देहरादूनः मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को मुख्यमंत्री आंचल अमृत योजना को फिर से शुरुआत करते हुए आंगनबाड़ी केंद्रों में फोर्टिफाइड सुगंधित मीठा मिक्स्ड दूध वितरण कार्यक्रम की शुरुआत की. इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने 11 बच्चों को दूध भी पिलाया और योजना का शुभारंभ किया. वहीं, अपने संबोधन में सीएम धामी ने कहा कि आज की कैबिनेट बैठक में सरकार आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को दिवाली से पहले बड़ा तोहफा देने जा रही है.
वहीं, मुख्यमंत्री ने आंगनबाड़ी कार्यकत्री, सहायिका एवं मिनी आंगनबाड़ी कार्यकत्री की चयन प्रक्रिया पारदर्शिता के दृष्टिकोण से ऑनलाइन किए जाने की घोषणा की. आंगनबाडी राज्य पुरस्कार योजना का नामांकन ऑनलाइन किए जाने की घोषणा के साथ ही तीलू रौतेली राज्य पुरस्कार में नामांकन प्रक्रिया को ऑनलाइन किए जाने की भी सीएम ने घोषणा की है. इसके साथ ही नंदा गौरा योजना में रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया ऑनलाइन किए जाने का ऐलान किया गया.
बच्चों के विकास व पोषण में मदद: योजना के पुनः शुभारंभ पर मुख्यमंत्री ने कहा कि इस योजना से बच्चों के विकास व पर्याप्त पोषण मिलने में बड़ी मदद मिलेगी. जिस प्रकार मां का आंचल बच्चे की धूप-छांव से बचाव करता है, उसी प्रकार आंचल अमृत योजना बच्चों में कुपोषण को दूर करने में निश्चित रूप से सहायक होगा. उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी ने सभी क्षेत्रों को प्रभावित किया, इससे यह योजना भी कुछ समय तक प्रभावित रही जिसे अब पुनः शुरू कर दिया गया है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि, मुख्यमंत्री आंचल अमृत योजना के अंतर्गत आंगनबाड़ी केंद्रों में 3 से 6 वर्ष के बच्चों को हफ्ते में 4 दिन निशुल्क फोर्टीफाइड मीठा व सुगंधित दूध मिलेगा. इस योजना से प्रदेश के 1 लाख 70 बच्चों को लाभ मिलेगा. राज्य सरकार बच्चों, महिलाओं, बहनों के लिए हर वह जरूरी योजना लाएगी जिससे उन्हें लाभ पहुंचाया जा सके.
सीएम के बेटे भी आंगनबाड़ी केंद्रों में पढ़े: मुख्यमंत्री पोषण योजना के तहत एक लाख गर्भवती महिलाओं व 85 हजार धात्री महिलाओं को लाभ मिलेगा. उन्होंने कहा कि वो आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों की समस्याओं से अवगत हैं, वो जिन परिस्थितियों में काम करती हैं उससे भी वो परिचित हैं, क्योंकि स्वयं उनके बच्चे आंगनबाड़ी केंद्रों में पढ़े हैं. जिस प्रकार आंगनबाड़ी कार्यकत्रियां बच्चों की देखभाल के साथ अन्य कार्य करती हैं वो सराहनीय है.
उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों की मांगों से संबंधित प्रस्ताव शीघ्र कैबिनेट में लाया जाएगा. आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को रक्षाबंधन पर एक-एक हजार और कोरोना प्रोत्साहन 5 महीने तक 02-02 हजार रुपये का भुगतान किया जा रहा है.
सीएम ने गिनाए कार्य: मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार सभी की समस्याओं के समाधान के प्रति कटिबद्ध है. ग्राम प्रधानों के मानदेय में भी 1500 रुपये की वृद्धि की गई है. 2001 बैच के पुलिस आरक्षियों को 4500 ग्रेड पे स्वीकृत किया गया है व आशा कार्यकत्रियों का मानदेय भी 1500 बढ़ाया गया है. उपनल कार्मिकों के मानदेय में 10 साल की सेवा वालों को 2 हजार तथा उससे उपर की सेवा पर 3 हजार की वृद्धि की गई है. बिजली कार्मिकों की समस्याओं का भी समाधान किया गया है.
सीएम ने कहा कि कोरोना महामारी के कारण पर्यटन एवं स्वास्थ्य कार्मिकों को हुए नुकसान की भरपाई के लिये क्रमशः 200 एवं 205 करोड़ के पैकेज की घोषणा की गई है. युवाओं को सेना एवं अर्द्धसैनिक बलों में सेवा के अवसर उपलब्ध कराने तथा उनके शारीरिक दक्षता के लिये स्वस्थ्य युवा, स्वस्थ उत्तराखंड योजना के तहत सभी न्याय पंचायतों में ओपन जिम खोलने जा रहे हैं. कोरोना से अनाथ हुए बच्चों के लिये वात्सल्य योजना शुरू की गई है.
इस अवसर पर महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्य ने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा इस योजना के तहत पर्याप्त बजट भी स्वीकृत किया गया है. यह योजना बच्चों को कुपोषण से मुक्त करने में मददगार होगी और इससे कुपोषण मुक्त प्रदेश बनने में भी मदद मिलेगी. उन्होंने आंगनवाड़ी कार्यकत्रियों के लिए बड़ा दिल दिखने के लिये भी मुख्यमंत्री का आभार जताया.
2019 में किया गया था योजना का शुभारंभ: प्रदेश में 7 मार्च, 2019 को मुख्यमंत्री आंचल अमृत योजना का शुभारंभ किया गया था. 2019 में योजना के तहत प्रदेश के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों में 3 से 6 वर्ष के बच्चों के लिए सुगंधित फोर्टीफाइड मिल्क विटामिन ए व डी युक्त दूध हफ्ते में 4 दिन दिया गया. प्रति बच्चा 10ग्राम दूध पाउडर से 100 मीली. दूध तैयार किया गया. राज्य में लगभग कुल 1,70,000 बच्चों को प्रतिमाह लाभान्वित करते हुए कुल ₹6.33 करोड़ खर्च किया गया.
वहीं, योजना की फिर से शुरुआत के साथ ही वित्तीय वर्ष 2021-22 में आंगनबाड़ी केंद्रों में 3 से 6 वर्ष के कुल 2,56,199 बच्चों को अक्टूबर से दिसंबर 2021 के लिए कुल ₹4,33,33,000 की धनराशि का भुगतान दुग्ध पाउडर की आपूर्ति के लिए डेयरी विकास विभाग, उत्तराखंड को दिया गया है.
ये भी पढ़ेंः आपदा पीड़ितों को एक महीने का वेतन देंगे त्रिवेंद्र रावत, CM धामी भी कर चुके घोषणा
इस कार्यक्रम से पहले मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सुबह भगवान बदरी विशाल के दर्शन किए. सीएम बनने के बाद पुष्कर सिंह धामी पहली बार बदरीनाथ धाम पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने कहा कि बदरीनाथ धाम को मास्टर प्लान के तहत विकसित करने को लेकर केंद्र सरकार के द्वारा 250 करोड़ की धनराशि जारी की गई है. साथ ही देवस्थानम बोर्ड को लेकर उनके द्वारा जो कमेटी गठित की गई थी, उसकी रिपोर्ट कमेटी के द्वारा सरकार को सौंप दी गई है. रिपोर्ट की जांच कर कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव लाया जाएगा.