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4200 करोड़ रुपये से होगा उत्तराखंड के 17 शहरों का 'कायाकल्प', ऋषिकेश को मिलेंगे 2100 करोड़

वाहृय सहायतित योजनाओं में ज्यादा से ज्यादा प्रस्ताव देकर सरकार इनसे कवर होने वाले शहरों का दायरा बढ़ाना चाहती है. अमृत योजना में पहले से ही उत्तराखंड के दून, हरिद्वार समेत सात शहर कवर हो रहे हैं.

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Published : Jul 18, 2019, 3:15 PM IST

देहरादून: उत्तराखंड सरकार को एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक (एआईआईबी) की ओर से 4200 करोड़ रुपए का लोन मिलेगा. इस रकम से उत्तराखंड के 17 शहरों का कायाकल्प किया जाएगा. इसमें से 2100 करोड़ रुपए की धनराशि सिर्फ तीर्थनगरी ऋषिकेश के लिए है. यह धनराशि ऋण के रूप में 9 साल 11 महीने के लिए मिलेगी.

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एआईआईबी से मिलने वाले 4200 करोड़ रुपये की राशि को 90:10 के अनुपात में केंद्र और राज्य सरकार वहन करेगी. इसके अनुसार उत्तराखंड सरकार पर मात्र 420 करोड़ रुपए का ही भार आएगा. शहरी विकास विभाग के अंतर्गत शहरी क्षेत्र विकास निवेश एजेंसी की ओर से इसी साल जून में 17 शहरों के कायाकल्प के लिए प्रस्ताव तैयार किए गए थे.

इन शहरों की बदलेगी सूरत
इस राशि से ऋषिकेश, पिथौरागढ़, चंपावत, टनकपुर, खटीमा, सितारगंज, जसपुर, काशीपुर, रुद्रपुर, किच्छा, अल्मोड़ा, बागेश्वर, गोपेश्वर, जोशीमठ, श्रीनगर, डोईवाला और विकासनगर का कायाकल्प किया जाएगा.

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इसके साथ ही इन शहरों में पेयजल, सीवरेज, रिवरफ्रंट डेवलपमेंट, पुरानी सड़कों का जीर्णोद्धार, योग-ध्यान पार्क, स्मार्ट पोल, भारतीय संस्कृति म्यूजियम, दूषित जल शुद्धीकरण, एलईडी लाइट पोल, वाई-फाई की सुविधा और सीसीटीवी की सुविधा आदि पर काम किया जाएगा.

देहरादून: उत्तराखंड सरकार को एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक (एआईआईबी) की ओर से 4200 करोड़ रुपए का लोन मिलेगा. इस रकम से उत्तराखंड के 17 शहरों का कायाकल्प किया जाएगा. इसमें से 2100 करोड़ रुपए की धनराशि सिर्फ तीर्थनगरी ऋषिकेश के लिए है. यह धनराशि ऋण के रूप में 9 साल 11 महीने के लिए मिलेगी.

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एआईआईबी से मिलने वाले 4200 करोड़ रुपये की राशि को 90:10 के अनुपात में केंद्र और राज्य सरकार वहन करेगी. इसके अनुसार उत्तराखंड सरकार पर मात्र 420 करोड़ रुपए का ही भार आएगा. शहरी विकास विभाग के अंतर्गत शहरी क्षेत्र विकास निवेश एजेंसी की ओर से इसी साल जून में 17 शहरों के कायाकल्प के लिए प्रस्ताव तैयार किए गए थे.

इन शहरों की बदलेगी सूरत
इस राशि से ऋषिकेश, पिथौरागढ़, चंपावत, टनकपुर, खटीमा, सितारगंज, जसपुर, काशीपुर, रुद्रपुर, किच्छा, अल्मोड़ा, बागेश्वर, गोपेश्वर, जोशीमठ, श्रीनगर, डोईवाला और विकासनगर का कायाकल्प किया जाएगा.

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इसके साथ ही इन शहरों में पेयजल, सीवरेज, रिवरफ्रंट डेवलपमेंट, पुरानी सड़कों का जीर्णोद्धार, योग-ध्यान पार्क, स्मार्ट पोल, भारतीय संस्कृति म्यूजियम, दूषित जल शुद्धीकरण, एलईडी लाइट पोल, वाई-फाई की सुविधा और सीसीटीवी की सुविधा आदि पर काम किया जाएगा.

Intro:उत्तराखंड राज्य के 17 शहरी क्षेत्रों के सूरत को बदलने के लिए राज सरकार की कड़ी मेहनत रंग लाती दिखाई दे रही है और उम्मीद है आने वाले समय में इन शहरों की कायाकल्प करने के लिए बजट की कमी नहीं होगी। क्योकि राज्य सरकार ने बाह्य सहायतित योजना के तहत केंद्र सरकार को प्रस्ताव भेजा था, जिसके बाद एशियान इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक ने राज्य सरकार को 4200 करोड़ रुपए का लोन देने की सैद्धांतिक सहमति दे दी है।



Body:उत्तराखंड राज्य अपनी भौगोलिक विषम परिस्थिति के चलते, सीमित संसाधनों में सिमटा हुआ है यही वजह है कि बजट की लगातार कमी के चलते राज्य सरकार शहरी क्षेत्रों का कार्यकाल नहीं बदल पा रही है। जिसके चलते राज्य सरकार ने प्रदेश के 17 शहरों की कायाकल्प बदलने को लेकर बाह्य सहायतित योजना की मदद ली। लिहाजा राज्य सरकार को 4200 करोड़ रुपये लोन के रूप में मिल रहा है। जिसमें से 2100 करोड़ रुपए की धनराशि से सिर्फ तीर्थनगरी ऋषिकेश की सूरत को बदलने में लगाया जाएगा, इसके अलग बचे 2100 करोड़ रुपये से प्रदेश के 16 अन्य शहरों का कायाकल्प किया जाएगा।

एशियन इन्फ्राट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक से मिलने वाले 4200 करोड़ रुपये की राशि को 90:10 के अनुपात में केंद्र और राज्य सरकार वहन करेगी। इसके अनुसार उत्तराखंड राज्य सरकार पर मात्र 420 करोड़ रुपए का भार आएगा। प्रदेश के 17 शहरों के लिए विभिन्न योजनाओं का प्रस्ताव तैयार कर पहले ही एशियन इन्फ्राट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक को भेजा जा चुका है, लिहाजा यह सभी का 2020 से शुरू हो जाएंगा और 2029 तक चलेगा।

प्रदेश के ऋषिकेश, पिथौरागढ़, चंपावत, टनकपुर, खटीमा, सितारगंज, जसपुर, काशीपुर, रुद्रपुर, किच्छा, अल्मोड़ा, बागेश्वर, गोपेश्वर, जोशीमठ, श्रीनगर, डोईवाला और विकासनगर शहरों के कायाकल्प किया जाएगा। इसके साथ ही इन क्षेत्रों में इन शहरों में पेयजल, सीवरेज, रिवरफ्रंट डेवलपमेंट, पुराने सड़कों का जीर्णोद्धार, योग-ध्यान पार्क स्मार्ट पोल, भारतीय संस्कृति म्यूजियम, दूषित जल शुद्धीकरण, एलईडी लाइट पोल, वाई-फाई की सुविधा, सीसीटीवी की सुविधा आदि काम किये जायेंगे।



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