देहरादून: उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत (Higher Education Minister Dhan Singh Rawat) ने सचिवालय में विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक की (higher education review meeting). बैठक उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि प्रदेश सभी विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में इसी शैक्षिक सत्र से ही नई शिक्षा नीति लागू की जाएगी (New education policy).
मंत्री ने कहा कि सभी महाविद्यालयों में 100 प्रतिशत फैकल्टी के पद भरे जाएंगे और जहां पर कमी बनती है तो उन पदों पर रिक्त पदों के सापेक्ष डीपीसी और गेस्ट फैकल्टी के तहत भरा जाए. ताकि छात्र-छात्राओं की उच्च शिक्षा के स्तर को सुधारा जा सके. उच्च शिक्षा मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि महाविद्यालयों में शिक्षणेत्तर के पदों को जल्द ही पदोन्नति के साथ भरा जाए. साथ ही सभी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को निर्देशित किया कि शैक्षणिक कैलेंडर इसी सत्र से लागू किया जाए, जिससे की सही समय पर परीक्षा परिणाम घोषित कर प्रत्येक वर्ष दीक्षांत समारोह का आयोजन किया जा सके.
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मंत्री ने कहा कि नई शिक्षा नीति 2020 के तहत गठित राज्य स्तरीय समिति की और से तैयार च्वॉइस बेस क्रेडिट सिस्टम पाठ्यक्रम को जल्द स्वीकृति दी जाए, उसके बाद उसे विश्वविद्यालय प्रबंध समिति से पारित कर लागू करवाया जाए. इसके साथ ही शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने निजी विद्यालयों के संचालकों की बैठक लेते हुए कहा कि उत्तराखंड राज्य को एजुकेशन हब बनाने के लिए सभी प्रतिष्ठित प्राइवेट स्कूल सरकार के साथ मिलकर सयुंक्त प्रयास करें. साथ ही पर्वतीय क्षेत्रों में एक-एक शिक्षण संस्थान खोलने के लिए शिक्षा मंत्री की और से आमंत्रित किया गया, जिसके लिए सरकार निजी संस्थानों को भूमि से लेकर मूलभूत सुविधाएं देने में हर प्रकार का सहयोग करेगी.
इसके साथ ही शिक्षा मंत्री ने प्रदेश में नई शिक्षा नीति को लागू करने को लेकर चर्चा की और कहा कि शिक्षा के अधिकार अधिनियम के तहत गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले छात्रों को 25 प्रतिशत के तहत प्रवेश दिया जाए, जिनके अभिभावकों के आय प्रमाण पत्र बनाने के लिए तहसील स्तर पर कैंप का आयोजन किया जाएगा.