देहरादून: आयुष शुल्क बढ़ोत्तरी के खिलाफ धरने पर बैठे एक छात्र ललित तिवारी की गुरुवार को अचानक तबीयत बिगड़ गई. जिसके बाद उसे दून अस्पताल में भर्ती कराया गया, लेकिन धरना स्थल पर 108 के समय पर न पहुंचने पर ललीत को निजी वाहन के जरिए ले जाया गया. 108 के न पहुंचने से नाराज छात्रों ने दून अस्पताल में सीएमओ के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.
बता दें कि, बीते 8 दिनों से आमरण अनशन पर बैठे ललित तिवारी की गुरुवार को धरना-प्रर्दशन के दौरान हालत गंभीर हो गई थी. जिसके बाद धरना स्थल पर 108 को बुलवाया गया, लेकिन देरी के चलते आमरण अनशन पर बैठे छात्र ललित तिवारी को एक निजी वाहन की मदद से दून अस्पताल लाया गया. एंबुलेंस के आने में हुई देरी से नाराज आयुष छात्र-छात्राओं ने दून अस्पताल की इमरजेंसी के सामने काफी हंगामा किया. इस दौरान उन्होंने देहरादून सीएमओ के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.
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हालांकि सचिवालय में हुई बैठक के बाद सरकार इस मामले में बैकफुट पर दिखाई दे रही है. सरकार ने निर्णय लिया है कि 2006 के अनुसार फीस निर्धारण करने का जो आदेश हाईकोर्ट का था उसके अनुसार फीस तय की जाएगी. आयुष मंत्री हरक सिंह रावत ने बताया कि सरकार को फीस निर्धारण करने का अधिकार नहीं था, इसका अधिकार फीस कमेटी को था.