देहरादून: निर्वाचन आयोग ने 10 अप्रैल को आम आदमी पार्टी को बड़ी सौगात दी है. आम आदमी पार्टी को निर्वाचन आयोग ने राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा दे दिया है. इसके साथ ही, चुनाव आयोग ने एनसीपी, टीएमसी और सीपीआई से राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा वापस ले लिया है. हालांकि, आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा यूं ही नहीं मिला, बल्कि इस दर्जे के लिए आम आदमी पार्टी को कानूनी लड़ाई लड़नी पड़ी. आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिलने पर भाजपा और कांग्रेस बधाई देने के साथ ही एक दूसरे की बी पार्टी बता रहे हैं.
दरअसल, गुजरात में विधानसभा चुनाव के बाद ही आम आदमी पार्टी, राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा प्राप्त करने की हकदार हो गई थी. लेकिन निर्वाचन आयोग से पार्टी को राष्ट्रीय दर्जा मिलने में हुई देरी पर पार्टी को कानूनी लड़ाई लड़नी पड़ी. इसके लिए पार्टी ने कर्नाटक हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया. जिसके बाद कोर्ट ने चुनाव आयोग को 13 अप्रैल का समय देते हुए इस पर निर्णय लेने को कहा कि आप राष्ट्रीय पार्टी बनने की शर्तों को पूरा करती है या नहीं. इसके बाद 10 अप्रैल को चुनाव आयोग ने आप को राष्ट्रीय पार्टी बना दिया.
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वहीं, इस पूरे मामले पर आप के प्रदेश संगठन समन्वयक जोत सिंह बिष्ट ने बताया कि आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय दर्जा मिलने के बाद देश के सभी राज्यों में अपने संगठन का गठन कर, आगामी लोकसभा चुनाव में अपनी उपस्थिति दर्ज कराएगी. साथ ही कहा कि आम आदमी पार्टी उत्तराखंड के जन सरोकार के मुद्दों शिक्षा, स्वास्थ्य, महंगाई और बेरोजगारी को उठाने का काम करेगी. इसके अलावा चारधाम यात्रा और यात्रा से जुड़े व्यवसायियों के मुद्दे को उठाएगी. आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय दर्जे के सवाल पर भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता वीरेंद्र बिष्ट ने बताया कि भले ही आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय दर्जा मिल गया हो, लेकिन आम आदमी पार्टी का कोई भविष्य नहीं है.
बिष्ट ने कहा कि आम आदमी पार्टी, कांग्रेस पार्टी की बी टीम है. साथ ही कांग्रेस के विकल्प के रूप में खड़ी हो रही है. लिहाजा कांग्रेस और आप दोनों एक ही दल हैं. साथ ही कहा कि आज आम आदमी पार्टी को राष्ट्रीय दर्जा मिला है. लिहाजा वो बधाई के पात्र हैं, लेकिन तमाम पार्टियां जो राष्ट्रीय पार्टी थीं आज क्षेत्रीय पार्टी भी नहीं रह गई हैं. एक ओर भाजपा, आम आदमी पार्टी को कांग्रेस पार्टी की बी टीम बता रही है तो वहीं, कांग्रेस पार्टी भी आम आदमी पार्टी को भाजपा की बी टीम बता रही है. कांग्रेस की प्रदेश प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने कहा कि हाल ही में हुए 2022 के विधानसभा चुनाव के दौरान आम आदमी पार्टी को यह पता चल गया था कि उनकी दाल उत्तराखंड में गलने वाली नहीं है.
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कांग्रेस का कहना है कि भले ही आप को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिल गया हो, लेकिन उत्तराखंड में आम आदमी पार्टी की हालत अच्छी नहीं है. क्योंकि 2022 के चुनाव में मुख्यमंत्री का चेहरा रहे कर्नल अजय कोठियाल की जमानत जब्त हो गई थी. ऐसे में लोकसभा चुनाव पर इसका कोई फर्क नहीं पड़ेगा और आप का उत्तराखंड में ना कोई वोट बैंक है और ना ही कोई जनाधार है.