वाराणसी : काशी हिंदू विश्वविद्यालय में बीते 5 सितंबर को नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी ने छापेमारी की थी. इस दौरान छात्र संगठन भगत सिंह मोर्चा के कार्यालय में कई आपत्तिजनक सामग्री और दस्तावेज मिले थे. इस दौरान जांच टीम ने कार्यालय में मौजूद दो छात्राओं से लगभग आठ घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की थी. इसके बाद वहां से कुछ इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स को एनआईए ने जब्त कर लिया था. इसके साथ ही भगत सिंह मोर्चा की अध्यक्ष और M.Phill छात्रा आकांक्षा आजाद को 12 सितंबर को लखनऊ पेश होने के लिए नोटिस जारी किया था. आज उसकी पेशी है.
यूपी में आठ जगहों पर हुई थी छापेमारी : 5 सितंबर के दिन एनआईए की कई टीमों ने उत्तर प्रदेश के लगभग 8 जगहों पर छापेमारी की. यूपी के जिलों प्रयागराज, वाराणसी, चंदौली, आजमगढ़ और देवरिया में ये छापेमारी की गई थी. इस दौरान एक टीम वाराणसी भी पहुंची. वाराणसी में इस टीम ने काशी हिन्दू विश्वविद्यालय परिसर स्थित छात्र संगठन भगत सिंह मोर्चा के कार्यालय पर छापेमारी की थी. एनआईए की टीम के साथ ही वाराणसी पुलिस भी साथ थी. छापेमारी के दौरान झारखंड और बिहार के अफसर भी इसमें शामिल बताए जा रहे थे. डिप्टी एसपी रश्मि शुक्ला जांच टीम को लीड कर रहीं हैं.
आकांक्षा को नया कैडर बनाने की जिम्मेदारी : बता दें कि 6 सितंबर को NIA ने एक प्रेस नोट जारी किया. इसमें एनआईए ने अपनी तरफ से कुछ बातें बिल्कुल साफ कर दीं थीं. नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी के मुताबिक, BHU की एमफिल स्टूडेंट आकांक्षा का बिहार के प्रतिबंधित नक्सली संगठन CPI Maoist से रिश्ते हैं. वह नक्सली संगठन के एजेंडे पर गुपचुप तरीके से काम कर रही है. वह इस संगठन को दोबारा एक्टिव करने में लगी हुई थी. आकांक्षा को यहां नया कैडर बनाने की जिम्मेदारी दी गई थी. वह रिक्रूटर के रूप में वाराणसी में काम कर रही थी. एनआईए इसी आधार पर और मिले दस्तावेजों के आधार पर पूछताछ करेगी.
लखनऊ में पूछताछ के लिए टीम गठित : NIA का दावा है कि आकांक्षा नक्सली संगठन CPI Maoist के चीफ प्रमोद मिश्रा के लिए काम करती है. पिछले महीने बिहार में हुई गिरफ्तारी में रोहित विद्यार्थी नामक युवक गिरफ्तार हुआ है. उसी एफआईआर में आकांक्षा आजाद का भी नाम दर्ज है. छापेमारी के दौरान ही आकांक्षा को 12 सितंबर को लखनऊ NIA की ऑफिस में पेश होने की नोटिस दे दी गई थी. छात्रा आकांक्षा आजाद के खिलाफ NIA ने सम्मन जारी किया है. आज आकांक्षा को लखनऊ में पेश होना है. वहीं इस जांच में आकांक्षा से पूछताछ के लिए डिप्टी एसपी रश्मि शुक्ला के नेतृत्व में टीम गठित की गई है.
अब तक NIA को क्या मिले हैं साक्ष्य? : बीएचयू में छापेमारी के बाद NIA ने भगत सिंह स्टूडेंट मोर्चा के कार्यालय से लैपटॉप, मोबाइल और पैन ड्राइव जब्त किए गए. छात्रा आकांक्षा के पास से NIA की टीम ने कॉम्पैक्ट डिस्क और मेमोरी कार्ड भी लिए हैं. इसके साथ ही लैपटॉप, मोबाइल और दस्तावेजों में प्रोफेसरों के नंबर भी मिले हैं. जब्त हुए लैपटॉप से आंदोलन फोल्डर में अब तक हुए तमाम आंदोलनों की तस्वीरें और खबरें मिलीं हैं. लगभग 100 से अधिक सक्रिय कार्यकर्ताओं के नाम भी सामने आए हैं. जांच में प्रतिबंधित संगठन के सदस्यों की सक्रिय सहभागिता के साक्ष्य भी बरामद हुए हैं. एनआईए का दावा है आकांक्षा नक्सली संगठन CPI Maoist के चीफ प्रमोद मिश्रा के लिए काम करती है.
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