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आज हड़ताल पर रहेंगे डॉक्टर, राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग विधेयक का विरोध

देहरादून में बुधवार सुबह 6 बजे से इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से जुड़े तमाम चिकित्सक हड़ताल पर रहेंगे. जिसके चलते चौबीस घंटे तक ओपीडी बंद रहेगा.

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष
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Published : Jul 30, 2019, 8:09 PM IST

Updated : Jul 31, 2019, 10:37 AM IST

देहरादून: लोकसभा में राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग विधेयक पारित हो गया है. जिसके कारण इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से जुड़े तमाम डॉक्टरों में रोष है. आईएमए ने बिल के विरोध में बुधवार को सुबह 6 बजे से 24 घंटे तक ओपीडी पूरी तरीके से बंद रखने का आह्वान किया है. IMA ने कहा कि नेशनल मेडिकल कमीशन बिल-2019 के खिलाफ उनकी लड़ाई जारी रहेगी.

चिकित्सकों ने हड़ताल का किया ऐलान.

चिकित्सकों का कहना है कि राज्य में डेंगू के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए इमरजेंसी को बंद नहीं रखा जाएगा लेकिन ओपीडी पूरी तरह से बंद की जाएगी. आईएमए के चिकित्सकों ने बुधवार सुबह 6 बजे से चौबीस घंटे तक ओपीडी कार्य बहिष्कार करते हुए सरकार के इस फैसले का विरोध करने की बात कही है. इस संबंध में उन्होंने प्रदेश के प्रांतीय चिकित्सा स्वास्थ्य सेवा संघ और मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल से भी समर्थन पत्र मांगा है.

पढ़ें- प्रदर्शन के बाद बैकफुट पर आया प्रशासन, 5 स्कूलों के विलय पर लगी रोक

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने बताया कि बीते मंगलवार को लोकसभा में एमएनसी बिल पास हुआ है. उत्तराखंड के डॉक्टर भी बिल के विरोध में उतर आए हैं. उनका कहना है कि मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया से सभी चिकित्सकों का भावनात्मक लगाव था. उसको बदलकर नेशनल मेडिकल कमीशन बिल लाना चिकित्सकों की भावनाओं के साथ खेलने के समान है.

देहरादून: लोकसभा में राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग विधेयक पारित हो गया है. जिसके कारण इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से जुड़े तमाम डॉक्टरों में रोष है. आईएमए ने बिल के विरोध में बुधवार को सुबह 6 बजे से 24 घंटे तक ओपीडी पूरी तरीके से बंद रखने का आह्वान किया है. IMA ने कहा कि नेशनल मेडिकल कमीशन बिल-2019 के खिलाफ उनकी लड़ाई जारी रहेगी.

चिकित्सकों ने हड़ताल का किया ऐलान.

चिकित्सकों का कहना है कि राज्य में डेंगू के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए इमरजेंसी को बंद नहीं रखा जाएगा लेकिन ओपीडी पूरी तरह से बंद की जाएगी. आईएमए के चिकित्सकों ने बुधवार सुबह 6 बजे से चौबीस घंटे तक ओपीडी कार्य बहिष्कार करते हुए सरकार के इस फैसले का विरोध करने की बात कही है. इस संबंध में उन्होंने प्रदेश के प्रांतीय चिकित्सा स्वास्थ्य सेवा संघ और मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल से भी समर्थन पत्र मांगा है.

पढ़ें- प्रदर्शन के बाद बैकफुट पर आया प्रशासन, 5 स्कूलों के विलय पर लगी रोक

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष ने बताया कि बीते मंगलवार को लोकसभा में एमएनसी बिल पास हुआ है. उत्तराखंड के डॉक्टर भी बिल के विरोध में उतर आए हैं. उनका कहना है कि मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया से सभी चिकित्सकों का भावनात्मक लगाव था. उसको बदलकर नेशनल मेडिकल कमीशन बिल लाना चिकित्सकों की भावनाओं के साथ खेलने के समान है.

Intro:लोकसभा में राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग विधेयक पास होने के विरोध में उत्तराखंड के इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से जुड़े तमाम चिकित्सक कल हड़ताल पर रहेंगे, चिकित्सकों ने राज्य में डेंगू के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए इमरजेंसी को बंद नहीं रखा है, जबकि इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने विरोध स्वरूप ओपीडी को पूरी तरह से बंद रखने का निर्णय लिया है,आईएमए के चिकित्सकों ने कल सवेरे 6 बजे से चौबीस घंटे तक ओपीडी का कार्य बहिष्कार करते सरकार के इस फैसले का विरोध कर रही है। इस संबंध में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने प्रदेश के प्रांतीय चिकित्सा स्वास्थ्य सेवा संघ सहित बड़े संस्थानों में शुमार मैक्स सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल से भी पत्र लिखकर समर्थन मांगा है।


Body: इस संबंध में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और उत्तराखंड ब्रांच के सेकेट्री डॉक्टर डीडी चौधरी ने बताया कि बीते मंगलवार को लोकसभा में एमएनसी बिल पास हुआ है उसे पूरे भारत में समस्त चिकित्सकों में व्याप्त रोष है क्योंकि मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया से सभी चिकित्सकों का भावनात्मक लगाव था, उसको बदलकर नेशनल मेडिकल कमीशन बिल लाया जा रहा है। इसका सभी क्षेत्रों के चिकित्सक विरोध कर रहे हैं जिसके फलस्वरूप कल 31 जुलाई को सवेरे 6:00 बजे से अगले दिन सवेरे 6:00 बजे तक सभी चिकित्सक ओपीडी बहिष्कार करेंगे लेकिन यहां डेंगू के प्रकोप को देखते हुए इमरजेंसी को हड़ताल से अलग रखा गया है जबकि इंडोर पेशेंट्स का इलाज सुचारू रूप से चलता रहेगा।

बाईट- डॉ डीडी चौधरी, सेकेट्री, आईएमए, उत्तराखंड


Conclusion:बता दें कि कल इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के आह्वान पर एसोसिएशन से जुड़े समस्त चिकित्सक हड़ताल पर रहेंगे। जिसके बाद मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। गौर है कि देहरादून में करीब 800 क्लिनिक्स, नर्सिंग होम्स, पैथोलॉजी सेंटर्स हैं, जबकि समूचे उत्तराखंड में क्लिनिक्स, अस्पतालों और नर्सिंग होमों से जुड़े चिकित्सक इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के सदस्य हैं। ऐसे कल इंडियन मेडिकल एसोसिएशन से जुड़े करीब 18 सौ चिकित्सकों के हड़ताल पर जाने के बाद जाहिर तौर पर सरकारी अस्पतालों में मरीजों का दबाव बढ़ने जा रहे हैं
Last Updated : Jul 31, 2019, 10:37 AM IST
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