देहरादूनः लोक निर्माण विभाग में नियमितीकरण की मांग को लेकर संविदा कनिष्ठ अभियंताओं ने आज विधानसभा कूच किया, लेकिन पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रिस्पना पुल से पहले बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. रोके जाने से नाराज प्रदर्शनकारी सड़क पर ही धरने पर बैठ गए और नियमितीकरण की मांग करने लगे. उधर, राज्य आंदोलनकारियों ने भी 10% क्षैतिज आरक्षण, हिमाचल की तर्ज पर सशक्त भू कानून, चिन्हीकरण की प्रक्रिया समेत विभिन्न मांगों को लेकर विधानसभा कूच किया.
लोनिवि में संविदा पर कार्यरत कनिष्ठ अभियंता सोनम पुंडीर (PWD Junior Engineer Sonam Pundir) का कहना है कि उन्होंने अपनी मांगों को लेकर सचिवालय घेराव किया था और मुख्यमंत्री धामी के प्रतिनिधि ने 2 दिन के भीतर मुलाकात का समय देने का आश्वासन दिया था. जबकि उनकी मांगों को लेकर अभी तक कोई सकारात्मक कार्रवाई नहीं हुई है. इससे नाराज होकर उन्होंने विधानसभा सत्र के दौरान विधानसभा घेराव करने का निर्णय (PWD contract junior engineers marched to assembly) लिया.
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कनिष्ठ अभियंताओं ने सरकार पर शोषण का आरोप (Public Works Department contract junior engineers) लगाते हुए कहा कि सभी अभियंता विपरीत परिस्थितियों में दुर्गम क्षेत्रों में अपनी सेवाएं बीते कई सालों से दे रहे हैं, लेकिन सरकार उनका नियमितीकरण नहीं कर रही है. उन्होंने कहा कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होती है, तब तक उनका आंदोलन जारी रहेगा.
राज्य आंदोलनकारियों ने किया विधानसभा कूचः 10% क्षैतिज आरक्षण, हिमाचल की तर्ज पर सशक्त भू कानून, चिन्हीकरण की प्रक्रिया समेत अपनी विभिन्न मांगों को लेकर राज्य आंदोलनकारियों ने विधानसभा कूच (Uttarakhand State agitators march to assembly) किया, लेकिन पुलिस बल ने प्रदर्शनकारियों को विश्वनाथ पुल से पहले ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने अपनी मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और सड़क पर ही धरने पर बैठ गए.
उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी मंच के अध्यक्ष जगमोहन नेगी का कहना है कि हिमाचल प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखंड में भी सशक्त भू कानून, और राज्य आंदोलनकारियों के 10% क्षैतिज आरक्षण को लेकर उन्होंने आज विधानसभा कूच किया है. उन्होंने सरकार से तत्काल इसका शासनादेश जारी किए जाने की मांग उठाई है. राज आंदोलनकारियों का कहना है कि सरकार लगातार उनकी मांगों को लेकर आश्वासन देती आ रही है, लेकिन राज्य आंदोलनकारियों की मांगों को लेकर गंभीर नहीं है.
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उन्होंने कहा कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होती हैं, उनका आंदोलन जारी रहेगा. इससे पहले तमाम राज्य आंदोलनकारियों ने नेहरू कॉलोनी स्थित शहीद रविंद्र रावत (पोलू) स्मारक पर एकत्रित होकर पैदल विधानसभा मार्च किया. जहां पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. बता दें कि उत्तराखंड विधानसभा का शीतकालीन सत्र (Uttarakhand Assembly Winter session) चल रहा है. आज शीतकालीन सत्र का आखिरी दिन था. ऐसे में लोग अपनी मांगों को मनवाने के लिए विधानसभा का रुख कर रहे थे.