चमोलीः जिला अस्पताल गोपेश्वर में डॉक्टरों ने एक बुजुर्ग महिला के कूल्हे का ऑपरेशन किया है. पहली बार जिला अस्पताल में इस तरह के जटिल ऑपरेशन किया गया है. जिला अस्पताल में तैनात आर्थोपैडिक सर्जन डॉक्टर पन्नालाल की निगरानी में यह ऑपरेशन करीब साढ़े तीन घंटे तक चला. ऑपरेशन के बाद महिला तरह से स्वस्थ है.
जिला अस्पताल गोपेश्वर के प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक डॉक्टर अलिंद पोखरियाल ने बताया कि एक महीने पहले चमोली जिले के दशोली ब्लॉक के कोठियाल सैण तिलफरा की छूमा देवी पत्नी स्व. श्यामदास (उम्र 80 वर्ष) का गिरने से कूल्हा टूट गया था. जिसके बाद महिला अस्पताल में भर्ती कराया गया. जहां डॉक्टरों ने कूल्हा बदलने की योजना बनाई. इसी कड़ी में आर्थोपेडिक सर्जन डॉक्टर पन्नालाल और निश्चेतक गौरव रूंगटा और उनकी टीम ने सफलता कूल्हे की सर्जरी कर दी.
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जिला अस्पताल गोपेश्वर में कूल्हे की सर्जरी पहली बार की गई है. उन्होंने बताया कि महिला की उम्र भी काफी थी. ऐसे में उनके सामने सफल ऑपरेशन को अंजाम देना बड़ी चुनौती थी, लेकिन डॉक्टरों ने कर दिखाया है. इससे पहले भी जिला अस्पताल में टीएनएम के तहत तैनात सर्जन डॉक्टर एलसी पुनेठा ने एक महिला के पेट से करीब 5 किलोग्राम का ट्यूमर ऑपरेशन के जरिए निकाला था. जिसके बाद महिला पूरी तरह से स्वस्थ हो गई थी.
पहाड़ों में जटिल ऑपरेशन की सुविधा मिलने से अब लोगों को मैदानी क्षेत्रों में स्थित प्राइवेट अस्पतालों का रुख नहीं करना पड़ेगा. अटल आयुष्मान योजना के तहत सरकारी अस्पताल में ही निशुल्क उपचार और सर्जरी की जा रही है. आर्थोपैडिक सर्जन डॉक्टर पन्ना लाल ने बताया कि वो जल्द स्पाइनल से संबंधित ऑपरेशन भी जिला अस्पताल गोपेश्वर में किए जाएंगे. जिसके बाद लोगों को रीढ़ की हड्डी से जुड़े ऑपरेशनों के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा.