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फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा: NSUI का सचिवालय कूच, हरदा और प्रीतम सिंह हुए शामिल

कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय से सैकड़ों की संख्या में एनएसयूआई कार्यकर्ता सचिवालय कूच करने पहुंचे, लेकिन पुलिस ने सचिवालय से पहले ही प्रदर्शनकारियों को रोक दिया. इस दौरान कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व सीएम हरीश रावत एनएसयूआई का समर्थन करने पहुंचे.

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एनएसयूआई का सचिवालय कूच
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Published : Oct 13, 2020, 9:34 PM IST

Updated : Oct 13, 2020, 10:41 PM IST

देहरादून: फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा मामले को लेकर एनएसयूआई के सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने आज सचिवालय कूच किया. इस दौरान एनएसयूआई कार्यकर्ताओं के समर्थन में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत भी पहुंचे और उनकी मांगों का समर्थन करते हुए सचिवालय घेराव किया. हालांकि, पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को सचिवालय से पहले ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया.

इस दौरान नाराज प्रदर्शनकारियों और पुलिसकर्मियों के बीच जमकर धक्का-मुक्की हुई. प्रदर्शनकारी सरकार द्वारा परीक्षा को लेकर कोई फैसला नहीं लिए जाने से नाराज हैं. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि उत्तराखंड में लंबे समय के बाद हाईकोर्ट के आदेश पर इस वर्ष फरवरी में 1218 पदों पर फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा आयोजित की गई थी, जिसका पेपर लीक हो गया. यह परीक्षा घोटाले की भेंट चढ़ गई. इसकी जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया था, लेकिन आज 7 महीने बीतने के बाद भी इसकी जांच रिपोर्ट सामने नहीं आई है.

एनएसयूआई का सचिवालय कूच

ये भी पढ़ें: उत्तराखंड में आज मिले 294 कोरोना पॉजिटिव, 24 घंटे के भीतर 20 की मौत

वहीं, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने कहा कि बेरोजगार युवाओं के भविष्य को लेकर सरकार पूरी तरह से फेल साबित हुई है. हमने उत्तराखंड के बेरोजगारों की पीड़ा को समझते हुए सचिवालय कूच किया है, क्योंकि नौजवान को रोजगार नहीं मिल रहा है. उत्तराखंड में वनरक्षक भर्ती खोली जाती हैं, लेकिन यह भर्ती भी अनियमितता और भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया. इस धांधली की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया, लेकिन उस जांच का कुछ अता पता नहीं है.

वहीं, पूर्व सीएम हरीश रावत ने बेरोजगारी को लेकर त्रिवेंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार में रोजगार को लेकर नौजवान त्रस्त है, जबकि कांग्रेस कार्यकाल में 1 साल में 32 हजार लोगों को नौकरियां दी गई थी. सरकार को बताना चाहिए कि कांग्रेस कार्यकाल में पुलिस, पीआरडी और होमगार्ड में जो भर्तियां हुई है. उसकी अपेक्षा भाजपा शासनकाल में कितनी भर्तियां हुई है.

एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं के खिलाफ मुकदमा

वहीं, एनएसयूआई कार्यकताओं द्वारा लॉकडाउन नियमों के उल्लंघन पर एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष सहित 15 कार्यकर्ताओं के खिलाफ थाना कोतवाली नगर में आपदा अधिनियम के तहत मुकदमा पंजीकृत किया गया. 2017 में उत्तराखड़ में फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा मामले में धांधली को लेकर आज एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष मोहन भंडारी के नेतृत्व्व में प्रदेश सरकार के खिलाफ 250-300 कार्यकर्ताओं ने कांग्रेस भवन से सचिवालय कूच किया था. लेकिन सचिवालय से पहले ही पुलिस ने बैरिकेडिंग के जरिए एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को रोक दिया.

देहरादून: फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा मामले को लेकर एनएसयूआई के सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने आज सचिवालय कूच किया. इस दौरान एनएसयूआई कार्यकर्ताओं के समर्थन में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत भी पहुंचे और उनकी मांगों का समर्थन करते हुए सचिवालय घेराव किया. हालांकि, पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को सचिवालय से पहले ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया.

इस दौरान नाराज प्रदर्शनकारियों और पुलिसकर्मियों के बीच जमकर धक्का-मुक्की हुई. प्रदर्शनकारी सरकार द्वारा परीक्षा को लेकर कोई फैसला नहीं लिए जाने से नाराज हैं. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि उत्तराखंड में लंबे समय के बाद हाईकोर्ट के आदेश पर इस वर्ष फरवरी में 1218 पदों पर फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा आयोजित की गई थी, जिसका पेपर लीक हो गया. यह परीक्षा घोटाले की भेंट चढ़ गई. इसकी जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया था, लेकिन आज 7 महीने बीतने के बाद भी इसकी जांच रिपोर्ट सामने नहीं आई है.

एनएसयूआई का सचिवालय कूच

ये भी पढ़ें: उत्तराखंड में आज मिले 294 कोरोना पॉजिटिव, 24 घंटे के भीतर 20 की मौत

वहीं, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने कहा कि बेरोजगार युवाओं के भविष्य को लेकर सरकार पूरी तरह से फेल साबित हुई है. हमने उत्तराखंड के बेरोजगारों की पीड़ा को समझते हुए सचिवालय कूच किया है, क्योंकि नौजवान को रोजगार नहीं मिल रहा है. उत्तराखंड में वनरक्षक भर्ती खोली जाती हैं, लेकिन यह भर्ती भी अनियमितता और भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया. इस धांधली की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया, लेकिन उस जांच का कुछ अता पता नहीं है.

वहीं, पूर्व सीएम हरीश रावत ने बेरोजगारी को लेकर त्रिवेंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार में रोजगार को लेकर नौजवान त्रस्त है, जबकि कांग्रेस कार्यकाल में 1 साल में 32 हजार लोगों को नौकरियां दी गई थी. सरकार को बताना चाहिए कि कांग्रेस कार्यकाल में पुलिस, पीआरडी और होमगार्ड में जो भर्तियां हुई है. उसकी अपेक्षा भाजपा शासनकाल में कितनी भर्तियां हुई है.

एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं के खिलाफ मुकदमा

वहीं, एनएसयूआई कार्यकताओं द्वारा लॉकडाउन नियमों के उल्लंघन पर एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष सहित 15 कार्यकर्ताओं के खिलाफ थाना कोतवाली नगर में आपदा अधिनियम के तहत मुकदमा पंजीकृत किया गया. 2017 में उत्तराखड़ में फॉरेस्ट गार्ड भर्ती परीक्षा मामले में धांधली को लेकर आज एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष मोहन भंडारी के नेतृत्व्व में प्रदेश सरकार के खिलाफ 250-300 कार्यकर्ताओं ने कांग्रेस भवन से सचिवालय कूच किया था. लेकिन सचिवालय से पहले ही पुलिस ने बैरिकेडिंग के जरिए एनएसयूआई कार्यकर्ताओं को रोक दिया.

Last Updated : Oct 13, 2020, 10:41 PM IST
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