हरिद्वारः धर्मनगरी में नमामि गंगे के तहत कार्यक्रम आयोजित किया गया. कार्यक्रम के मद्देनजर ट्रैफिक व्यवस्था भी बनाई गई. इस दौरान भारी वाहनों को पुलिस ने शहर के बाहर प्रतिबंधित क्षेत्र में पार्किंग करवाई गई. गुलदार प्रभावित क्षेत्र में ट्रकों की पार्किंग से सैकड़ों ट्रक चालकों की घंटों सांसे अटकी रही. वहीं, कार्यक्रम के खत्म होने के बाद वाहनों को रवाना किया गया.
गुरुवार को हरिद्वार में नमामि गंगे के तहत आयोजित कार्यक्रम में वीआईपी गतिविधियों को लेकर हरिद्वार की ओर जाने वाले ट्रकों पर नो एंट्री लगाकर उन्हें रायवाला, लालतप्पड़ और छिददरवाला के पास ही रोका गया. इतना ही नहीं प्रशासन ने रायवाला में वाहनों को राजाजी टाइगर रिजर्व की मोतीचूर रेंज से सटे प्रतिबंधित क्षेत्र में रोक दिया. इस क्षेत्र में गुलदार का आतंक बना रहता है. ऐसे में प्रतिबंधित क्षेत्र में वाहनों की पार्किंग कर चालकों के जान को जोखिम में डाला गया. हालांकि कार्यक्रम की समाप्ति की घोषणा होते ही वाहनों को रवाना किया गया.
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गौर हो कि राजाजी टाइगर रिजर्व की मोतीचूर रेंज में आदमखोर गुलदार अब तक 22 लोगों को अपना निवाला बना चुका है. इन घटनाओं में अधिकांश लोग बाहरी क्षेत्र के राहगीर और ट्रक चालक शामिल थे. आंकड़ों की बात करें तो बीते 15 जून 2016 को वाहन पार्क कर जंगल किनारे गए रुद्रप्रयाग निवासी एक ट्रक चालक को गुलदार ने निवाला बनाया था.
पार्क प्रशासन ने यहां से गुजरने वाले राहगीरों की सुरक्षा के लिए साइन बोर्ड भी लगाए हैं. इन साइन बोर्ड में गुलदार प्रभावित क्षेत्र चिन्हित कर राहगीरों को सतर्क रहने की चेतावनी दी गई है. साथ ही ये बताया गया है, यहां वाहन खड़ा कर नीचे उतरना खतरनाक साबित हो सकता है. इन घातक जगहों पर वाहनों की पार्किंग कराने पर सवाल उठना भी लाजिमी है. ऐसे में कोई घटना हो जाए तो इसका जिम्मेदार कौन होगा?