ऋषिकेश: तीर्थनगरी ऋषिकेश में नशा प्रतिबंधित होने के बावजूद इसका अवैध व्यापार खुले आम बड़े स्तर पर किया जा रहा है. बाजवूद पुलिस-प्रशासन और आबकारी विभाग आंखे मूंदे बैठा हुआ है. यही कारण है कि अब ग्रामीणों ने इसके खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. कच्ची शराब के इस अवैध कारोबार पर लगाम लगाने के लिए गुमानिवाला की महिलाएं मगंलवार को उपजिलाधिकारी से मिली और शराब माफिया के खिलाफ कार्रवाई की मांग की.
ऋषिकेश के जंगलों में पिछले कई सालों से लगातार कच्ची शराब बनाने का काम चल रह है. कच्ची शराब बनाने वालों के खिलाफ कई बार स्थानीय पुलिस और वन विभाग से भी शिकायत कर चुकी हैं, लेकिन किसी ने भी इस ओर ध्यान नहीं दिया.
पढ़ें- रुड़की नगर निगम चुनाव: भाजपा की मुश्किलें नहीं हुई कम, 'बागी' गोयल के तेवर अब भी गर्म
महिलाओं का कहना है कि वन विभाग की मिलीभगत से जंगलों के भीतर शराब की भठ्ठी लगाई गई है. कई बार इसका विरोध किया तो वन विभाग के कर्मचारियों ने उनके साथ बदसलूकी की. लेकिन इस बार महिलाओं ने शराब के खिलाफ एक बड़ा आंदोलन छेड़ दिया है.
ग्रामीणों का कहना है कि शराब बेचने वालों के खिलाफ अगर प्रशासन कोई कार्रवाई नहीं करता है तो ग्रामीण खुद ही अपने स्तर पर कच्ची शराब बनाने वालों के खिलाफ कार्रवाही करेंगे.