हरिद्वार: निरंजनी और आनंद अखाड़े के बाद जूना अखाड़े ने भी कुंभ के समापन की घोषणा कर दी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अपील के बाद सभी संन्यासी अखाड़ों द्वारा कुंभ को प्रतीकात्मक रूप से मनाने का फैसला लिया जा रहा है. इसी को देखते हुए जूना अखाड़े ने लिया यह फैसला लिया है. जूना अखाड़ा के साथ अग्नि आह्वान और किन्नर अखाड़ा भी कुंभ का समापन करेगा. साधु संत अब हरिद्वार से रवाना होना शुरू होंगे.
कुंभ मेले में लगातार कोरोना विस्फोट हो रहा है. शाही स्नान के बाद काफी साधु-संतों में कोरोना की पुष्टि हुई थी, इसी को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा साधु संतों से कुंभ को प्रतीकात्मक रूप से मनाने की अपील की गई थी. प्रधानमंत्री की अपील के बाद जूना के साथ सहयोगी अग्नि आवाहन और किन्नर अखाड़े ने कुंभ समापन की घोषणा कर दी है. जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरि का कहना है श्री दशनाम जूना अखाड़ा के सभी साधु संतों द्वारा निर्णय लिया गया जिन देवताओं का हमारे द्वारा आवाहन किया गया था उसका हमारे द्वारा विसर्जन कर दिया गया है, अब हमारे सभी कार्यक्रम पर विराम लग गया है. अब कोई भी कुंभ मेले के बड़े कार्यक्रम अखाड़े द्वारा आयोजित नहीं किए जाएंगे.
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अब अखाड़े में कुछ ही संत निवास करेंगे. बाकी सभी संन्यासी अपने अपने निवास स्थान के लिए प्रस्थान करेंगे. बाकी संयासी अखाड़े के साधु संत भी प्रतीकात्मक रूप से ही कुंभ का आखरी स्नान करेंगे. इस निर्णय में हमारे सहयोगी अग्नि और किन्नर अखाड़े ने भी समर्थन दिया है.