बागेश्वर: बिचला दानपुर क्षेत्र की मूलभूत सुविधाओं को दुरुस्त करने की मांग को लेकर राज्य सभा सांसद प्रदीप टम्टा के नेतृत्व में ग्रामीणों ने सत्याग्रह आंदोलन की तर्ज पर पदयात्रा निकाली. बीते गुरुवार को शामा क्षेत्र से शुरू हुई ये पदयात्रा 75 किमी की दूरी तय कर शुक्रवार को शाम चार बजे बागेश्वर पहुंची. जहां ग्रामीणों ने जिलाधिकारी के माध्यम से क्षेत्र की संचार, सड़क, शिक्षा जैसी मूलभूत सुविधाओं समेत 11 सूत्रीय मांगों को लेकर प्रधानमंत्री को ज्ञापन भेजा.
राज्यसभा सांसद प्रदीप टम्टा ने बताया कि बिचला दानपुर क्षेत्र के लोग 21वीं सदी में भी संचार, सड़क और शिक्षा जैसी मूलभूत सुविधाओं से जूझ रहे हैं. उन्होंने बताया कि सत्याग्रह आंदोलन का मुख्य उद्देश्य बिचला दानपुर क्षेत्र का समग्र विकास करना है. जिसके लिए उन्होंने जिलाधिकारी के माध्यम से बिचला दानपुर को डिजिटल भारत के साथ जोड़ने के लिए गोगीना, लीती, भनार, कनौली नामती चेटाबगड़ में 5 इंटरनेट टावर लगाने, पिछला दानपुर के इंटर कॉलेज लीती, रातिरकेटी व राजकीय इंटर कॉलेज नामती चेटाबगड़ में स्वीकृत पदों के सापेक्ष शिक्षक व अन्य विभागीय कर्मचारियों की नियुक्ति करने, क्षेत्र में चल रहे सभी प्राथमिक जूनियर व हाई स्कूल में भवनों की तकनीकी जांच करवा कर खस्ताहल व संदिग्ध सभी भवनों का पुनः निर्माण करवाने.
महिलाओं के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए प्रत्येक 2 गांवों पर एक महिला चिकित्सालय स्थापित करने, बिचला दानपुर में एक महिला स्नातकोत्तर महाविद्यालय स्वीकृत करने, बिचला दानपुर की सभी खस्ताहाल सड़कों को दुरुस्त करने, स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए जड़ी-बूटी उत्पादन व संरक्षण के लिए कास्तकारों को लीज पर भूमि उपलब्ध कराने की मांगों को लेकर प्रधानमंत्री के लिए ज्ञापन भेजा है.
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बता दें कि बिचला दानपुर के बोरबलड़ा, कुंवारी, कालो, बाछम, खाती, हरसिंग्याबगड़, नौकोड़ी, शीरी, बड़ेत, हाम्टी कापड़ी, गोगिना, मर्ल्खाडुंगर्चा, रातिरकेठी, माजखेत, लाथी, कन्यालीकोट, जगथाना, पुड़कुनी, पगना, पुंगरघाटी के गांव, लोहारचौरा, भिटारकोट समेत डेढ़ सौ से अधिक गांवों के लोग मोबाइल फोन सेवा से वंचित हैं.