वाराणसी: काशी हिंदू विश्वविद्यालय के सर सुंदरलाल चिकित्सालय में ब्लैक फंगस की दवा 116 मरीजों को नहीं मिल रही है. दवा न मिलने से नाराज परिजन वाराणसी के सांसद और देश के पीएम नरेंद्र मोदी के जनसंपर्क कार्यालय पर जाकर अपनी शिकायत दर्ज करना चाहते थे, लेकिन पुलिस ने उन्हें रास्ते में ही रोक लिया. वहीं, 2 लोगों को पीएम के नाम ज्ञापन लेकर जाने दिया. बाकी परिजनों को अस्पताल जाने का निवेदन किया.
जिला प्रशासन भले ही बड़े-बड़े बातें कर रहा हो लेकिन हकीकत कुछ और ही है. बीएचयू के ब्लैक फंगस वार्ड में 116 मरीज भर्ती हैं. जिनका इलाज चल रहा है. वाराणसी सहित पूर्वांचल के विभिन्न स्थानों से मरीजों का इलाज यहां पर चल रहा है. पिछले कई दिनों से लगातार दवा की कमी की वजह से मरीजों को और उनके परिजनों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.
ब्लैक फंगस मरीज के परिजन दवा के लिए पहले काशी हिंदू विश्वविद्यालय सर सुंदरलाल अस्पताल के एमएस के पास गए. जहां उन्हें दवा नहीं मिली. उसके बाद परिजन वाराणसी के सीएमओ कार्यालय पहुंचे. वहां पर भी उन्हें सिर्फ आश्वासन ही मिला. जिसके बाद कभी मरीज के परिजन जनसंपर्क कार्यालय के लिए रवाना हो गए. वाराणसी के सर सुंदरलाल अस्पताल में ही पूर्वांचल का ब्लैक फंगस वार्ड है. यही वजह है कि बनारस सहित आजमगढ़, जौनपुर, बलिया, सोनभद्र, चंदौली, भदोही, मिर्जापुर, बिहार तक मरीज है.
शिव चंद यादव बताते हैं कि उनके भाई बीएचयू में भर्ती हैं. जहां उन्हें ब्लैक फंगस हुआ है. पिछले ढाई महीने से उनका इलाज चल रहा है. पिछले 15 दिनों से पोषक की दवा भी बंद कर दिया गया. एम्फोटेरिसिन बी दवा बंद कर दिया गया है.
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