रानीखेत: किडनी प्रकरण जांच में वरिष्ठ सर्जन डॉ. ओ.पी.एल. श्रीवास्तव को क्लीनचिट मिल गई है. ये बात RTI से मिली जानकारी में निकलकर सामने आई. दरअसल, एक साल पहले किडनी प्रकरण मामला काफी सुर्खियों में रहा था. नगर में मामले की उच्चस्तरीय जांच को लेकर कई बार प्रदर्शन भी किए गए थे.
जानकारी के अनुसार जांच रिपोर्ट में योग्यता और अनुभव के आधार पर मरीज की संक्रमित किडनी निकालने के निर्णय को सही ठहराया गया. बता दें कि कुंवाली नैणी निवासी खीम सिंह ने एक साल पहले कालिका स्थित एमएन श्रीवास्तव चिकित्सालय पर आरोप लगाया था कि अपेंडिक्स का ऑपरेशन बताकर डॉक्टर ने उनकी पत्नी खष्टी देवी की किडनी निकाल ली. इस संबध में जांच को लेकर स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन को पत्र भी लिखे गए. मामले के तूल पकड़ने के बाद स्वास्थ्य विभाग और मंडलायुक्त ने जांच बैठाई थी.
जांच टीम में स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ. आर. के. पांडे, अल्मोड़ा सीएमओ डॉ. विनीता साह, सुशीला तिवारी चिकित्सालय के डॉ. आर. के. सक्सेना शामिल थे. जांच के बाद डॉक्टर ओपीएल श्रीवास्तव को क्लीनचिट दे दी गई है. संक्रमित किडनी नहीं निकाली जाती तो मरीज की जान भी जा सकती थी.
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वहीं, इस मामले में डॉ. ओपीएल श्रीवास्तव ने बताया कि ऑपरेशन के दौरान किडनी संक्रमित थी. उसमें ट्यूमर होने के कारण उसे शरीर से बाहर निकालना जरूरी था. अगर ऑपरेशन करके किडनी नहीं निकाली जाती तो मरीज की जान भी जा सकती थी.