वाराणासी: जिले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी पंचायत भवनों को मिनी सचिवालय बनाने और उसी तरह से कार्य करने का निर्देश पिछले दिनों दिया था. इस पर काम शुरू हो गया है. हालांकि अभी बहुतायत गांव में पंचायत भवन नहीं है. जिले में नए निर्मित हो रहे लगभग 180 पंचायत भवनों में से एक दर्जन के आसपास ही तैयार हो पाए हैं, शेष पर काम हो रहा है. बावजूद प्रशासन ने सेवापुरी के 87 ग्राम पंचायतों में से 52 पंचायत भवनों को मिनी सचिवालय के रूप में तैयार करने में जुट गया है.
मिनी सचिवालय से होगी लोगों को सुविधा
सबसे पहले पंचायत भवनों की दीवार पर लेखपाल सचिव समेत अन्य जरूरी फोन नंबरों को अंकित कराया जा रहा है. इसके बाद उक्त अधिकारियों के मिलने का तय समय भी इस पर लिखा जाएगा. इसके साथ ही तय समय में संबंधित अधिकारियों को पंचायत भवन में आकर बैठना अनिवार्य होगा. ग्रामीण उक्त अवधि में संबंधित अधिकारी से आकर मिल सकेंगे. जमीन खेत आदि की पैमाइश जहां करा सकेंगे, वहीं विभागीय योजनाओं के बारे में भी जानकारी प्राप्त कर सकेंगे. अगले चरण में पंचायत भवनों में जन सुविधा केंद्र भी खोलने की तैयारी है. कमिश्नर की ओर से इस आशय का आदेश भी जारी कर दिया गया है.
इसके खुलने के बाद कोई भी व्यक्ति पंचायत भवन पर जाकर खतौनी आधार कार्ड समेत अन्य आवश्यक दस्तावेज प्राप्त कर सकेगा. इसके बाद समूह को भी इससे जोड़ा जाना है, जिससे अपना उत्पाद यहां रख सकें. गांव के लोग पंचायत भवन पर आएं तो जरूरी सामान भी क्रय कर सकें. स्वास्थ्य आदि को भी मिनी सचिवालय से जोड़ा जाना है.
वहीं जिले के सभी पंचायतों को सचिवालय का रूप देना है. सेवापुरी में काम तेजी से कराने के निर्देश दिए जा चुके हैं. शेष अन्य ब्लॉकों में भी इस पर काम में तेजी लाने को कहा गया है. वहीं मिनी सचिवालय का मुख्य उद्देश्य गांव के लोगों को खतौनी समेत अन्य दस्तावेज गांव में ही उपलब्ध कराना तथा समस्याओं को सुलझाना है, जिससे मुख्यालय तक उन्हें छोटे-छोटे कार्य के लिए दौड़ न लगानी पड़े.