ETV Bharat / state

हाई कोर्ट से पूर्व मुख्यमंत्रियों को झटका, किराया माफी के लिए दायर पुनर्विचार याचिका खारिज - पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी

नैनीताल हाई कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी और विजय बहुगुणा की याचिका को खारिज कर दिया है. दोनों ने मकान का किराया माफ करने को लेकर पुनर्विचार याचिका दायर की थी.

नैनीताल हाईकोर्ट.
author img

By

Published : Aug 7, 2019, 12:30 PM IST

Updated : Aug 7, 2019, 3:01 PM IST

नैनीताल: राज्य के पूर्व मुख्यमंत्रियों को नैनीताल हाई कोर्ट से बड़ा झटका लगा है. हाई कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियों के सरकारी आवास और अन्य सुविधाओं का किराया माफ करने वाली पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया है. पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा और भगत सिंह कोश्यारी की याचिका को खारिज कर हाई कोर्ट ने पुराने फैसले को बरकरार रखा है.

प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी और विजय बहुगुणा ने हाई कोर्ट में सरकारी आवास के किराए में माफी को लेकर पुनर्विचार याचिका दायर की थी. जिसको हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया है. पूर्व मुख्यमंत्रियों ने कोर्ट से अपील करते हुए कहा कि आवास और सुविधाओं का किराया बाजार दर पर वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार किया जाए.

हाईकोर्ट से पूर्व मुख्यमंत्रियों को झटका

बता दें कि इससे पहले मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने पूर्व मुख्यमंत्री को आदेश दिए थे कि सरकार को 6 माह के भीतर बाजार रेट के हिसाब से किराया जमा कराया जाए. साथ ही सरकार द्वारा पूर्व मुख्यमंत्रियों को दी कई अन्य सुविधाओं के खर्च भी जमा करने होंगे. पूर्व में सरकार ने 5 पूर्व मुख्यमंत्रियों पर 2 करोड़ 85 लाख रुपये की राशि बकाया होने की रिपोर्ट कोर्ट में पेश की थी.

ये भी पढ़ें: पीएम मोदी ने सुषमा को दी श्रद्धांजलि, परिवार से मिल हुए भावुक

इस रिपोर्ट में सरकार द्वारा बताया गया कि पूर्व सीएम रमेश पोखरियाल निशंक पर 40 लाख 95 हजार, बीसी खंडूड़ी पर 46 लाख 59 हजार, विजय बहुगुणा पर 37 लाख 50 हजार, भगत सिंह कोश्यारी पर 47 लाख 57 हजार रुपये का बकाया है. वहीं, पूर्व मुख्‍यमंत्री एनडी तिवारी के नाम पर एक करोड़ 13 लाख रुपए की राशि बकाया थी.

मामले में नैनीताल हाई कोर्ट में देहरादून की रूरल लिटिगेशन संस्था ने जनहित याचिका दायर कर कहा था कि प्रदेश में पूर्व मुख्यमंत्रियों को सरकारी भवन और सुविधाएं दी जा रही हैं, जो गलत है. साथ ही जब से पूर्व मुख्यमंत्री सरकारी भवन का प्रयोग कर रहे हैं, तब से उनसे उक्त अवधि के दौरान का किराया वसूलने की मांग की गई थी.

पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने बताया कि उनसे 30500 रुपये प्रतिमाह की दर से किराया वसूला जा रहा है, जबकि जो आवास उन्हें आवंटित किया गया था, वो सिंचाई विभाग की संपत्ति है, तो किराया भी सिंचाई विभाग को वसूलना चाहिए. वहीं, इस मामले में पूर्व सीएम विजय बहुगुणा ने भी बाजार दर पर किराया वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार की अपील की थी.

ये भी पढ़ें: देहरादून: अवैध खनन पर सख्त हुई पुलिस, 163 वाहन सीज, 44 हजार से अधिक वसूला जुर्माना

मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन और न्यायमूर्ति रमेश चन्द्र खुल्बे की खण्डपीठ ने पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया है. अब पूर्व मुख्यमंत्री को बकाया राशि जमा करवानी पड़ेगी.

नैनीताल: राज्य के पूर्व मुख्यमंत्रियों को नैनीताल हाई कोर्ट से बड़ा झटका लगा है. हाई कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्रियों के सरकारी आवास और अन्य सुविधाओं का किराया माफ करने वाली पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया है. पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा और भगत सिंह कोश्यारी की याचिका को खारिज कर हाई कोर्ट ने पुराने फैसले को बरकरार रखा है.

प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी और विजय बहुगुणा ने हाई कोर्ट में सरकारी आवास के किराए में माफी को लेकर पुनर्विचार याचिका दायर की थी. जिसको हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया है. पूर्व मुख्यमंत्रियों ने कोर्ट से अपील करते हुए कहा कि आवास और सुविधाओं का किराया बाजार दर पर वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार किया जाए.

हाईकोर्ट से पूर्व मुख्यमंत्रियों को झटका

बता दें कि इससे पहले मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने पूर्व मुख्यमंत्री को आदेश दिए थे कि सरकार को 6 माह के भीतर बाजार रेट के हिसाब से किराया जमा कराया जाए. साथ ही सरकार द्वारा पूर्व मुख्यमंत्रियों को दी कई अन्य सुविधाओं के खर्च भी जमा करने होंगे. पूर्व में सरकार ने 5 पूर्व मुख्यमंत्रियों पर 2 करोड़ 85 लाख रुपये की राशि बकाया होने की रिपोर्ट कोर्ट में पेश की थी.

ये भी पढ़ें: पीएम मोदी ने सुषमा को दी श्रद्धांजलि, परिवार से मिल हुए भावुक

इस रिपोर्ट में सरकार द्वारा बताया गया कि पूर्व सीएम रमेश पोखरियाल निशंक पर 40 लाख 95 हजार, बीसी खंडूड़ी पर 46 लाख 59 हजार, विजय बहुगुणा पर 37 लाख 50 हजार, भगत सिंह कोश्यारी पर 47 लाख 57 हजार रुपये का बकाया है. वहीं, पूर्व मुख्‍यमंत्री एनडी तिवारी के नाम पर एक करोड़ 13 लाख रुपए की राशि बकाया थी.

मामले में नैनीताल हाई कोर्ट में देहरादून की रूरल लिटिगेशन संस्था ने जनहित याचिका दायर कर कहा था कि प्रदेश में पूर्व मुख्यमंत्रियों को सरकारी भवन और सुविधाएं दी जा रही हैं, जो गलत है. साथ ही जब से पूर्व मुख्यमंत्री सरकारी भवन का प्रयोग कर रहे हैं, तब से उनसे उक्त अवधि के दौरान का किराया वसूलने की मांग की गई थी.

पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने बताया कि उनसे 30500 रुपये प्रतिमाह की दर से किराया वसूला जा रहा है, जबकि जो आवास उन्हें आवंटित किया गया था, वो सिंचाई विभाग की संपत्ति है, तो किराया भी सिंचाई विभाग को वसूलना चाहिए. वहीं, इस मामले में पूर्व सीएम विजय बहुगुणा ने भी बाजार दर पर किराया वसूलने के आदेश पर पुनर्विचार की अपील की थी.

ये भी पढ़ें: देहरादून: अवैध खनन पर सख्त हुई पुलिस, 163 वाहन सीज, 44 हजार से अधिक वसूला जुर्माना

मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन और न्यायमूर्ति रमेश चन्द्र खुल्बे की खण्डपीठ ने पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया है. अब पूर्व मुख्यमंत्री को बकाया राशि जमा करवानी पड़ेगी.


नैनीताल हाई कोर्ट से प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्रीयो को लगा बड़ा झटका,,,

सरकारी बंगलो का किराया जमा करने वाली वाली पुनः विचार याचिका को कोर्ट ने करा खारिज,,,

पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोशियारी ओर विजय बहुगुणा ने हाई कोर्ट में दायर की थी पुनः विचार याचिका,,,

अब पूर्व मुख्यमंत्रीयो को जमा करना ही होगा बंगलो समेत अन्य सुविधाओं का किराया।
Last Updated : Aug 7, 2019, 3:01 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.