देहरादून: देश और दुनिया में इन दिनों कोरोना वायरस के कारण दहशत का माहौल है. देश में भी इससे बचने के लिए एहतियातन लॉकडाउन का एलान कर दिया गया है. वहीं, बात अगर उत्तराखंड की करें तो यहां भी 'बंद घरों' में कोरोना से लड़ते हुए आज तीसरी दिन रहा. तीसरे दिन राजधानी की सड़कों पर 'कोरोना वॉरियर्स' को सहयोग देने के लिए कुछ लोग सड़कों पर उतरे. जिन्होंने इन सभी 'वॉरियर्स' के खाने-पीने की जिम्मेदारी उठाई है.
प्रदेश में पहले और दूसरे दिन की अपेक्षा तीसरे दिन लॉकडाउन का ज्यादा असर देखने को मिला. सड़कों पर पुलिस, सफाईकर्मी, मीडियाकर्मी और स्वास्थ्य विभाग की टीमों के अलावा इक्का-दुक्का लोग ही सड़कों पर दिखाई दिए.लॉकडाउन के तीसरे दिन सड़कों पर ऐसे भी लोग दिखाई दिये जो कोरोना से लड़ने वाले वॉरियर्स का हौसला बढ़ाने के लिए सड़कों पर उतरे. कोरोना वॉरियर्स बिना परेशानी के अपना काम बखूबी कर सके, इसके लिए ये लोग बढ़-चढ़कर सामने आ रहे हैं.
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कोरोना से होने वाली इस जंग में 'साइड हीरो' की भूमिका निभाने वाले ऐसे ही लोगों से ईटीवी भारत ने बात की, जोकि हर कदम पर कोरोना वॉरियर्स के साथ खड़े हैं. इसमें हमने कई ऐसे व्यापारिक प्रतिष्ठानों के लोगों से बात की जो आने वाले 21 दिनों में कोरोना से लड़ने वाली लड़ाई के दौरान 'वारियर्स' के खाने पीने का ध्यान रखने वाले हैं. लॉकडाउन के कारण दुकान बंद होने पर जैना रेस्टोरेंट के मालिक ने अब अपने खर्चे पर 'कोरोना वॉरियर्स' की सुबह की चाय-नाश्ते से लेकर दोपहर के खाने का प्रबंध करने की जिम्मेदारी उठाई है.
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ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा इस संकट की घड़ी में ये हमारा नैतिक धर्म है कि हम सब मिलकर काम करें. उन्होंने कहा ये 21 दिन की लड़ाई हम सब मिलकर लड़ें. उन्होंने कहा इस वक्त जनसहयोग से ही ये लड़ाई जीती जा सकती है. जैना के मालिक ने कहा जो भी लोग समर्थ हैं उन सभी को मदद के लिए आगे आना चाहिए. उन्होंने इस लड़ाई में लगे मीडियाकर्मी, पुलिस, सफाईकर्मी, स्वास्थ्य विभाग की टीमों को धन्यवाद देते हुए कहा ये सभी लोग हमारे लिए सड़कों पर हैं. इसलिए हमें भी उनके लिए कुछ करना चाहिए, जिसके लिए वे सड़क पर हैं.