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वाराणसी: मां कालरात्रि के दर्शन के लिए उमड़ी भक्तों की भीड़ - दर्शन के लिए उमड़ी भक्तों की भीड़

उत्तर प्रदेश के वाराणसी में शनिवार को मां कालरात्रि देवी के दर्शन के लिए भक्तों की भारी भीड़ उमड़ी. इस दौरान मंदिर जय माता दी के जयकारों से गुंजायमान हो उठा.

मां कालरात्रि.
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Published : Oct 5, 2019, 5:27 PM IST

वाराणसी: शारदीय नवरात्र की सप्तमी तिथि को नवदुर्गा के क्रम में कालरात्रि देवी के दर्शन की मान्यता है. वाराणसी में कालरात्रि देवी का मंदिर चौक इलाके की कालिका गली में स्थित है. ऐसी मान्यता है कि माता के चरणों में गुड़हल के पुष्प की माला, लाल चुनरी, नारियल, फल, मिष्ठान, सिन्दूर, रोली, इत्र और द्रव्य अर्पित करना विशेष फलदायी होता है.

मां कालरात्रि के दर्शन के लिए उमड़ी भक्तों की भीड़.
  • शनिवार को मंदिर में तड़के सुबह से ही भक्तों का हुजूम मां के दर्शन के लिए उमड़ पड़ा.
  • भक्तजन हांथों में फूल-माला और नारियल लिए मां की एक झलक पाने के लिए घंटों कतार में लगे रहे.
  • मंदिर का वातावरण जय माता दी और जय कालरात्रि माता के जयकारों से गुंजायमान हो उठा.

वाराणसी: शारदीय नवरात्र की सप्तमी तिथि को नवदुर्गा के क्रम में कालरात्रि देवी के दर्शन की मान्यता है. वाराणसी में कालरात्रि देवी का मंदिर चौक इलाके की कालिका गली में स्थित है. ऐसी मान्यता है कि माता के चरणों में गुड़हल के पुष्प की माला, लाल चुनरी, नारियल, फल, मिष्ठान, सिन्दूर, रोली, इत्र और द्रव्य अर्पित करना विशेष फलदायी होता है.

मां कालरात्रि के दर्शन के लिए उमड़ी भक्तों की भीड़.
  • शनिवार को मंदिर में तड़के सुबह से ही भक्तों का हुजूम मां के दर्शन के लिए उमड़ पड़ा.
  • भक्तजन हांथों में फूल-माला और नारियल लिए मां की एक झलक पाने के लिए घंटों कतार में लगे रहे.
  • मंदिर का वातावरण जय माता दी और जय कालरात्रि माता के जयकारों से गुंजायमान हो उठा.
Intro:एंकर: शारदीय नवरात्र की सप्तमी तिथि को नवदुर्गा के क्रम में कालरात्रि देवी के दर्शन की मान्यता है। वाराणसी में इनका मंदिर चौक इलाके के कालिका गली में स्थित है। माना जाता है, माता के चरणों में गुड़हल के पुष्प की माला, लाल चुनरी, नारियल, फल, मिष्ठान, सिन्दूर, रोली, इत्र और द्रव्य अर्पित करना विशेष फलदायी माना गया है। Body:वीओ: तड़के सुबह से ही भक्तो का हुजूम माँ के दर्शन को उमड़ पड़ा था। हांथो में फूल-माला और नारियल लिए श्रद्धालु माँ की एक झलक पाने के लिए घंटो कतार में लगे रहें। इस दौरान पूरा वातावरण जय माता दी और जय कालरात्रि माता के उद्घोष से गुंजायमान हो उठा। वहीँ शारदीय नवरात्र की सप्तमी तिथि को कालरात्रि देवी की दर्शन-पूजन की मान्यता है।

Conclusion:वीओ: कोई नवरात्रि के सातवें दिन मां के दर्शन को आए श्रद्धालुओं का कहना है कि इस नवरात्र में जिस तरीके से नौ देवी के दर्शन होते हैं यह बेहद ही अभिभूत करने वाले होते हैं क्योंकि मां के चेहरे को देखकर ही सारे दुख तकलीफ दूर हो जाते हैं वही आए हुए लोगों ने मां के दरबार में नारियल चुनरी आदि लेकर पहुंचे।

बाइट: नारायण तिवारी -पुजारी

अमित दत्ता वाराणसी
8299457899
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