देहरादून: पंडित दीनदयाल उपाध्याय जिला चिकित्सालय में इंटर्नशिप कर रहे डॉक्टर धवल कनवासी एक अच्छे डॉक्टर होने के साथ साथ गायक भी हैं. उनका मानना है कि संगीत शारीरिक और मानसिक रोगों का उपचार करने में सक्षम है. संगीत शरीर के तंत्रों पर अपना प्रभाव डालता है. इसीलिए डॉक्टर कनवासी मरीजों का दवा के साथ साथ संगीत के माध्यम से भी इलाज करते हैं.
डॉक्टर धवल कनवासी पंडित दीनदयाल उपाध्याय जिला चिकित्सालय में मरीजों की सेवा में जुटे हुए हैं. चमोली जिले में गोचर के रहने वाले डॉ कनवासी के पिता का नाम जगजीश सिंह कनवासी है. उनकी माता पुष्पा सरकारी विद्यालय में शिक्षिका हैं. उन्होंने बताया कि बचपन से ही गाने का शौक था और उन्हें अपनी माता से गाने की प्रेरणा मिलती रही है.
संस्कृत में भी महारथ हासिल: डॉक्टर धवल को संस्कृत में भी महारत हासिल है. उन्हें ऑल इंडिया संस्कृत प्रतियोगिता में द्वितीय पुरस्कार से नवाजा जा चुका है. उन्होंने बताया कि अस्पताल में अपनी गायकी के शौक को पूरा करने के साथ ही नॉलेज भी गेन कर रहे हैं. इसमें वरिष्ठ चिकित्सकों का उन्हें स्नेह भी प्राप्त हो रहा है. बतौर सिंगर अस्पताल के सीनियर डॉक्टर्स हमेशा उनका मनोबल बढ़ाते रहते हैं.
दूसरे डॉक्टर भी करते हैं डॉ कनवासी की प्रशंसा: वहीं, कोरोनेशन अस्पताल में तैनात रहे बाल रोग विशेषज्ञ और बागेश्वर के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ डीपी जोशी भी डॉ कनवासी की प्रशंसा करते नहीं थकते हैं. डॉ कनवासी पूरी लगन के साथ अस्पताल की ओपीडी और इमरजेंसी में आने वाले मरीजों की सेवा में तत्पर रहते हैं. विशेषकर क्रिटिकल केयर के मरीजों की सेवा में हमेशा समर्पित रहते हैं. उन्होंने अपनी गायकी के शौक को भी जिंदा रखा हुआ है. डॉक्टर जोशी के मुताबिक युवा चिकित्सक बहुत उम्दा और अच्छे सिंगर हैं.
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उन्होंने सरकार से आग्रह किया है कि ऐसे टैलेंटेड डॉक्टर्स को ऐसा प्लेटफार्म दिया जाना चाहिए, ताकि अपने प्रदेश का नाम रोशन करने के साथ ही युवाओं के लिए भी मिसाल बन सकें. उनका कहना है कि संगीत मन को सुकून देने के साथ ही तनाव को कम करता है. ऐसे में युवा चिकित्सक डॉ धवल कनवासी मानसिक और शारीरिक रूप से कमजोर मरीजों की सेवा में समर्पित हैं और अपने गाने के शौक को जिंदा रखे हुए हैं.