वाराणसी : बदनाम होंगे तो क्या नाम ना होगा. आजकल नामों के साथ होने वाले प्रयोगों से ऐसा ही लगता है. कहीं दुकानों में पनौती चाय बिक रही है तो कहीं बदनाम चाय. बनारस अपने अड़ी के लिए मशहूर हैं. बनारस की इस अड़ी पर देश की राजनीति की चर्चा (discussion of country's politics) होती है अड़ी मतलब चाय की दुकान. यही वजह है कि बनारसी अंदाज में यहां के लोगों के अड़ी बाज भी कहा जाता है. सोशल मीडिया से लेकर तमाम प्लेटफार्म पर इन दिनों एक चाय की दुकान चर्चा का विषय बनी है. चाय की दुकान का नाम है 'बदनाम चाय की दुकान' जो जिले के कैंट रेलवे स्टेशन से कुछ दूरी पर स्थित है.
बदनाम चाय (BADNAAM CHAI) की दुकान पर युवाओं और अड़ी बाजों की भीड़ भी लग रही है. स्थानीय लोगों के अलावा दूर दराज से पहुंचने वाले लोग इस दुकान पर सेल्फी भी ले रहे हैं. दुकान पर कई तरह की चाय उपलब्ध है. जिसमें मसाला चाय, सादा चाय और स्पेशल चाय की कीमत 10 रुपये, 15 रुपये, 20 रुपये तक की है. रेस्टोरेंट और होटलों के मुकाबले दाम कम होने और स्वाद में लाजवाब होने के कारण यहां की चाय खूब पसंद की जा रही है.
संजय ने बताया कि हमारी चाय की दुकान का नाम 'बदनाम चाय की दुकान' (BADNAAM CHAI) बनारसी कुल्हड़ की दुकान है. इन दिनों हमारी दुकान की चर्चा है, लेकिन हम अपनी दुकान के साथ लोगों को अच्छी सर्विस देने का प्रयास कर रहे हैं. फिलहाल तो हम एक तरह की चाय दे रहे हैं. आने वाले दिनों में मसाला चाय, स्पेशल चाय भी दी जाएगी. बनारस में लोग चाय के शौकीन हैं. ऐसे में हमने इसीलिए यूनीक नाम दिया जो आकर्षण का केंद्र है. मैं पहले पुलिस ऑफिसर बनने की तैयारी करता था. काफी प्रयास के बाद कहीं कुछ नहीं हुआ तो अब मैंने इस दुकान को ओपन किया.
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