देहरादून: राज्य आंदोलनकारियों ने सरकार पर गैरसैंण की उपेक्षा (Government accused of neglecting Gairsain) करने का आरोप लगाया है. इसके अलावा राज्य आंदोलनकारियों ने उन विधायकों का भी विरोध किया है, जिन्होंने गैरसैंण में सत्र (Assembly session will not be held in Gairsain) आयोजित ना कराए जाने को लेकर मुख्यमंत्री को पत्र लिखा था. राज्य आंदोलनकारियों का कहना है उत्तराखंड राज्य जल, जंगल, जमीन को सुरक्षित रखने और विकास के उद्देश्य से बनाया गया था, लेकिन आज सरकार गैरसैंण की लगातार अनदेखी कर रही है.
देहरादून में आज राज्य आंदोलनकारियों और सामाजिक संगठनों से जुड़े लोगों ने गैरसैंण में सत्र ना कराए जाने को लेकर और गैरसैंण का विरोध करने वाले विधायकों के खिलाफ अपनी नाराजगी व्यक्त की. वरिष्ठ राज्य आंदोलनकारी शैलेंद्र बिष्ट ने कहा वहां शीतकालीन सत्र ना होने की वजह से राज्य आंदोलनकारी काफी आहत हैं. उन्होंने कहा गैरसैंण का विरोध करने वाले विधायकों को प्रदेश की जनता कभी माफ नहीं करेगी.
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सामाजिक कार्यकर्ता उपेंद्र गौड़ ने कहा कुछ लोग अपने को पहाड़ का पुत्र बताते हैं, लेकिन दूसरी तरफ गैरसैंण का विरोध करते हैं. उन्होंने कहा जिस तरह से खानपुर विधायक उमेश कुमार, लक्सर विधायक शहजाद और यमुनोत्री से विधायक संजय डोभाल ने पत्र के माध्यम से विधानसभा का शीतकालीन सत्र देहरादून में आयोजित करवाने का अनुरोध किया था, उससे राज्य आंदोलनकारियों में आक्रोश है.
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राज्य आंदोलनकारियों का कहना है उत्तराखंड राज्य जल, जंगल, जमीन को सुरक्षित रखने और विकास के उद्देश्य से बनाया गया था, लेकिन आज इस बात का दुख है कि पहाड़ का विकास करने की बजाय सरकार देहरादून को ही फोकस कर रही है. सरकार गैरसैंण की लगातार अनदेखी कर रही है.