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हरिद्वार में निगम अधिकारियों पर करोड़ों रुपए के घोटाले का आरोप

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Published : Feb 29, 2020, 7:18 PM IST

Updated : Feb 29, 2020, 8:30 PM IST

नगर निगम के पार्षदों ने निगम के अधिकारियों पर सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट के नाम पर करोड़ों रुपए के घोटाले का आरोप लगाया है.

Solid Waste Management News
प्रेस वार्ता

हरिद्वार: नगर निगम के बीजेपी पार्षदों ने निगम के ही अधिकारियों पर सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट के नाम करोड़ों का घोटाला करने का आरोप लगाया है. वहीं उन्होंने राज्य सरकार से इस मामले की निष्पक्ष जांच कराने की मांग की है. पार्षदों ने प्रेस वार्ता कर बताया कि हरिद्वार नगर निगम क्षेत्र से कूड़ा उठाने और कूड़े के निस्तारण के नाम पर बड़ा खेल खेला जा रहा है. जिसमें हरिद्वार नगर निगम के अधिकारी शामिल हैं.

नगर निगम पार्षद प्रतिनिधि अंकुर मेहता ने दस्तावेज पेश करते हुए दावा किया है कि कुछ लोगों ने निगम के अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर बीते साल 2012 में अनुबंधित कंपनी केआरएल इंफोटेक इंडिया लिमिटेड कंपनी का नाम बदलकर केआरएल वेस्ट मैनेजमेंट हरिद्वार लिमिटेड कर दिया. जिसके बाद से नगर निगम में रहने वाले लोगों से कूड़ा उठाने के नाम पर अवैध वसूली की गई. साथ ही कूड़ा निस्तारण प्लांट के एवज में करोड़ों का भुगतान नगर निगम से ले लिया गया. लेकिन कूड़ा निस्तारण प्लांट नहीं लगाया गया.

निगम अधिकारियों पर घोटाले का आरोप.

ये भी पढ़ें: देहरादून: छात्रा के आत्महत्या की गुत्थी में उलझी पुलिस, मृतका के साथी के खिलाफ मामला दर्ज

उन्होंने कहा कि इस पूरे षडयंत्र में नगर निगम के अधिकारियों की मिली भगत है. वहीं उन्होंने राज्य सरकार से इस घोटाले की निष्पक्ष जांच कराकर, कंपनी को दिए गए सारे भुगतान की वसूली और दोषियों को सख्त सजा देने की मांग की है.

हरिद्वार: नगर निगम के बीजेपी पार्षदों ने निगम के ही अधिकारियों पर सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट के नाम करोड़ों का घोटाला करने का आरोप लगाया है. वहीं उन्होंने राज्य सरकार से इस मामले की निष्पक्ष जांच कराने की मांग की है. पार्षदों ने प्रेस वार्ता कर बताया कि हरिद्वार नगर निगम क्षेत्र से कूड़ा उठाने और कूड़े के निस्तारण के नाम पर बड़ा खेल खेला जा रहा है. जिसमें हरिद्वार नगर निगम के अधिकारी शामिल हैं.

नगर निगम पार्षद प्रतिनिधि अंकुर मेहता ने दस्तावेज पेश करते हुए दावा किया है कि कुछ लोगों ने निगम के अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर बीते साल 2012 में अनुबंधित कंपनी केआरएल इंफोटेक इंडिया लिमिटेड कंपनी का नाम बदलकर केआरएल वेस्ट मैनेजमेंट हरिद्वार लिमिटेड कर दिया. जिसके बाद से नगर निगम में रहने वाले लोगों से कूड़ा उठाने के नाम पर अवैध वसूली की गई. साथ ही कूड़ा निस्तारण प्लांट के एवज में करोड़ों का भुगतान नगर निगम से ले लिया गया. लेकिन कूड़ा निस्तारण प्लांट नहीं लगाया गया.

निगम अधिकारियों पर घोटाले का आरोप.

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उन्होंने कहा कि इस पूरे षडयंत्र में नगर निगम के अधिकारियों की मिली भगत है. वहीं उन्होंने राज्य सरकार से इस घोटाले की निष्पक्ष जांच कराकर, कंपनी को दिए गए सारे भुगतान की वसूली और दोषियों को सख्त सजा देने की मांग की है.

Last Updated : Feb 29, 2020, 8:30 PM IST
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