अल्मोड़ा: रानीखेत उपमंडल के भिकियासैंण अंतर्गत सिमलधार ग्राम पंचायत के ग्रामीणों ने ब्लाॅक प्रमुख पर गोवंश की तस्करी का आरोप लगाया है. इस दौरान ग्रामीणों ने ब्लॉक प्रमुख के खिलाफ जमकर हंगामा किया. जिसके बाद राजस्व पुलिस ने मौके पर पहुंचकर किसी तरह मामले को शांत करवाया.
ग्रामीणों ने ब्लॉक प्रमुख पर पशुओं के साथ ही अवैध शराब की तस्करी का भी आरोप लगाया है. इस मामले में ग्रामीणों ने प्रशासन से उचित कार्रवाई कर दोषियों के खिलाफ सख्त कदम उठाने की मांग की है. वहीं, ग्रामीणों के विरोध का ये मामला सोशल मीडिया पर भी काफी वायरल हो रहा है. जिसके बाद अल्मोड़ा की सियासत भी गरमा गर्मा गई है.
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इस मामले में रानीखेत के बीजेपी और सर्वदलीय संस्था से जुड़े नेताओं ने उप जिलाधिकारी रानीखेत, भिकियासैंण को ज्ञापन सौंप मामले में मुख्यमंत्री से तस्करी करने वाले दोषियों पर सख्त कार्रवाई करने की मांग की है. उनका कहना है कि बीती 20 जुलाई की रात को भिकियासैंण के सिमलधार के ग्रामीणों ने दर्जनों गोवंश पशुओं को वाहनों से ला रहे तस्करों को घेरा. घटना के वायरल वीडियो के अनुसार घटनास्थाल पर ताड़ीखेत के ब्लाॅक प्रमुख तस्करों की अगवाई कर रहे थे. ग्रामीणों ने स्थानीय प्रशासन एवं राजस्व पुलिस पर भी मामले में मिलीभगत का आरोप लगाया है.
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पूर्व दर्जा धारी मंत्री रहे नरेंद्र रौतेला का कहना है कि उत्तराखंड के सुदूरवर्ती ग्रामीण अंचलों में गोवंश की तस्करी का मामला काफी चिंताजनक है. सरकार को इस मामले की उच्चस्तरीय जांच करवानी चाहिए. इस मामले के सामने आने के बाद जिले की सियासत भी गरमा गई है. इधर, ब्लाॅक प्रमुख हीरा सिंह रावत के पक्ष में कांग्रेस जिलाध्यक्ष पीतांबर पांडेय ने कहा कि राजनैतिक द्वेष की वजह से कुछ लोग ब्लॉक प्रमुख पर बिना आधार के ही आरोप लगा रहे हैं. उन्होंने कहा ब्लॉक प्रमुख पर लगे सारे आरोप निराधार और बेबुनियाद हैं.
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मामले में रानीखेत के उप जिलाधिकारी अभय प्रताप का कहना है कि गोवंश तस्करी के मामले में उनके पास अभी तक कोई शिकायत नहीं आई है. कुछ राजनैतिक दलों से जुड़े नेताओं ने जरूर मामले में ज्ञापन दिया है. उन्होंने कहा इस मामले में उनके स्तर से जांच की जा रही है, अगर कोई मामले में दोषी पाया जाता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.