतना ही नहीं इस रडार के स्थापित होने से पहाड़ी क्षेत्रों में हवाई यातायात भी सुगमता से संचालित हो पाएगा. क्योंकि इससे पहले अचानक पहाड़ी क्षेत्रों में मौसम के बदलने के चलते कई बार फ्लाइट्स को रद्द करना पड़ता था. अब पहाड़ी क्षेत्रों में हवाई सफर आसानी से और सुरक्षित हो सकेगा.

नैनीताल: अब उत्तराखंड समेत पहाड़ी राज्यों में पल-पल बदलते मौसम की सटीक जानकारी मिल सकेगी. आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान के वैज्ञानिकों ने नैनीताल एरीज में एसटी रडार सफल रूप से स्थापित कर दिए हैं. यह एसटी रडार उत्तराखंड में बदलते मौसम की सटीक जानकारी दे सकेंगे.

आर्यभट्ट प्रेक्षण संस्थान के वरिष्ठ वैज्ञानिकों ने 9 साल की कड़ी मेहनत के बाद यह एसटी रडार स्थापित किया है. इन रडारों के स्थापित होने के बाद पहाड़ी क्षेत्र में रहने वाले लोगों को मौसम का पूर्वानुमान की जानकारी मिल पाएगी. रडारों के माध्यम से बादल फटने जैसी घटना का पूर्व में पता लग पाएगा.

एरीज में लगा एसटी रडार.

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आर्यभट्ट प्रेक्षण संस्थान के वरिष्ठ मौसम वैज्ञानिक डॉ. मनीष नाजा अब इस रडार के स्थापित होने से उच्च हिमालई क्षेत्रों में आने वाले विक्षोभ की जानकारी आसानी से प्राप्त हो रही है, जो पहले पता नहीं चल पाती थी.

इतना ही नहीं इस रडार के स्थापित होने से पहाड़ी क्षेत्रों में हवाई यातायात भी सुगमता से संचालित हो पाएगा. क्योंकि इससे पहले अचानक पहाड़ी क्षेत्रों में मौसम के बदलने के चलते कई बार फ्लाइट्स को रद्द करना पड़ता था. अब पहाड़ी क्षेत्रों में हवाई सफर आसानी से और सुरक्षित हो सकेगा.

Last Updated : Sep 21, 2020, 5:43 PM IST
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