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GROUND REPORT: ना कोरोना का खौफ ना ही चालान का डर!, राजधानी की सड़कों पर बेफिक्र दिखे लोग

पूरे देश के साथ उत्तराखंड में भी कोरोना की तीसरी लहर दस्तक दे चुकी है. इसके बावजूद राजधानी के मुख्य बाजार में कोविड नियमों का जमकर उल्लंघन हो रहा है. ईटीवी भारत ने कोविड को लेकर देहरादून के मुख्य बाजार में ग्राउंड रिपोर्टिंग की है, देखिए ये रिपोर्ट.

violation of covid guidelines
कोविड को लेकर घोर लापरवाही
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Published : Jan 11, 2022, 6:27 PM IST

Updated : Jan 11, 2022, 8:24 PM IST

देहरादून: उत्तराखंड में कोविड की तीसरी लहर के रूप में संक्रमण के मामले प्रतिदिन बढ़ते जा रहे हैं. मुख्य तौर से राजधानी देहरादून के अलावा हरिद्वार, नैनीताल व उधम सिंह नगर जैसे जनपदों में लगातार केस बढ़ रहे हैं. देहरादून की बात करें तो यहां साढ़े 400 से अधिक मामले सामने आ रहे हैं. वहीं, मरने वालों का आंकड़ा भी बढ़ता जा रहा है. इसके बावजूद राजधानी में कोविड गाइडलाइन को लेकर धरातल पर इंफोर्समेंट में भारी कोताही देखी जा रही है.

तीसरी लहर के रूप कोविड के बीच भीड़भाड़ वाले सार्वजनिक स्थानों के साथ थी व्यस्ततम रहने वाले बाजारों में सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क जैसे बेसिक नियमों का उल्लंघन साफ तौर पर देखा जा रहा है. खासतौर पर बाजार में फड़ विक्रेता और दुकानदारों में मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों की अनदेखी धड़ल्ले से जारी है, जिसको लेकर प्रशासन की तरफ से कोई इंफोर्समेंट धरातल पर नजर नहीं आ रहा है.

हालांकि, पुलिस विभाग का दावा है कि 1 जनवरी 2022 से वर्तमान तक यानी 12 दिनों में प्रदेशभर में 33 हजार से अधिक लोगों का मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग में चालान काटा जा चुका है.

कोविड को लेकर लापरवाही

ये भी पढ़ें: रुड़की सिविल अस्पताल ICU सुविधा से हुआ लैस, स्टाफ की कमी पड़ सकती है भारी

कैमरा देखते हैं याद आते हैं नियम: ईटीवी भारत ने देहरादून के सबसे व्यस्ततम रहने वाले पलटन बाजार में पहुंचकर जब रियलिटी चेक किया तो देखा गया कि काफी संख्या में लोग मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग में लापरवाही बरत रहे हैं. इनमें सबसे अधिक सड़क किनारे अलग-अलग तरह के सामान बेचने वाले फड़ विक्रेता और दुकानदार हैं. हालांकि, कैमरा देखते ही संक्रमण की अनदेखी करने वाले लोग एकाएक मास्क पहनकर जरूर अपना बचाव करते नजर आए.

चेतावनी बोर्ड लगाकर खानापूर्ति: देहरादून के घंटाघर से सटे सबसे व्यस्ततम रहने वाले पलटन बाजार के प्रवेश द्वार पर कोविड गाइडलाइन को लेकर एकमात्र चेतावनी बोर्ड लगाकर जिला प्रशासन खानापूर्ति करता नजर आ रहा है. बोर्ड में लिखा है- No Mask-No Entry, लेकिन इस नियम को पूरा करवाने वाली प्रशासन की टीम दूर-दूर तक नजर नहीं आ रही है.

गौर हो कि कोरोना की तीसरी लहर के बीच देशभर के साथ-साथ उत्तराखंड में भी संक्रमण काफी तेजी से फैला है. इसके साथ ही कोरोना के नये स्वरूप ओमीक्रोन के मामलों में भी इजाफा हो रहा है. बीते रोज उत्तराखंड में 1292 नए कोरोना पॉजिटिव मरीज मिले हैं. चिंता की बात ये है कि 5 मरीजों की मौत भी हुई है. वहीं, एक्टिव केस 5 हजार के पार हो गए हैं.

उत्तराखंड में तेजी से बढ़ रहे कोरोना केसों ने सरकार और स्वास्थ्य विभाग की चिंता बढ़ा दी है, ऐसे में ग्राउंड लेवल पर अगर ऐसे गंभीर चूक होती रही तो परिणाम भी बेहद खतरनाक हो सकते हैं. हमें ये याद रखना होगा मास्क और उचित दूरी ही संक्रमण से बचाव का एकमात्र तरीका है.

1 से 10 जनवरी तक पुलिस कार्रवाई का आंकड़ा

  • मास्क न पहनने वाले 4549 लोगों चालान काटा गया.
  • प्रदेश भर में सोशल-डिस्टेंसिंग जैसे नियमों का उल्लंघन करने पर 26513 लोगों पर चालान की कार्रवाई की गई.
  • इस दौरान पुलिस एक्ट के तहत 1922 चालान कार्रवाई अलग से की गई.
  • पिछले 11 दिनों में प्रदेश के सभी 13 राज्यों में महामारी और आपदा अधिनियम तहत 17 एफआईआर दर्ज की गई.
  • प्रदेश के सभी 13 जिलों में पिछले 10 दिनों में नियमों का उल्लंघन करने के तहट कुल 56 लाख 25 हजार 200 रुपए जुर्माना वसूला जा चुका है.

देहरादून: उत्तराखंड में कोविड की तीसरी लहर के रूप में संक्रमण के मामले प्रतिदिन बढ़ते जा रहे हैं. मुख्य तौर से राजधानी देहरादून के अलावा हरिद्वार, नैनीताल व उधम सिंह नगर जैसे जनपदों में लगातार केस बढ़ रहे हैं. देहरादून की बात करें तो यहां साढ़े 400 से अधिक मामले सामने आ रहे हैं. वहीं, मरने वालों का आंकड़ा भी बढ़ता जा रहा है. इसके बावजूद राजधानी में कोविड गाइडलाइन को लेकर धरातल पर इंफोर्समेंट में भारी कोताही देखी जा रही है.

तीसरी लहर के रूप कोविड के बीच भीड़भाड़ वाले सार्वजनिक स्थानों के साथ थी व्यस्ततम रहने वाले बाजारों में सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क जैसे बेसिक नियमों का उल्लंघन साफ तौर पर देखा जा रहा है. खासतौर पर बाजार में फड़ विक्रेता और दुकानदारों में मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों की अनदेखी धड़ल्ले से जारी है, जिसको लेकर प्रशासन की तरफ से कोई इंफोर्समेंट धरातल पर नजर नहीं आ रहा है.

हालांकि, पुलिस विभाग का दावा है कि 1 जनवरी 2022 से वर्तमान तक यानी 12 दिनों में प्रदेशभर में 33 हजार से अधिक लोगों का मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग में चालान काटा जा चुका है.

कोविड को लेकर लापरवाही

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कैमरा देखते हैं याद आते हैं नियम: ईटीवी भारत ने देहरादून के सबसे व्यस्ततम रहने वाले पलटन बाजार में पहुंचकर जब रियलिटी चेक किया तो देखा गया कि काफी संख्या में लोग मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग में लापरवाही बरत रहे हैं. इनमें सबसे अधिक सड़क किनारे अलग-अलग तरह के सामान बेचने वाले फड़ विक्रेता और दुकानदार हैं. हालांकि, कैमरा देखते ही संक्रमण की अनदेखी करने वाले लोग एकाएक मास्क पहनकर जरूर अपना बचाव करते नजर आए.

चेतावनी बोर्ड लगाकर खानापूर्ति: देहरादून के घंटाघर से सटे सबसे व्यस्ततम रहने वाले पलटन बाजार के प्रवेश द्वार पर कोविड गाइडलाइन को लेकर एकमात्र चेतावनी बोर्ड लगाकर जिला प्रशासन खानापूर्ति करता नजर आ रहा है. बोर्ड में लिखा है- No Mask-No Entry, लेकिन इस नियम को पूरा करवाने वाली प्रशासन की टीम दूर-दूर तक नजर नहीं आ रही है.

गौर हो कि कोरोना की तीसरी लहर के बीच देशभर के साथ-साथ उत्तराखंड में भी संक्रमण काफी तेजी से फैला है. इसके साथ ही कोरोना के नये स्वरूप ओमीक्रोन के मामलों में भी इजाफा हो रहा है. बीते रोज उत्तराखंड में 1292 नए कोरोना पॉजिटिव मरीज मिले हैं. चिंता की बात ये है कि 5 मरीजों की मौत भी हुई है. वहीं, एक्टिव केस 5 हजार के पार हो गए हैं.

उत्तराखंड में तेजी से बढ़ रहे कोरोना केसों ने सरकार और स्वास्थ्य विभाग की चिंता बढ़ा दी है, ऐसे में ग्राउंड लेवल पर अगर ऐसे गंभीर चूक होती रही तो परिणाम भी बेहद खतरनाक हो सकते हैं. हमें ये याद रखना होगा मास्क और उचित दूरी ही संक्रमण से बचाव का एकमात्र तरीका है.

1 से 10 जनवरी तक पुलिस कार्रवाई का आंकड़ा

  • मास्क न पहनने वाले 4549 लोगों चालान काटा गया.
  • प्रदेश भर में सोशल-डिस्टेंसिंग जैसे नियमों का उल्लंघन करने पर 26513 लोगों पर चालान की कार्रवाई की गई.
  • इस दौरान पुलिस एक्ट के तहत 1922 चालान कार्रवाई अलग से की गई.
  • पिछले 11 दिनों में प्रदेश के सभी 13 राज्यों में महामारी और आपदा अधिनियम तहत 17 एफआईआर दर्ज की गई.
  • प्रदेश के सभी 13 जिलों में पिछले 10 दिनों में नियमों का उल्लंघन करने के तहट कुल 56 लाख 25 हजार 200 रुपए जुर्माना वसूला जा चुका है.
Last Updated : Jan 11, 2022, 8:24 PM IST
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