नैनीताल: लंबे समय से पिथौरागढ़ महाविद्यालय में चल रहे शिक्षक-पुस्तक आंदोलन पर नैनीताल हाई कोर्ट ने मीडिया रिपोर्ट को आधार मानते हुए मामले का संज्ञान लिया है. जिसके बाद कोर्ट ने सोमवार को मामले में सुनवाई करते हुए राज्य सरकार, शिक्षा सचिव, समेत जिलाधिकारी को 2 सप्ताह के भीतर विस्तृत जवाब पेश करने के आदेश दिए हैं. साथ ही कोर्ट ने मामले पर टिप्पणी करते हुए कहा कि छात्रों को किताबें न मिलना दुर्भाग्यपूर्ण है. साथ ही कोर्ट ने जिले के सभी स्कूलों की बदहाली का भी संज्ञान लिया और सरकार से स्कूलों की बदहाली पर भी जवाब मांगा है.
बता दें कि पिथौरागढ़ के डिग्री कॉलेज के छात्र परिसर में किताब की कमी और शिक्षकों नियुक्ति को लेकर 37 दिनों से धरने पर थे. मामले में नैनीताल हाई कोर्ट ने सख्त रुख अपनाते हुए राज्य सरकार, शिक्षा सचिव, समेत डीएम पिथौरागढ़ को 2 सप्ताह में अपना विस्तृत जवाब हाई कोर्ट के समक्ष पेश करने के आदेश दिए हैं.
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वहीं कोर्ट ने राज्य सरकार से किताबों का ब्योरा भी कोर्ट में पेश करने के आदेश दिए हैं. कोर्ट ने सरकार से पूछा है कि पिथौरागढ़ जिले में कितने स्कूल हैं और उन स्कूलों में कितने शिक्षकों के पद स्वीकृत हैं. साथ ही स्वीकृत पदों के अनुरूप कितने शिक्षकों की नियुक्ति की गई है और जिले में शिक्षकों के कितने पद अभी खाली हैं.