देहरादून: बिजली संकट के बीच केंद्र से उत्तराखंड के लिए राहत भरी खबर आई है. केंद्र ने उत्तराखंड को 300 मेगावाट बिजली यानी 7.2 मिलियन यूनिट देने की सहमति दे दी है. क्योंकि मंगलवार 28 फरवरी रात को केंद्र की दी हुई राहत की मियाद खत्म हो गई थी, जिसे बढ़ा दिया है.
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CM Pushkar Singh Dhami had requested the Union Energy Minister by writing a letter to continue the quota of 300 MW additional power as it was, as well as talking on the phone. In this sequence, the Central Government has given approval for additional 300 MW electricity: CMO
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) March 1, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) March 1, 2023CM Pushkar Singh Dhami had requested the Union Energy Minister by writing a letter to continue the quota of 300 MW additional power as it was, as well as talking on the phone. In this sequence, the Central Government has given approval for additional 300 MW electricity: CMO
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) March 1, 2023
केंद्र की तरफ से उत्तराखंड को 300 मेगावाट बिजली मिलने पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह का आभार व्यक्त की है. बता दें कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने केंद्रीय ऊर्जा मंत्री को पत्र लिखकर 300 मेगावाट अतिरिक्त बिजली का कोटा यथावत जारी रखने का अनुरोध किया था. साथ ही फोन भी किया था, इसी क्रम में केंद्र सरकार ने 300 मेगावाट अतिरिक्त बिजली देने की मंजूरी दी है.
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गौरतलब हो कि केंद्र सरकार ने अनावंटित कोटे से 12 जनवरी को 300 मेगावाट अतिरिक्त बिजली दी थी. सबसे ज्यादा बिजली उत्तराखंड को ही मिली थी, लेकिन अतिरिक्त बिजली की मियाद 28 फरवरी को खत्म हो गई थी, जिसे केंद्र सरकार ने बढ़ा दिया है. यदि केंद्र सरकार ये मियाद न बढ़ाती तो उत्तराखंड मे बिजली संकट खड़ा हो सकता और उत्तराखंड के मंहगे दामों पर अन्य राज्यों से बिजली खरीदनी पड़ती.
वर्तमान में प्रदेश में बिजली की स्थिति पर नजर डाले तो राज्य के पूल से यूजेवीएनएल (उत्तराखंड जल विद्युत निगम लिमिटेड) से 8 से 10 मिलियन यूनिट मिल रही है. वहीं केंद्र के सभी पूल से 18 से 20 मिलियन यूनिट उत्तराखंड को मिल रही है. वहीं केंद्र और राज्य से कुल 28 से 31 मिलियन यूनिट उत्तराखंड के हिस्से में आ रही है.
वहीं जरूरत की बात की जाए तो उत्तराखंड को 40 से 41 मिलियन यूनिट की जरूरत है. राज्य में औसतन 7 से 9 मिलियन यूनिट बिजली की कमी है. इस कमी को पूरा करने के लिए टेंडर के जरिए 6 से 7 मिलियन यूनिट खरीदी जा रही है. वहीं, इंडियन एनर्जी एक्सचेंज से भी रोजाना एक से तीन मिलियन यूनिट बिजली खरीदी जा रही है.