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Hemkund Sahib Yatra: 1350 सिख जत्थे ने की अंतिम अरदास, शीतकाल के लिए बंद हेमकुंड साहिब के कपाट

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Published : Oct 10, 2020, 2:26 PM IST

दोपहर डेढ़ बजे सिखों के पवित्र धाम हेमकुंड साहिब के कपाट विधि विधान से साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए. इसके साथ ही हिंदुओं के पवित्र तीर्थस्थल लोकपाल लक्ष्मण मंदिर के कपाट भी पूरे विधि-विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

Hemkund Sahib Yatra 2020
Hemkund Sahib Yatra 2020

चमोली: सिखों के पवित्र धाम हेमकुंड साहिब के कपाट आज शनिवार दोपहर 1:30 पर शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं. हेमकुंड साहिब के कपाट बंद होने के दौरान करीब 1350 सिख श्रद्धालुओं का जत्था अंतिम अरदास का साक्षी रहा. वहीं, कपाट बंद होने की प्रक्रिया आज सुबह से शुरु हो गई थी.

Hemkund Sahib Yatra 2020
हेमकुंड साहिब के कपाट शीतकाल के लिए बंद.

बता दें कि आज सुबह 9:30 पर पहली अरदास हुईइसके बाद 10:00 बजे सुखमणि का पाठ और 11:00 बजे शब्द कीर्तन हुआ. दोपहर 12:30 पर इस साल की अंतिम अरदास पढ़ने के बाद गुरु ग्रंथ साहिब को पंच प्यारों की अगुवाई में सचखंड में विराजमान किया गया. वहीं, दोपहर 1:30 पर हेमकुंड साहिब के कपाट पूरे विधि विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

पढ़ें- उच्च हिमालयी क्षेत्रों में पैर पसार रहा पॉलीगोनम खरपतवार, बेशकीमती जड़ीबूटियों और वनस्पतियों के लिए खतरे की घंटी

4 सितंबर को खुले थे कपाट

इस साल कोरोना वायरस के चलते हेमकुंड साहिब के कपाट देर से 4 सितंबर को श्रद्धालुओं के लिए खोले गए थे.इस साल 36 दिनों तक चली यात्रा में करीब 8500 श्रद्धालुओं ने हेमकुंड साहिब में मत्था टेका. जबकि, पिछले साल 2. 39 लाख से अधिक श्रद्धालु हेमकुंड साहिब पहुंचे थे. इसके साथ ही हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे के पास में ही स्थित हिंदुओं के पवित्र तीर्थस्थल लोकपाल लक्ष्मण मंदिर के कपाट भी पूरे विधि विधान के साथ आज शनिवार को ही शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

चमोली: सिखों के पवित्र धाम हेमकुंड साहिब के कपाट आज शनिवार दोपहर 1:30 पर शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं. हेमकुंड साहिब के कपाट बंद होने के दौरान करीब 1350 सिख श्रद्धालुओं का जत्था अंतिम अरदास का साक्षी रहा. वहीं, कपाट बंद होने की प्रक्रिया आज सुबह से शुरु हो गई थी.

Hemkund Sahib Yatra 2020
हेमकुंड साहिब के कपाट शीतकाल के लिए बंद.

बता दें कि आज सुबह 9:30 पर पहली अरदास हुईइसके बाद 10:00 बजे सुखमणि का पाठ और 11:00 बजे शब्द कीर्तन हुआ. दोपहर 12:30 पर इस साल की अंतिम अरदास पढ़ने के बाद गुरु ग्रंथ साहिब को पंच प्यारों की अगुवाई में सचखंड में विराजमान किया गया. वहीं, दोपहर 1:30 पर हेमकुंड साहिब के कपाट पूरे विधि विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

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4 सितंबर को खुले थे कपाट

इस साल कोरोना वायरस के चलते हेमकुंड साहिब के कपाट देर से 4 सितंबर को श्रद्धालुओं के लिए खोले गए थे.इस साल 36 दिनों तक चली यात्रा में करीब 8500 श्रद्धालुओं ने हेमकुंड साहिब में मत्था टेका. जबकि, पिछले साल 2. 39 लाख से अधिक श्रद्धालु हेमकुंड साहिब पहुंचे थे. इसके साथ ही हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे के पास में ही स्थित हिंदुओं के पवित्र तीर्थस्थल लोकपाल लक्ष्मण मंदिर के कपाट भी पूरे विधि विधान के साथ आज शनिवार को ही शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए हैं.

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